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हरियाणा में बीजेपी ने इन 13 विधायकों को मंत्री बनाकर कौन से समीकरण साधे हैं?

हरियाणा में नायब सिंह सैनी और उनके मंत्रियों ने शपथ ले ली है. 13 मंत्रियों में 2 दलित, 2 ब्राह्मण, 2 जाट, 4 ओबीसी, एक राजपूत, एक पंजाबी और एक वैश्य है. इन नेताओं के जरिए बीजेपी ने कौन से समीकरण साधने की कोशिश की है?

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शपथ ग्रहण समारोह पंचकूला के दशहरा ग्राउंड में हुआ | फोटो: आजतक

नायब सिंह सैनी ने दूसरी बार हरियाणा के मुख्यमंत्री पद की शपथ ले ली है. गुरुवार, 17 अक्टूबर को शपथ ग्रहण समारोह पंचकूला के दशहरा ग्राउंड में हुआ. इस अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और भाजपा के अन्य शीर्ष नेता मौजूद रहे. नायब सिंह सैनी के साथ 13 अन्य बीजेपी विधायकों ने भी मंत्री पद की शपथ ली है. इनमें अनिल विज, श्याम सिंह राणा, महिपाल ढांडा, कृष्ण लाल पंवार, अरविंद शर्मा, रणबीर सिंह गंगवा, आरती राव, श्रुति चौधरी, राव नरबीर सिंह, विपुल गोयल, राजेश नागर गुर्जर, गौरव गौतम और कृष्ण कुमार बेदी का नाम शामिल है.

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नायब सिंह सैनी सरकार में ये नेता क्यों बने मंत्री?

नायब सिंह सैनी की कैबिनेट में मंत्रियों के नाम देखकर सबसे पहले जो बात समझ आती है, वो ये कि इनके जरिए जातीय और क्षेत्रीय समीकरणों को संतुलित करने की कोशिश की गई है. 13 मंत्रियों में 2 दलित, 2 ब्राह्मण, 2 जाट, 4 ओबीसी, एक राजपूत, एक पंजाबी और एक वैश्य है.

# अंबाला कैंट से बीजेपी विधायक अनिल विज ने सीएम सैनी के बाद दूसरे नंबर पर शपथ ली. अनिल विज अंबाला कैंट से विधायक हैं. वह इससे पहले भी राज्य सरकार में गृह और स्वास्थ्य मंत्री रह चुके हैं. 70 के दशक में संघ से जुड़े विज पंजाबी बिरादरी से आते हैं और लगातार सातवीं बार विधायक बने हैं. इस बार उन्होंने निर्दलीय उम्मीदवार चित्रा सरवरा को 7277 वोटों के अंतर से चुनाव हराया. चित्रा को 52,581 और अनिल विज को 59,858 वोट मिले.

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अनिल विज

# कृष्ण लाल पंवार ने मंत्री पद की शपथ ली. हरियाणा में बीजेपी के कद्दावर दलित नेता पंवार पानीपत जिले की इसराना विधानसभा सीट से छठी बार विधायक बने हैं. इस बार उन्होंने कांग्रेस के बलबीर वाल्मीकि को 13578 वोटों से हराया. कृष्ण लाल पंवार को कुल 67,538 वोट मिले. वहीं बलबीर सिंह बाल्मीकि को कुल 53,643 वोट मिले. वो राज्य सभा के सदस्य थे. 2024 में विधानसभा चुनाव जीतने के बाद उन्होंने राज्यसभा की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया. कृष्ण लाल पंवार पानीपत जिले के मतलोडा के रहने वाले हैं. 2014 में बनी बीजेपी सरकार में वो परिवहन और जेल मंत्री भी रहे थे.

# राव नरबीर सिंह ने कैबिनेट मंत्री पद की शपथ ली. ओबीसी में यादव समुदाय से आने वाले नरबीर सिंह गुरुग्राम से सटी बादशाहपुर सीट से विधायक हैं. इस बार उन्होंने 60 हजार से अधिक वोटों से जीत हासिल की. उन्होंने कांग्रेस के वर्धन यादव को हराया था. चार बार के विधायक रह चुके नरबीर सिंह 2014 में मनोहर लाल खट्‌टर की सरकार में पावरफुल कैबिनेट मंत्री रह चुके हैं. पिछला चुनाव वो हार गए थे. राव नरबीर सिंह, अहीरवाल बेल्ट के बड़े नेता राव इंद्रजीत सिंह के धुर विरोधी माने जाते हैं. पूरे इलाके में राव नरबीर ही इकलौते ऐसे नेता हैं, जिन्होंने अपने दम पर न केवल हाईकमान से सीधे टिकट हासिल किया, बल्कि इस इलाके में सबसे बड़ी जीत भी दर्ज की है.

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राव नरबीर सिंह

# पानीपत ग्रामीण से बीजेपी विधायक महिपाल ढांडा ने भी कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली. इस बार महिपाल ढांडा ने पानीपत ग्रामीण सीट से लगातार तीसरी बार जीत दर्ज की. उन्होंने 50212 वोटों से चुनाव जीता. इस चुनाव में उन्होंने कांग्रेस उम्मीदवार सचिन कुंडू को हराया. जाट बिरादरी से ताल्लुक रखने वाले महिपाल ढांडा पहले भी राज्य सरकार में विकास एवं पंचायत व सहकारिता राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभार रह चुके हैं. 

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# फरीदाबाद सीट से विधायक बने विपुल गोयल ने एक बार फिर राज्य सरकार में मंत्री पद की शपथ ली है. इस बार उन्होंने 48 हजार से ज्यादा मतों से जीत हासिल की थी. उन्होंने कांग्रेस के लाखन सिंगला को चुनाव हराया. वैश्य समुदाय से आने वाले गोयल दो बार के विधायक हैं. 2016 में पहली बार वह खट्टर सरकार में मंत्री बने थे. 2019 में उन्हें टिकट नहीं मिला था.

# सोनीपत की गोहाना सीट से विधायक अरविंद कुमार शर्मा ने कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली है. वो गोहाना सीट से 10 हजार से ज्यादा वोटों से चुनाव जीते. उन्होंने कांग्रेस से लगातार चार बार के विधायक जगबीर सिंह मलिक को हराया. अरविंद शर्मा पेशे से डेंटल सर्जन हैं. चार बार सांसद भी रह चुके हैं, लेकिन पिछला लोकसभा चुनाव रोहतक से हार गए थे. हरियाणा में बीजेपी के प्रमुख ब्राह्मण चेहरा हैं, वो 2014 में कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में आए थे. अरविंद शर्मा की जीत एक और मायने में भी बड़ी है. दरअसल, गोहाना एक ऐसी सीट है जिसपर इससे पहले 13 बार विधानसभा चुनाव हुए. लेकिन बीजेपी कभी भी ये सीट नहीं जीत सकी. लेकिन, अरविंद शर्मा ने इस बार इस क्षेत्र में कमल खिला दिया.   

# हरियाणा में बीजेपी का अहम राजपूत चेहरा श्याम सिंह राणा ने कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली है. यमुनानगर की रादौर सीट से श्याम सिंह राणा 13,132 वोटों से चुनाव जीते. उन्होंने कांग्रेस के बिशन लाल सैनी को हराया है. 2014 में वह बीजेपी से विधायक बने थे लेकिन 2019 में उन्हें टिकट नहीं दिया गया. 2020 में उन्होंने किसान बिल पर बीजेपी छोड़ दी थी और इनेलो में शामिल हो गए थे. जुलाई 2024 में वो बीजेपी में वापस आ गए थे.

# रणबीर गंगवा हिसार जिले की बरवाला सीट से बीजेपी विधायक हैं. रणवीर गंगवा इस बार 27,170 वोटों से चुनाव जीते. उन्होंने कांग्रेस के रामनिवास घोड़ेला को शिकस्त दी है. ओबीसी तबके से आने वाले रणबीर गंगवा को 2010 में इनेलो ने राज्यसभा भेजा था. 2014 में पहली बार वो हिसार की ही नलवा सीट से विधायक बने. फिर 2019 में भारतीय जनता पार्टी में शामिल होकर फिर से नलवा से चुनाव जीता. इस जीत के बाद उन्हें हरियाणा विधानसभा का डिप्टी स्पीकर बनाया गया था. 2024 में भाजपा ने उन्हें नलवा की बजाय बरवाला विधानसभा से उम्मीदवार बनाया और उन्होंने जीत हासिल की. उनकी एक बड़ी कामयाबी ये भी है कि इस बार बरवाला में बीजेपी पहली बार चुनाव जीती है.

# कृष्ण कुमार बेदी बीजेपी का प्रमुख दलित चेहरा हैं. जींद जिले की नरवाना विधानसभा सीट पर उन्होंने कांग्रेस के सतबीर दबलैन को कुल 11,499 वोटों के अंतर से हराया. बेदी मनोहर लाल खट्टर के पूर्व राजनीतिक सचिव रह चुके हैं. 2014 में वो कुरुक्षेत्र के शाहाबाद विधानसभा क्षेत्र से पहली बार विधायक चुने गए. पहली बार राज्यमंत्री भी बने. हालांकि, 2019 के विधानसभा चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा था.

# 2009 से 2014 तक भिवानी लोकसभा सीट से कांग्रेस के टिकट पर सांसद रह चुकीं श्रुति चौधरी ने मंत्री पद की शपथ ली है. भिवानी जिले की तोशाम विधानसभा सीट पर श्रुति चौधरी ने 14,257 वोटों से जीत हासिल की. उन्होंने इस सीट पर अपने चचेरे भाई और कांग्रेस के प्रत्याशी अनिरुद्ध चौधरी को हराया. वह दिग्गज नेता किरण चौधरी की बेटी और पूर्व सीएम बंशीलाल की पौत्री हैं. वह हरियाणा की पहली मंत्री हैं जिन्होंने आज अंग्रेजी में शपथ ली. वह जाट समुदाय से आती हैं.

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श्रुति चौधरी

# दूसरी महिला मंत्री के रूप में आरती सिंह राव ने कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली. आरती सिंह ने महेंद्र गढ़ जिले की अटेली सीट पर बहुजन समाज पार्टी के प्रत्याशी अतर लाल को 2500 वोटों के अंतर् से चुनाव हराया. केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह की बेटी आरती रावत पहली बार विधायक बनी हैं. ओबीसी में अहीर समुदाय से आने वाली आरती राव पहली बार ही मंत्री भी बनी हैं. आरती सिंह अंतरराष्ट्रीय शूटर रही हैं.

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आरती सिंह राव

# फरीदाबाद की तिगांव सीट से बीजेपी विधायक राजेश नागर ने राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) के रूप में शपथ ली. उन्होंने इस बार 37,401 वोटों निर्दलीय प्रत्याशी ललित नागर को शिकस्त दी थी. ओबीसी समुदाय से ताल्लुक रखने वाले राजेश नागर लगातार दूसरी बार विधायक बने हैं. 2014 में वह चुनाव हार गए थे, लेकिन 2019 और 2024 में उन्होंने शानदार जीत हासिल की.

# गौरव गौतम ब्राह्मण समुदाय से ताल्लुक रखते हैं, उन्होंने राज्य मंत्री के रूप में शपथ ली है. 36 साल के गौरव सबसे युवा मंत्री हैं जिन्हें केंद्रीय मंत्री कृष्ण सिंह गुर्जर का करीबी माना जाता है. हरियाणा बीजेपी का युवा चेहरा गौरव पलवल सीट से चुनाव जीते हैं. उन्होंने यहां से कांग्रेस के दिग्गज नेता और पूर्व मंत्री करण सिंह दलाल को 33,605 वोटों से शिकस्त दी.

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