एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी (Anderson-Tendulkar Trophy) से पहले टीम इंडिया (Team India) की कमान जब शुभमन गिल (Shubman Gill) को सौंपी गई तो सबके मन में एक ही सवाल था गिल क्यों? कारण भी स्पष्ट था, गिल के आंकड़े एशिया के बाहर बहुत साधारण थे. यहां तक की टेस्ट क्रिकेट में भी उनका औसत काफी साधारण ही था. लेकिन, इस सीरीज में टीम की कमान मिलते शुभमन गिल एक अलग ही अवतार में दिखे.
'आसान हो जाती है कप्तानी', ओवल टेस्ट में जीत के बाद शुभमन गिल ने ये बात क्यों कही?
Anderson-Tendulkar Trophy में पहली बार Team India की कमान संभालने वाले Shubman Gill ने अपने प्रदर्शन से सभी आलोचकों को चुप करा दिया है. इसी के साथ उन्होंने सीरीज को बराबर कर अपनी दमदार कप्तानी का भी परिचय दिया है.

बतौर कप्तान पहली ही सीरीज में उन्होंने सुनील गावस्कर (Sunil Gavaskar) के 46 साल पुराने रिकॉर्ड को तोड़ दिया. गावस्कर ने बतौर कप्तान 1978-79 में वेस्टइंडीज के खिलाफ एक सीरीज में सबसे ज्यादा 732 रन बनाए थे. शुभमन गिल ने इस सीरीज में 754 रन बनाकर ये रिकॉर्ड अब अपने नाम कर लिया है. वो महज 21 रन से गावस्कर का बतौर बैटर सबसे ज्य़ादा एक सीरीज में 774 रन बनाने का रिकॉर्ड तोड़ने से चूक गए, लेकिन उन्होंने अपने प्रदर्शन से सभी आलोचकों को शांत करा दिया है.
गिल ने क्या कहा?कप्तान शुभमन गिल ने मैच के बाद सीरीज पर बात करते हुए सिराज की जमकर तारीफ की. साथ ही उन्होंने सीरीज में दोनों टीम के प्रदर्शन को लेकर माना कि 2-2 का रिजल्ट सही रहा. उन्होंने कहा,
दोनों टीमों ने जिस तरह का खेल दिखाया, वो शानदार था. अंतिम दिन तक रिजल्ट का पता नहीं था. यह दिखाता है कि दोनों टीमें अपने 'ए गेम' के साथ आईं थीं. जब आपके पास सिराज और प्रसिद्ध जैसे बॉलर हों, तो कप्तानी आसान हो जाती है. मुझे लगता है कि हमने जिस तरह का खेल दिखाया, वह शानदार था. हम आश्वस्त थे. मैच के चौथे दिन भी हम जानते थे कि वे दबाव में थे. हम यह सुनिश्चित करना चाहते थे कि यह पूरे समय बना रहे. सिराज जैसे प्लेयर एक कप्तान का सपना है. उन्होंने हर गेंद और हर स्पेल में अपना सब कुछ झोंक दिया. सीरीज का रिजल्ट 2-2 बिल्कुल जायज है. यह दिखाता है कि दोनों टीमें कितनी जुनूनी थीं और कितनी अच्छी तरह खेलीं.
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वहीं, अपनी बैटिंग को लेकर भी शुभमन गिल ने बात की. शुभमन इस सीरीज के हाईएस्ट स्कोरर रहे. उन्होंने इस सीरीज में रिकॉर्ड 754 रन बनाए. अपने प्रदर्शन पर बात करते हुए गिल ने कहा,
सीरीज में क्या हुआ?मेरा टारगेट इस सीरीज का सर्वश्रेष्ठ बैटर बनना था. ये करना बहुत संतोषजनक है. ये करने के लिए हमेशा टेक्निकली और मेंटली चीजों को सुलझाने का मामला होता है.ये कोरिलेटेड हैं. पिछले छह सप्ताहों में मैंने सीखा है, हम कभी हार नहीं मान सकते.
एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी के अंतिम टेस्ट मैच में टीम इंडिया के बॉलर्स ने कमाल की गेंदबाजी करते हुए अंतिम दिन महज 35 रन डिफेेंड कर लिया. इस दौरान सिराज ने 3 और प्रसिद्ध कृष्णा ने एक विकेट चटकाया. सीरीज में 2-1 से पिछड़ रही टीम इंडिया ने इसी के साथ सीरीज का अंत बराबरी पर किया. इससे पहले, टीम इंडिया को जहां लीड्स और लॉर्ड्स में हार का सामना करना पड़ा था. एजबेस्टन टेस्ट में टीम ने जीत दर्ज की थी. मैनचेस्टर में खेला गया सीरीज का चौथा टेस्ट ड्रॉ रहा था.
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