UP: दलित परिवार की हत्या के मामले में गिरफ्तार अगड़ी जाति के सभी आरोपी छोड़े गए
पुलिस ने 3 दलित युवकों को गिरफ्तार किया है.
Advertisement
प्रयागराज में एक दलित परिवार के चार लोगों की हत्या के मामले में पुलिस ने हिरासत में लिए गए अगड़ी जाति के सभी आठ लोगों को छोड़ दिया है. अब उसने इसी मामले में तीन दलित युवकों को गिरफ्तार किया है. हालांकि, पुलिस का ये भी कहना है कि गिरफ्तार किए गए तीन में से दो आरोपियों को जल्द छोड़ दिया जाएगा. इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, एक आरोपी को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है. आरोपी के ऊपर हत्या और रेप का आरोप है.
इससे पहले 25 नवंबर को प्रयागराज में एक दलित परिवार की लड़की सहित 4 लोगों की हत्या कर दी गई थी. मृतकों के परिजनों ने 11 लोगों पर हत्या का आरोप लगाया था. साथ ही उनका कहना था कि पुलिस आरोपियों की मदद कर रही है. इसके बाद दो पुलिसवालों को सस्पेंड कर दिया गया था. मामले में FIR के बाद पुलिस ने अगड़ी जाति से संबंध रखने वाले आठ लोगों को हिरासत में लिया था.
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, इस मामले में जिस दलित युवक को न्यायिक हिरासत में भेजा गया है, उसकी उम्र 19 साल है. वो मजदूरी करता है. पुलिस ने उसे 27 नवंबर को हिरासत में लिया था. वहीं पुलिस ने उसके साथ, जिन दो अन्य दलित युवकों को हिरासत में लिया था, वो 17 और 20 साल के हैं. पुलिस को उनके खिलाफ कोई सबूत नहीं मिला है. एक बयान में प्रयागराज ADG ने कहा,#थाना_फाफामऊ पुलिस, एसओजी व सर्विलांस की संयुक्त टीम द्वारा मु0अ0सं0- 256/21 धारा 147/148/149/302/376डी भादवि, 3/4 पाक्सो एक्ट व 3(2)V SC/ST Act से सम्बन्धित अभियुक्त पवन कुमार सरोज को गिरफ्तार करने के सम्बन्ध में श्रीमान् @ADGZonPrayagraj महोदय द्वारा दी गयी बाइट- 1/2@Uppolice https://t.co/xqK4PNELU1 pic.twitter.com/NG87fgOxKH
— PRAYAGRAJ POLICE (@prayagraj_pol) November 28, 2021
"19 साल का आरोपी उस लड़की पर नजर रखता था, जिसकी हत्या और बलात्कार हुआ. वो उसको छेड़ता था. आरोपी की तरफ से भेजे गए आखिरी मेसेज और घटनाक्रम के आधार पर उसे गिरफ्तार किया गया है."हालांकि, पुलिस का यह भी कहना है कि उन्हें आरोपी के खिलाफ ज्यादा सबूत नहीं मिले हैं. फिलहाल पुलिस इस मामले में DNA सैंपल का इंतजार कर रही है. अगड़ी जाति के आरोपियों को बचाने का आरोप दूसरी तरफ मृतकों के घरवालों ने पुलिस के ऊपर फिर से अगड़ी जाति से आने वाले लोगों को बचाने के आरोप लगाए हैं. परिवार के एक सदस्य ने कहा,
"एक 19 साल का लड़का चार लोगों की हत्या कैसे कर सकता है. और अगर उसके साथ और लोग थे, तो वो कहां हैं और कौन हैं. और अगर लड़के का लड़की से कोई मामला था तो वो केवल उसकी हत्या करता, बाकी लोगों को क्यों मारता."इसी तरह से आरोपी दलित युवक की बहन ने बताया,
"पुलिस अपनी रिपोर्ट में कह रही है कि वो लड़की पर नजर रख रहा था. लेकिन जिस दिन हत्या हुई, उस दिन तो वो घर पर था. हमें दलित और गरीब होने की वजह से निशाना बनाया जा रहा है. पुलिस सवर्ण जाति से आने वालों को बचाना चाहती है, इसलिए मेरे भाई को निशाना बना रही है."आरोपी की मां ने भी कहा कि उसका बेटा ऐसा नहीं कर सकता है. वहीं मृतकों के घरवालों ने अपनी सुरक्षा को लेकर चिंता जताई है. उनका कहना है कि क्योंकि अब दूसरी जाति से वास्ता रखने वाले बाहर आ गए हैं, वो उनसे बदला लेने आएंगे.