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बिट्टू बजरंगी को किस मामले में पकड़ा गया है? महिला अधिकारी ने लगाए थे गंभीर आरोप

हरियाणा के नूह में हुई सांप्रदायिक हिंसा से पहले बिट्टू बजरंगी के बयान और वीडियो वायरल हुए थे.

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बिट्टू बजरंगी पर हुई कार्रवाई का वीडियो वायरल. (तस्वीरें- आजतक)

हिंदूवादी नेता बिट्टू बजरंगी को हरियाणा के फरीदाबाद से पकड़ लिया गया है. ये साफ नहीं है कि पुलिस ने किस मामले में ये कार्रवाई की है. ये भी पूरी तरह साफ नहीं है कि बिट्टू बजरंगी को गिरफ्तार किया गया है या हिरासत में लिया गया है. कुछ रिपोर्ट्स में कहा गया है कि बिट्टू को पूछताछ के लिए उठाया गया है. वहीं कुछ ट्विटर हैंडल से बिट्टू बजरंगी पर हुई कार्रवाई का वीडियो शेयर किया गया है. दी लल्लनटॉप इस वीडियो की पुष्टि नहीं करता है.

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हरियाणा के नूह में हुई सांप्रदायिक हिंसा से पहले बिट्टू बजरंगी के बयान और वीडियो वायरल हुए थे. इनमें वो भड़काऊ बातें करता दिखा था. एक वीडियो में वो दूसरे समुदाय के लिए कह रहा था,

"ये बोलेंगे कि बताया नहीं कि हम ससुराल आए और मुलाकात नहीं हुई, फूल माला तैयार रखना, जीजा आ रहे हैं."

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31 जुलाई को हुई हिंसा से पहले धार्मिक यात्रा में उसे तलवारों के साथ जुलूस में शामिल होते देखा गया था.

हालांकि बिट्टू बजरंगी ने सफाई में कहा था कि वो लोग यात्रा में महिलाओं और बच्चों के साथ निकले थे, तो लड़ाई क्यों करेंगे. यात्रा में हथियार ले जाने और मोनू मानेसर से जान पहचान को लेकर बिट्टू ने आजतक से कहा था,

"हर साल की तरह इस साल भी शोभा यात्रा निकाली गई. पूजा के बाद सबने खाना खाया. कीर्तन हुआ. हम वापस लौट रहे थे. काफिला 500 मीटर ही चला होगा. तभी हमने वहां देखा कि आगे हमारी कुछ बसों-गाड़ियों को आतताइयों ने आग के हवाले कर दिया. वहीं पास में एक मस्जिद थी. उनके पास करीब 250 हथियार थे जिससे उन्होंने गोलीबारी शुरू कर दी. हमें महिलाओं और बच्चों की चिंता था. यात्रा को वापस कर हम मंदिर में चले गए."

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वहीं यात्रा में हथियार लाने के सवाल पर उसने कहा था,

"जो एकाध बंदूकें थीं, वो लाइसेंस की थीं. जो तलवारें हमारे पास थीं वो पूजा पाठ-शादी ब्याह वाली हैं. लड़ाई करने वाली तलवार नहीं. अपने परिवार के साथ हम लड़ाई क्यों लड़ने जाएंगे? हम शांति से गए थे."

वहीं दूसरे समुदाय के लिए आपत्तिजनक बातें करने वाले वीडियो को लेकर बिट्टू ने कहा था कि पहले उसे फोन पर जान से मारने की धमकी दी गई थी. बिट्टू के मुताबिक उसने धमकी देने वालों के लिए वो वीडियो बनाया था.

इंडिया टुडे/आजतक की रिपोर्ट के मुताबिक नूह की एक पुलिस अधिकारी ASP उषा ने बिट्टू बजरंगी के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी. उसी के आधार पर आज की कार्रवाई की गई है. पुलिस अधिकारी ने शिकायत में आरोप लगाया था कि हिंसा वाले दिन उन्होंने बिट्टू बजरंगी को हथियारों (तलवारों) के साथ यात्रा में भाग लेने से रोका था. उषा के मुताबिक तब बिट्टू ने ड्यूटी करते समय उनके साथ दुर्व्यवहार किया था. वो कथित रूप से अधिकारी की गाड़ी के पर बैठ गया था. इसीलिए दंगों के अलावा उस पर लोक सेवक के कार्य में बाधा डालने के आरोप में भी केस दर्ज हुआ है.

वीडियो: "उंगली उठाएंगे, तो हम हाथ काट देंगे", हरियाणा में पुलिस के सामने मुसलमानों के खिलाफ भड़काऊ बयानबाजी

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