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मर्डर से पहले नासिर-जुनैद की डीटेल क्यों शेयर की गईं? मोनू मानेसर पर पुलिस ने खुलासा किया

Monu Manesar पर राजस्थान में दो मुस्लिम युवकों नासिर और जुनैद की हत्या का आरोप है. हरियाणा में मिले थे जले हुए नर कंकाल.

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मोनू मानेसर से पुलिस पूछताछ में जरूरी बात पता चली है (फोटो- आजतक)

नासिर-जुनैद हत्याकांड (Nasir Junaid Murder) और नूह हिंसा के आरोपी मोनू मानेसर (Monu Manesar) से पूछताछ में नई जानकारी सामने आई है. राजस्थान पुलिस के मुताबिक, नासिर-जुनैद हत्याकांड से एक हफ्ते पहले उन दोनों की जानकारी स्वघोषित गौरक्षकों के बीच सर्कुलेट हुई थी. उसमें दोनों की गाड़ी का रजिस्ट्रेशन नंबर और उनके फोन नंबर शामिल थे.

एक अधिकारी ने इंडियन एक्सप्रेस को बताया कि ये स्वघोषित गौरक्षकों के काम करने का तरीका है. वो लोग कोई कार्रवाई करने से पहले उन लोगों की डीटेल आपस में शेयर करते हैं जिन पर गौ तस्करी का शक हो. इसी तरीके को फॉलो कर नासिर और जुनैद की भी डीटेल्स शेयर की गईं थीं.  

मई में दर्ज हुई चार्जशीट के मुताबिक, आरोपियों को पहले से पता था कि नासिर जुनैद किस रास्ते से जा रहे थे. एक अन्य अफसर ने अखबार को बताया आरोपी नासिर और जुनैद को गायों के साथ पकड़ना चाहते थे, लेकिन जब उन्हें गाय नहीं मिली तो उन्होंने दोनों युवकों को बुरी तरह पीटा जिसके बाद वो गंभीर रूप से घायल हो गए. अधिकारी ने बताया कि आरोपियों ने कथित तौर पर दोनों घायलों को हरियाणा पुलिस को सौंपने की कोशिश की, लेकिन उन्हें वापस लौटा दिया गया.

14 और 15 फरवरी की दरमियनी रात दोनों की हत्या के बाद सबूत मिटाने के लिए गाड़ी में उनके शव जला दिए गए.

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बता दें, हरियाणा पुलिस ने 12 सितंबर को मोनू मानेसर को गिरफ्तार किया. उसे IT एक्ट की जमानती धाराओं में पकड़ा गया था. वो मामला नूह हिंसा से जुड़ा है. 31 जुलाई को बजरंग दल और विश्व हिंदू परिषद की ओर से 'बृज मंडल जलाभिषेक यात्रा' निकाली गई थी. तभी दो पक्षों में झड़प, पथराव और आगजनी हुई. हिंसा में कई पुलिस वाले भी घायल हुए थे. यात्रा से पहले मोनू मानेसर ने वीडियो जारी कर इसमें शामिल होने की बात कही थी. लोगों से बड़ी संख्या में यात्रा में आने का आह्वान भी किया था. आरोप लगे कि इस वीडियो के चलते ही हिंसा हुई.

जमानत के बाद राजस्थान पुलिस ने उसे नासिर-जुनैद हत्या मामले में हिरासत में लिया. वो डबल मर्डर केस में मुख्य आरोपी है. काफी टाइम से राजस्थान पुलिस से बचने के लिए उत्तराखंड, हरियाणा और मथुरा में वो रह रहा था. पता चला है कि दो-तीन महीने पहले एक हफ्ते के लिए वो थाईलैंड भी गया था.

वीडियो: हरियाणा में धरा गया मोनू मानेसर, राजस्थान पुलिस को सौंपने की तैयारी