गौतम अडानी के बंदरगाह पर 21 हज़ार करोड़ की हेरोइन पकड़ाने की पूरी कहानी!
जानिए अडानी समूह ने अपने बयान में क्या कहा?
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गुजरात (Gujarat) के कच्छ में मुंद्रा पोर्ट (Mundra Port) पर भारी मात्रा में हेरोइन पकड़ी गई. कीमत हजारों करोड़ बताई गई. पोर्ट को चलाने की जिम्मेदारी बड़े बिजनेसमैन गौतम अडानी (Gautam Adani) की कंपनी की है. सोशल मीडिया पर हेरोइन की खेप मिलने को अडानी की कंपनी से जोड़ा जाने लगा. घटना के 5 दिन बाद अब अडानी समूह ने इसे लेकर एक बयान जारी किया है. जिसमें समूह की ओर से कार्रवाई करने वाले राजस्व आसूचना निदेशालय या डायरेक्टरेट ऑफ़ रेवेन्यू इंटेलिजेंस (DRI) और सीमा शुल्क विभाग यानी कस्टम विभाग का आभार जताया गया है. उन्हें बधाई दी गई है. क्या है ये पूरा मामला और इसे लेकर काहे इतना बवाल हो रहा है.
देश में पकड़ी गई हेरोइन की एतिहासिक खेप
गुजरात में कच्छ का मुंद्रा पोर्ट. भुज से तकरीबन 53 किलोमीटर दूर. प्राचीन काल में मसालों और नमक के व्यापार का ये बड़ा केंद्र अब दुनिया की तमाम चीजों के आयात-निर्यात का सेंटर बन गया है. मुंद्रा पोर्ट को चलाने की जिम्मेदारी फिलहाल गौतम अडानी के मालिकाना हक वाली कंपनी अडानी समूह की है. 16 सितंबर 2021. रोज की तरह DRI और कस्टम की टीमें अवैध सामान के लाने-ले जाने को लेकर चौकन्नी बनी हुई थीं. दोनों टीम इसलिए भी चौकन्नी थीं कि जून के महीने में एक बड़ी चूक हुई थी जिससे हेरोइन की बड़ी खेप उनकी नजरों से बच निकली थी.
आजतक ने सूत्रों के हवाले से लिखा है कि जून 2021 में एक बड़ा ड्रग्स कंसाइनमेंट डीआरआई और कस्टम की लापरवाही से बच निकल गया था. वो ड्रग्स कंसाइनमेंट जहां पहुंचना था, वहां पहुंच गया था. इस पूरे मामले में कस्टम और डीआरआई के कुछ स्थानीय अफसरों की भूमिका भी शक के दायरे में बताई गई.
ऐसे में दोनों ही एजेंसियां दबाव में थीं. उन्हें पता चला कि एक ईरानी टैल्कम पाउडर की बड़ी खेप भारत ला रही है. इसे आंध्र प्रदेश के विजयवाड़ा के पते पर भेजा जाना है. टैल्कम पाउडर और हेरोइन दोनों ही देखने में लगभग एक जैसे लगते हैं. सफ़ेद पाउडर. अब जैसे ही चिन्हित कंटेनर मुंद्रा बंदरगाह पर पहुंचे, DRI और कस्टम की जॉइंट टीम हरकत में आ गई. जब बताए गए टेल्कम पाउडर वाले कंटेनर की जांच की गई तो एजेंसियों के होश उड़ गए. 2 कंटेनरों में 3000 किलो हेरोइन मिली. इसे भारत क्या दुनियाभर में ड्रग्स की सबसे बड़ी बरामदगी बताया जा रहा है. ड्रग्स की ये खेप कितनी बड़ी थी इसे ऐसे समझा जा सकता है कि इसकी सही कीमत का पता लगाने में ही एजेंसियों को कई दिन लग गए. पहले इसकी कीमत इंटरनेशनल मार्केट में 9000 करोड़ रुपए बताई गई. बाद में पता चला कि इसकी कीमत 21 हजार करोड़ रुपए से ज्यादा हो सकती है. हेरोइनः कहां से आई, कहां जा रही थी एजेंसिया इसे इंटरनेशनल ड्रग सिंडिकेट के एक हिस्से की तरह देख रही हैं. DRI के अनुसार, हेरोइन ले जाने वाले कंटेनर्स को आंध्र प्रदेश के विजयवाड़ा स्थित एक कम्पनी आशी ट्रेडिंग फर्म द्वारा आयात किया गया था. फर्म ने खेप को 'टेल्कम पाउडर' घोषित किया था. वहीं एक्सपोर्ट करने वाली फर्म की पहचान अफगानिस्तान के कंधार स्थित हसन हुसैन लिमिटेड के रूप में की गई है. जब ये कन्साइनमेंट अफ़ग़ानिस्तान से होकर ईरान और ईरान से गुजरात के कच्छ के मुंद्रा पोर्ट पहुंची, तब DRI और कस्टम ने इसकी जांच की. पता चला कि ये टेलकम पावडर की आड़ में करोड़ो की ड्रग्स थी.
आयात करने वाले आशी ट्रेडिंग फर्म चलाने वाले पति-पत्नी सुधाकर और वैशाली को चेन्नई से गिरफ्तार कर लिया गया है. भुज की कोर्ट में दोनों आरोपी पति-पत्नी को 10 दिन की रिमांड पर DRI को सौंप दिया है. सोमवार यानी 20 सितंबर की रात भी डीआरआई ने दिल्ली से 2 अफगान नागरिकों समेत एक भारतीय नागरिक को हिरासत में लिया है. कुल मिलाकर मामले में अबतक 7 लोगों के गिरफ्तार किया गया है. इसमें 4 अफगान नागरिक और 3 भारतीय नागरिक हैं. पुलिस इन सबसे पूछताछ के जरिए इस ड्रग रैकेट के काम करने के तरीके और इसमें शामिल लोगों के बारे में पता लगाने में जुटी है.
एजेंसियां पता लगाने में जुटी हैं कि भारी मात्रा में मिली हेरोइन का नेटवर्क कहां-कहां तक फैला है.
(फोटो-आजतक)
सोशल मीडिया पर अडानी के पोर्ट का हल्ला इधर मुंद्रा पोर्ट पर भारी मात्रा में हेरोइन की खेप पकड़ने की खबर आई उधर सोशल मीडिया पर बवाल शुरू हो गया. चूंकि पोर्ट की जिम्मेदारी गौतम अडानी की कंपनी अडानी ग्रुप की है इसलिए लोग ड्रग बरामदगी को अडानी ग्रुप से जोड़ने लगे. देखिए कुछ ट्वीट.
निजीकरण का खुलकर विरोध करिये अन्यथा जिस तरह आज अडानी ग्रुप के बंदरगाह पर 9000 करोड़ की Drugs पकड़ी गई है, आगे भी देश में जहर फैलाने का बिज़नेस किया जायेगा। #StopPrivatization
— Hansraj Meena (@HansrajMeena) September 21, 2021
अडानी ग्रुप के मुद्रा पोर्ट पर 9000 करोड़ की हेरोइन पकड़ी गई है। अब पता चला अड़ानी की संपती दोगनी कैसे हुई! — Devender Yadav⚽️♚👑 (@dev32682068) September 21, 2021
निजीकरण का खुलकर विरोध कीजिए, अन्यथा जिस तरह आज अडानी ग्रुप के बंदरगाह पर 21000 करोड़ का " ड्रग्स " पकड़ा गया है.. आगे भी ऐसे ही देश में जहर फैलाने का बिज़नेस किया जायेगा.. ✍️
— Jyoti Kumari (@JyotiKu25989147) September 21, 2021
मुंद्रा पोर्ट से 20000 करोड की हैरोइन पकडे जाना असाधारण घटना है। खाली सरकारी तंत्र पर इसकी जांच नहीं छोडी जा सकती। बडे धन पशु और ओहदेदारों की संलिप्तता का संगीन मामला है। देश के उच्चतम न्यायालय को स्वतः संज्ञान लेकर अपनी निगरानी मे जांच करनी चाहिए। — Hari Shanker Gupta Ex MLA (@hsgmla) September 21, 2021
पोर्ट चलाने वाले अडानी ग्रुप का क्या कहना है? गुजरात के कच्छ में मुंद्रा पोर्ट पर भारी मात्रा में अफगानी हेरोइन पकड़े जाने के 5 दिन बाद अडानी समूह ने एक बयान जारी किया है. जिसमें समूह की और से DRI और सीमा शुल्क विभाग का आभार जताया गया है और उन्हें बधाई दी गई है. अडानी समूह ने कहा है,
"16 सितंबर 2021 को DRI और सीमा शुल्क के एक संयुक्त अभियान में अफगानिस्तान से आए दो कंटेनरों से भारी मात्रा में प्रतिबंधित हेरोइन पकड़ी गई. ये कंटेनर मुंद्रा बंदरगाह पर डीपी वर्ल्ड टर्मिनल पर पहुंचे थे. हम अवैध ड्रग्स को जब्त करने और आरोपियों को पकड़ने के लिए DRI और सीमा शुल्क विभाग की टीमों को धन्यवाद देते हैं और बधाई देते हैं. कानून भारत सरकार के सीमा शुल्क और DRI के सक्षम अधिकारियों को गैरकानूनी कार्गो को खोलने, जांच करने और जब्त करने का अधिकार देता है. देशभर में कोई भी पोर्ट ऑपरेटर कंटेनर की जांच नहीं कर सकता है. उनकी भूमिका बंदरगाह चलाने तक सीमित है. हमें पूरी उम्मीद है कि ये बयान अडानी समूह के खिलाफ सोशल मीडिया पर चलाए जा रहे दुर्भावनापूर्ण और झूठे प्रचार पर विराम लगा देगा. APSEZ एक पोर्ट ऑपरेटर है जो शिपिंग लाइनों को सेवाएं प्रदान करता है. मुंद्रा या हमारे किसी भी बंदरगाह के टर्मिनलों से गुजरने वाले कंटेनरों या लाखों टन कार्गो पर हमारा कोई पुलिस जैसा अधिकार नहीं है."
Media statement on the malicious social media campaign against the Adani Group on the seizure of illegal drugs at Mundra Port. pic.twitter.com/z4gutdzKyK
— Adani Group (@AdaniOnline) September 21, 2021
ख़बरों में ड्रग्स की खेप को लेकर दूसरे क़िस्म के एंगल भी बताए जा रहे हैं. जैसे तालिबान, पाकिस्तानी ख़ुफ़िया एजेंसी ISI. अभी सब सुगबुगाहट के लेवल पर है. इस मामले पर हम बने हुए हैं. कुछ भी नये ताज़े पक्के अप्डेट्स आते हैं, तो वो भी हम आपको ज़रूर बताएंगे.