गोवा में एक फेस्टिवल इवेंट को लेकर विवाद हो रहा है. वहां बीच पर 25 मई की शाम को ग्लोफेस्ट-द लैंटर्न फेस्टिवल मनाया जाना है. इसमें लोग एक साथ मिलकर कागज के लालटेन आकाश में छोड़ते हैं और जश्न मनाते हैं. इसी तरह का एक फेस्टिवल चीन में भी मनाया जाता है (Chinese Festival Goa Controversy). चीनी नए साल के 15वें दिन पर. उसी को रिक्रिएट करने की कोशिश है. लेकिन फेस्टिवल को लेकर कुछ लोग नाराज हो गए हैं.
गोवा में चीन के फेस्टिवल को दोहराने की तैयारी! बवाल मच गया, क्या मांगें उठ रही हैं?
पर्यावरणविदों और संरक्षणवादियों ने अधिकारियों से त्योहार को रद्द करने की अपील की है. तर्क है कि फेस्टिवल से बीच के नैचुरल इकोसिस्टम, वाइल्डलाइफ और समुद्री जीवन को गंभीर खतरा है.

दरअसल फेस्टिवल मनाने के लिए जिस जगह को चुना गया है उसे लेकर ही विवाद है. मोरजिम बीच. इस बीच के पास कुछ एनडेंजर्ड कछुओं की नेस्टिंग साइट बनाई गई है. Olive Ridley Turtles. यानी वहां पर इन कछुओं के रहने के लिए अनुकूल परिस्थिति तैयार की गई हैं. इसी को लेकर पर्यावरणविदों ने आपत्ति जताई है.
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, पर्यावरणविदों और संरक्षणवादियों ने अधिकारियों से त्योहार को रद्द करने की अपील की है. उनका तर्क है कि फेस्टिवल से बीच के नैचुरल इकोसिस्टम, वाइल्डलाइफ और समुद्री जीवन को गंभीर खतरा है. उनका मानना है कि बीच पर रोशनी, शोर और भारी भीड़ के इकट्ठे होने से कछुओं की सुरक्षा को खतरा हो सकता है.
वन्यजीव बचावकर्ता और संरक्षणवादी बेनहेल अंताओ ने कहा,
बीच पर 10 से ज्यादा एक्टिव ओलिव रिडले कछुए के घोंसले हैं. कागज वाले ये लालटेन बांस या मेटल के तार वाले फ्रेम से बने होते हैं. ये वन्यजीवों, मछलियों, डॉल्फिन, पक्षियों और कछुओं के लिए जाल जैसे होते हैं. वो उन्हें निगल सकते हैं या उसमें फंस सकते हैं. भले ही वो बायोडिग्रेडेबल हो लेकिन उन्हें डिकंपोज होने में महीनों का समय लगता है. आसमान में जलती आग के साथ कागज के लालटेन छोड़ना भी खतरे की बात है क्योंकि झोंपड़ियां, घर और नारियल के पेड़ आग पकड़ सकते हैं. इससे जंगल में आग भी लग सकती है.

बता दें, इस पूरे कार्यक्रम को एम्यूजेंट इवेंट्स नाम की कंपनी आयोजित कर रही है. इसके टिकट आतिशबाजी वाले वीडियो के साथ ऑनलाइन प्रमोट और बेचे गए. कंपनी ने कहा कि वो या तो कार्यक्रम की तारीख आगे बढ़ा देंगे या आयोजन स्थल बदल देंगे. एक इंस्टाग्राम पोस्ट में कहा,
क्या एक्शन लिया गया?हम इन लालटेनों को जमीन से एक तार के जरिए अटैच कर देंगे. इससे वो केवल 100 फीट तक उड़ेंगे और वापस उसी जगह पर आ जाएंगे. इससे कोई नुकसान नहीं होगा. कार्यक्रम के बाद आयोजन स्थल की सफाई भी कर दी जाएगी. इससे दुनिया भर में मनाए जाने वाले लालटेन कार्यक्रमों में भी एक बड़ा बदलाव आएगा.
मामले को लेकर पर्यटन निदेशक अंचीपाका ने कहा,
विभाग को इस इवेंट के आयोजन के लिए आयोजकों की तरफ से कोई आवेदन नहीं मिला है और ना ही इसके लिए कोई अनुमति दी गई है. हम ऐसे किसी भी फेस्टिवल की अनुमति नहीं देंगे जिससे पर्यावरण को खतरा हो.
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पेरनेम के डिप्टी कलेक्टर शिवप्रसाद नाइक ने 23 मई को मंड्रेम पुलिस को लेटर लिखकर किसी भी अप्रिय स्थिति से बचने के लिए कार्यक्रम स्थल पर जरूरी बल तैनात करने को भी कहा है.
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