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तुर्की भूकंप की भविष्यवाणी करने वाले रिसर्चर ने भारत के लिए कुछ कहा है

फ्रैंक हूगरबीट्स ने 3 फरवरी को कहा था तुर्की में भयानक भूकंप आएगा. 6 फरवरी को तुर्की की जमीन ऐसी हिली कि सब तबाह हो गया.

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(बाएं) तुर्की में आए भूकंप के बाद की एक तस्वीर. (दाएं) इंडिया टुडे से बातचीत में फ्रैंक हूगरबीट्स. (फोटो- इंडिया टुडे)
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आर्यन मिश्रा
13 फ़रवरी 2023 (Updated: 13 फ़रवरी 2023, 01:54 PM IST) कॉमेंट्स
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तुर्की और सीरिया में भूकंप ने हजारों जानें ले लीं. कुछ ऐसा ही भारत में भी हो सकता है. ये अनुमान, फिर बता दें, अनुमान लगाया है कि नीदरलैंड के शोधकर्ता फ्रैंक हूगरबीट्स ने (Frank Hoogerbeets on Earthquake in India). फ्रैंक हूगरबीट्स वही रिसर्चर हैं जिन्होंने 6 फरवरी से पहले ही तुर्की या उसके पड़ोसी इलाकों में बड़े भूकंप की आशंका जता दी थी. उन्होंने 3 फरवरी को ट्वीट कर इसकी आशंका जताई थी. तीन दिन बाद उनकी बात सच साबित हुई. तुर्की और सीरिया में 7.8, 7.5 और 6.0 मैग्नीट्यूड के तीन भूकंप आए. इस आपदा ने अब तक तुर्की और सीरिया में 33 हजार से ज्यादा लोगों की जान ले ली है.

अब फ्रैंक ने भारत में इस लेवल के भूकंप के आने को लेकर अपनी बात रखी है. उनका एक वीडियो चर्चा में है जिसमें वो कह रहे हैं कि अफगानिस्तान, पाकिस्तान और भारत समेत हिंद महासागर के क्षेत्र में काफी बड़े पैमाने का भूकंप आने की संभावना है. इस पर इंडिया टुडे से बातचीत में नीदरलैंड के रिसर्चर ने कहा है,

'हमारे इस अनुमान में थोड़ा सा संशय है. आप मैप में जो पर्पल बैंड देख रहे हैं उसका मतलब रपचर जोन (वो जगह जहां जमीन फटने की आशंका हो) नहीं है. इसका मतलब ये भी नहीं कि कोई भूकंप का झटका अफगानिस्तान से शुरु होकर हिंद महासागर तक जाएगा. ये मात्र वायुमंडल का उतार-चढ़ाव है, जो उन संभावित क्षेत्रों को चिह्नित करता है जहां भूकंप आने का खतरा है. ये अफगानिस्तान हो सकता है, पाकिस्तान भी हो सकता है या फिर थोड़ा पूर्व में भारत भी हो सकता है, जैसै साल 2001 में भूकंप आया था. ये सब मात्र अनुमान हैं, संभावनाएं हैं, इसकी कोई पुष्टि नहीं की जा सकती है.'

फ्रैंक आगे बताते हैं,

'हम पहले ग्रहों और चंद्रमा की स्थिति का जायजा लेंगे और फिर समय सीमा को अलग कर देंगे. जैसा हमने 4 से 6 फरवरी को किया था. फिर वायुमंडलीय उतार-चढ़ाव का जायजा लेने के बाद ही हम बता पाएंगे कि भूकंप से प्रभावित होने वाले सबसे संभावित क्षेत्र कौन से होंगे.'  

फ्रैंक हूगरबीट्स के वीडियो के बाद पाकिस्तान में वहां के मौसम विभाग के हवाले से दावा किया जाने लगा था कि पाकिस्तान और अफगानिस्तान में भूकंप आएगा. इस पर डच रिसर्चर ने कहा है,

'हमने कभी नहीं बोला ये दावा है, न ही हमने ये बोला की ये होगा ही. मगर समस्या ये है कि कभी कभी पूर्वानुमान को सोशल मीडिया में किसी और तर्क में ले लिया जाता है जो बाद में कहीं कहानी बन जाती है. और बात रही पाकिस्तान और अफगानिस्तान के क्षेत्रों की तो ये मात्र अनुमान ही हैं.'

भूकंप का पूर्वानुमान लगाने वाली अपनी टेक्नोलॉजी को शेयर करने पर फ्रैंक का कहना है कि अभी हमारे पास इस टेक्नोलॉजी का विस्तार करने का कोई उपयुक्त साधन नहीं है. 

बता दें कि फ्रैंक हूगरबीट्स नीदरलैंड के एक शोध संस्थान सोलर सिस्टम जियोमेट्री सर्वे के लिए काम करते हैं. इस रिसर्च इंस्टीट्यूट में ग्रहों की गतिविधियों पर नजर रखते हुए भूकंप का अनुमान लगाया जाता है.

वीडियो: तुर्की में भूकंप आएगा, भविष्यवाणी करने वाले वैज्ञानिक फ्रैंक हूजरबीट्स कौन हैं?

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