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"इजरायल ने अस्पताल में किया हमला"- इनफ्लुएंसर हनान्या नफ्ताली ने डिलीट क्यों किया ये पोस्ट?

सोशल मीडिया इन्फ्ल्यूएंसर हनान्या नफ्ताली का एक पोस्ट वायरल हो रहा है. उन्होंने 17 अक्टूबर की देर रात गाजा के अल-अहली अरब अस्पताल पर हुए रॉकेट हमले पर एक पोस्ट किया था. इसके थोड़ी देर बाद ही उन्होंने अपना पोस्ट डिलीट कर दिया.

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इजरायली सरकार के समर्थन में पोस्ट करने के लिए मशहूर हैं इन्फ्ल्यूएंसर हनान्या नफ्ताली. (फोटो क्रेडिट - फेसबुक)

फिलिस्तीन के स्वास्थ्य मंत्रालय का कहना है कि गाजा के अल-अहली अरब अस्पताल में हुए विस्फोट (Gaza Hospital Attack) में कम से कम 500 लोग मारे जा चुके हैं. फिलिस्तीन के स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा है कि इजरायल ने हमला किया. वहीं इजरायल का कहना है कि फिलिस्तीन इस्लामिक जिहाद की तरफ से दागा गया एक रॉकेट मिसफायर होकर अस्पताल पर गिर गया.

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इसी बीच सोशल मीडिया इन्फ्ल्युएंसर हनान्या नफ्ताली का एक पोस्ट वायरल हो रहा है. मीडिया रिपोर्ट्स में बताया गया है कि नफ्ताली इजरायल की सरकार के साथ काम करते हैं. उन्होंने 17 अक्टूबर की देर रात X पर एक पोस्ट कर बताया था कि गाजा में अल-अहली अरब अस्पताल पर इजरायल ने हमला किया है. इस पोस्ट में उन्होंने लिखा था,

"इजरायली वायुसेना ने गाजा में एक अस्पताल के अंदर हमास के आतंकवादी बेस पर हमला किया. इसमें कई आतंकवादी मारे गए हैं. ये बहुत खराब है कि हमास अस्पतालों, मस्जिदों और स्कूलों से रॉकेट लॉन्च कर रहा है. वे आम लोगों को ढाल की तरह इस्तेमाल कर रहे हैं."

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हनान्या नफ्ताली ने 17 अक्टूबर को पोस्ट कर कहा था कि अल अहली अरब अस्पताल पर इजरायल ने हमला किया है. (फोटो क्रेडिट- X)

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पोस्ट डिलीट कर दी सफाई

नफ्ताली ने थोड़ी देर में ही इस पोस्ट को डिलीट कर दिया. इसके बाद उन्होंने एक और ट्वीट कर बताया,

"गाजा में रहस्यमयी विस्फोट. हमास ने इसके लिए इजरायल को जिम्मेदार ठहराया. लेकिन मेरा मानना है कि या तो ये एक फेल रॉकेट है जो अस्पताल पर जाकर गिर गया या फिर एक ऐसा कदम जो हमास ने जानबूझकर अंतरराष्ट्रीय समर्थन पाने के लिए किया है."

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कुछ समय बाद नफ्ताली ने एक और पोस्ट किया. इसमें उन्होंने डिलीट किए अपने पोस्ट पर सफाई दी. उन्होंने लिखा,

"मैंने आज रॉयटर्स की एक रिपोर्ट साझा की थी, जिसमें गाजा के अस्पताल पर बम-विस्फोट के बारे में झूठा दावा किया गया था. इसमें कहा गया था कि अस्पताल पर ये हमला इजरायल ने किया है. मैंने गलती से ये जानकारी अपने डिलीट किए गए पोस्ट में लिख दी थी. मैं इस गलती के लिए माफी चाहता हूं."

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नफ्ताली ने इसी पोस्ट में आगे लिखा,

"क्योंकि इजरायली सुरक्षाबल अस्पतालों पर बमबारी नहीं करते हैं, मैंने सोचा कि इजरायल ने गाजा में हमास के एक ठिकाने को निशाना बनाया होगा. ये सबको पता है कि हमास नागरिकों को मानव ढाल की तरह इस्तेमाल कर रहा है. ये एक युद्ध अपराध है. ये मानवता के खिलाफ अपराध है. इस पर बात होनी चाहिए."

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, हनान्या नफ्ताली पिछले कुछ सालों से इजरायली प्रधानमंत्री नेतन्याहू की डिजिटल टीम का हिस्सा हैं. केवल सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर ही उनके करीब 3,57,000 फॉलोअर्स हैं. वे इजरायली समर्थन के लिए पोस्ट करते रहते हैं. उन्होंने 2014 में इजरायली सेना में सेवाएं दीं. वे इस दौरान सेना में सेवा देने और इजरायल का समर्थन करने वाले पोस्ट शेयर करते थे. वे इसके बाद से मशहूर होने लगे.

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