सिटिज़नशिप अमेंडमेंट एक्ट. CAA के खिलाफ देशभर में प्रोटेस्ट चल रहा है. लोग इसका अलग-अलग तरह से विरोध कर रहे हैं. कोई नारे लगा रहा है, तो कोई गाने गाकर अपना विरोध दर्ज करा रहा है. कुछ लोग पेंटिंग्स और पोस्टर्स से कानून और सरकार पर तंज कस रहे हैं, तो कुछ यूनिवर्सिटी में CAA की प्रति फाड़कर सरकार के प्रति गुस्सा जाहिर कर रहे हैं.
हम फिलहाल दो यूनवर्सिटी की बात करेंगे. एक जादवपुर यूनवर्सिटी और एक बनारस हिंदू यूनवर्सिटी की. पहले जादवपुर की बात करते हैं. ये कोलकाता में है. मंगलवार यानी 24 दिसंबर को कॉन्वोकेशन था. स्टूडेंट्स को डिग्री दी जा रही थी. इसी दौरान गोल्ड मेडल देने के लिए देबस्मिता चौधरी को भी बुलाया गया. वो आईं. उनके हाथ में उस दौरान एक कागज़ था. उन्होंने डिग्री ली. मेडल लिया. फिर उस कागज़ को सबके सामने फाड़कर नारा लगाया. नारे लगाए, ‘हम कागज़ नहीं दिखाएंगे. इंकलाब ज़िंदाबाद’. अब इसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है.
Debsmita Chowdhury, a gold medalist tore up the controversial #CitizenshipAct in protest while accepting her degree at the Jadavpur University convocation today pic.twitter.com/iBCwuS9A7w
— Indrojit | ইন্দ্রজিৎ (@iindrojit) December 24, 2019
इसके पहले यूनवर्सिटी के नॉन टीचिंग स्टाफ ने राज्यपाल धनखड़ को कॉन्वोकेशन में शामिल होने से रोका था. राज्यपाल को विरोध में काले झंडे दिखाए थे और उनकी कार रोक ली थी और ‘वापस जाओ’ के नारे लगाए थे. गेट नंबर पांच पर लगभग आधा घंटा वेट करने के बाद राज्यपाल धनखड़ लौट गए. छात्रों ने राज्यपाल का विरोध इसलिए किया था, क्योंकि वो CAA का समर्थन कर रहे थे.
#WATCH West Bengal Governor Jagdeep Dhankhar shown black flags and posters of ‘BJP activist Mr Jagdeep Dhankar Go back’ by students on his arrival at Jadavpur University for the convocation ceremony. pic.twitter.com/PLlPJlabAU — ANI (@ANI) December 23, 2019
ये मामला यहीं खत्म नहीं हुआ. राज्यपाल ने अपने ट्विटर हैंडल से कई सारे ट्वीट किए. कुछ में ममता बनर्जी को टैग भी किया. उन्होंने लिखा कि वो यूनिवर्सिटी में बच्चों को डिग्री देने के लिए गए थे. पर छात्रों ने रास्ता बंद कर दिया और अंदर जाने नहीं दिया. छात्रों ने ‘धनखड़ गो बैक’ के नारे लगाए और उसका पैमप्लेट भी कपड़ों पर चिपका कर घूमे.
Protest against the CAA-NRC-NPR.
Students and progressive movements across the nation are protesting against CAA-NRC-NPR in different forms.Glimpses from Students of Pondicherry University and Jadavpur University during their convocation. #NoNRC #NoCAA pic.twitter.com/sl9JDV58Kb— Mayukh Biswas (@MayukhDuke) December 24, 2019
इस पर कार्रवाई भी नहीं हुई. धनखड़ का कहना है कि उनका रास्ता रोकने वाले केवल 50 लोग थे. पर वीसी यानी वाइस चांसलर मूक दर्शक बने रहे. और तो और प्रदर्शनकारियों में से कोई भी छात्र नहीं था. साथ ही मीडिया को भी लोक कल्याण के साथ-साथ ये भी संकेत देना चाहिए कि छात्रों के हित को खतरे में नहीं डाला जा सकता है.
At the campus of the Jadavpur University I appealed all concerned to ensure that a handful of people cannot be allowed to hold system to hostage. Appealed to the good sense of those who in the Government and University ought to be active to contain the situation. pic.twitter.com/bhByNhDtPO — Jagdeep Dhankhar (@jdhankhar1) December 24, 2019
वहीं, बनारस हिंदू यूनिवर्सिटी में भी कॉन्वोकेशन था. 23 दिसंबर को. वहां के स्टूडेंट्स भी CAA को लेकर गुस्से में थे. एक स्टूडेंट ने तो डिग्री लेने से ही मना कर दिया क्योंकि उसके साथ के स्टूडेंट्स प्रोटेस्ट करने की वजह से जेल में बंद थे. और यूनिवर्सिटी प्रशासन को इस बात से कोई मतलब नहीं था. स्टूडेंट का नाम रजत है. उसका भी वीडियो वायरल हो रहा है.
ALERT: BHU student refuses to take his degree on stage to show solidarity with the 69 protesters (around 35 from BHU) arrested by UP police in the protests against CAA on 19 December.@TheQuint Watch Rajat speak: pic.twitter.com/erevddfjYB — Aishwarya S Iyer (@iyersaishwarya) December 24, 2019
रजत ने आर्ट्स स्ट्रीम से मास्टर्स किया है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, पुलिस का कहना है कि उन्होंने प्रोटेस्टर्स को BHU से नहीं बल्कि बेनियाबाग से गिरफ्तार किया है, जो भीड़ के साथ प्रदर्शन कर रहे थे. बेनियाबाग BHU से करीब 8 किलोमीटर की दूरी पर है. पुलिस के मुताबिक, अगर BHU का कोई छात्र गिरफ्तार है, तो वो इसकी पुष्टि नहीं कर सकते हैं.
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