The Lallantop

'जब 6 मार सकता हूं, तो सिंगल...' वैभव की ये बात सुन कोच ने कान पकड़ लिए थे!

Vaibhav Sooryavanshi के बचपन के कोच Manish Ojha बताते हैं कि वैभव बहुत कम उम्र से ही अपने खेल के बारे में काफी स्पष्ट था. उसकी बल्लेबाजी की शैली, उसका शॉट चयन. वह अपने आयु वर्ग के खिलाड़ियों से 10 साल आगे है.

post-main-image
वैभव सूर्यवंशी ने GT के ख‍िलाफ 35 बॉल्स में सेंचुरी लगा दी. (फोटो-PTI)

IPL 2025 की सबसे खास इनिंग. खास इसलिए क्योंकि इसमें कई रिकॉर्ड्स टूट गए. और रिकॉर्ड जिसने तोड़ा वह कोई और नहीं 14 साल के वैभव सूर्यवंशी हैं. वही, वैभव सूर्यवंशी जिनके बारे में आप मेगा ऑक्शन से सुनते आ रहे हैं. अभी 9 दिन पहले ही सबसे यंगेस्ट डेब्यूटांट के रूप में इनका नाम सुना होगा. डेब्यू मैच की पहली बॉल पर छक्का मारने वाली चर्चा भी सुनी होगी. और अब उनका नाम सबसे तेज सेंचुरी के कारण सुनेंगे. पर ऐसे प्लेयर यू ही नहीं बन जाते. वैभव के बचपन के कोच मनीष ओझा ने हाल ही में Cricketnext को दिए एक इंटरव्यू में ऐसी बातें बताईं जिन्हें जानकर आप भी हैरान हो जाएंगे.

कोच ने क्या बोला?

वैभव के कोच मनीष ओझा के अनुसार, उन्होंने वैभव से जब ये पूछा कि वह सिंगल लेने का प्रयास क्यों नहीं करते. तो इस पर वैभव ने जवाब दिया था,

“जब 6 मार सकता हूं तो सिंगल क्यों?” 

वैभव के कोच मनीष ओझा बताते हैं,

वैभव मेरे पास तब आया जब वह नौ साल का था. समस्तीपुर से पटना की दूरी करीब 100 किलोमीटर है. वह हर दूसरे दिन कोचिंग सेंटर आता था. वैभव सुबह 7:30 बजे से ट्रेनिंग शुरू कर देता था. वह शाम तक ट्रेनिंग जारी रखता था. फिर वापस घर चला जाता था. चार साल से वो इस शेड्यूल का पालन कर रहा है.

वैभव की लगन और उनके डेडिकेशन को लेकर कोच ने बताया,

आमतौर पर, किसी भी क्रिकेट एकेडमी में एक बच्चा प्रतिदिन 40-50 बॉल्स खेलता है. लेकिन वैभव ने मेरी देखरेख में प्रतिदिन 400-500 बॉल्स खेलीं. आगे बढ़ते हुए, हमने उसकी बल्लेबाजी शैली में कुछ तकनीकी बदलाव किए. जिस तरह से उसने उन बदलावों को अपनाया और मैदान पर उन्हें लागू किया, उससे पता चलता है कि वह दूसरों से अलग है. वैभव ने हमेशा हमारी उम्मीद से ज़्यादा अच्छा प्रदर्शन किया है. चाहे वह स्थानीय टूर्नामेंट हो, बिहार क्रिकेट एसोसिएशन के तहत घरेलू मैच हो या कोई भी मैच. अगर हमने कम से कम पचास रन की मांग की, तो उसने 100 रन बनाए हैं.

वैभव के आक्रामक बैटिंग शैली को लेकर कोच कहते हैं, 

वह हमेशा से ही आक्रामक खिलाड़ी रहा है. वह कभी भी प्रतिद्वंद्वी को अपनी शर्तें तय करने नहीं देता. वह कभी भी दबाव में नहीं आना चाहता. चाहे उसका सामना किसी से भी हो. आमतौर पर, बच्चे सीनियर या प्रतिस्पर्धी प्रतिद्वंद्वियों का सामना करते समय तनाव में आ जाते हैं. लेकिन वैभव अलग है. वह कभी भी अपना दृष्टिकोण नहीं बदलता.

वैभव के बैटिंग अप्रोच को लेकर कोच मनीष ओझा ने बताया,

एक बार मैच सिमुलेशन के दौरान, मैंने उससे पूछा कि तुम सिंगल और डबल क्यों नहीं ले रहे हो. इस पर वैभव ने जवाब दिया, ‘जिस बॉल को मैं छक्का मार सकता हूं उसमें सिंगल क्यों लूं?’ 

ओझा बताते हैं कि वैभव बहुत कम उम्र से ही अपने खेल के बारे में काफी स्पष्ट था. उसकी बल्लेबाजी की शैली, उसका शॉट चयन. वह अपने आयु वर्ग के खिलाड़ियों से 10 साल आगे है.

यह भी पढ़ें : IPL में 14 साल के लड़के का तूफान, तीसरे मैच में दुनिया को हिला दिया!

वैभव को नहीं लगता डर

अब बात करते हैं उन रिकॉर्ड्स की जो वैभव ने GT के ख‍िलाफ तोड़े. 14 साल के इस युवा खिलाड़ी ने 35 बॉल्स पर सेंचुरी लगाई. ये IPL में अब तक किसी भी इंडियन की ओर से लगाई गई सबसे तेज सेंचुरी है. वैभव ने 2010 में युसूफ पठान की ओर से 37 बॉल्स में सेंचुरी का रिकॉर्ड तोड़ दिया. इसके साथ ही वैभव T20 क्रिकेट इतिहास में सेंचुरी लगाने वाले सबसे युवा प्लेयर भी बन गए. 14 साल 32 दिन की उम्र में उन्होंने ये कारनामा किया है. वहीं, मैच की बात करें तो GT के खिलाफ करो या मरो के मैच में RR ने तीसरी जीत दर्ज की. मैच में GT ने पहले बैटिंग करते हुए 209 रन बनाए थे. लेकिन RR ने वैभव सूर्यवंशी की 35 बॉल्स में सेंचुरी के दम पर ये मैच 15.5 ओवर में ही जीत लिया. मैच के बाद पोस्ट मैच शो में प्लेयर ऑफ द मैच रहे वैभव ने कहा,

मैं बहुत अच्छा महसूस कर रहा हूं. IPL में पहला शतक. मेरी सिर्फ तीसरी पारी में. पिछले 4-5 महीनों में मैंने जो भी अभ्यास किया है, उसका फायदा मिला है. मैं मैदान पर बॉलर्स को नहीं देखता. हर बॉलर को उसकी योग्यता के हिसाब से खेलता हूं. 

यशस्वी के साथ पार्टनरशिप को लेकर वैभव ने बताया,

मुझे जैसु भाई (Yashsasvi) के साथ बैटिंग करना बहुत पसंद है. वह हमेशा पॉजिटिव बातें करते हैं और मुझे अच्छा करने के लिए प्रोत्साहित करते हैं. 

शतक को लेकर वैभव ने बताया,

IPL में शतक बनाना एक सपने जैसा है. जैसा कि मैंने कहा, मैंने पिछले 4-5 महीनों में बहुत अभ्यास किया है और यह सब मेरे लिए कारगर रहा है. मुझे किसी चीज़ का डर नहीं है. मैं बस अपने खेल पर ध्यान केंद्रित करना चाहता हूं.

RR ने इस बड़ी जीत के साथ प्लेऑफ की दौड़ में खुद को जिंदा रखा है. अब उनका अगला मुकाबला 1 मई को मुंबई इंडियंस (MI) से है.

वीडियो: IPL 2025: जीत के बाद विराट कोहली का सेलिब्रेशन वायरल, पॉइंट्स टेबल में टॉप पर RCB

इस पोस्ट से जुड़े हुए हैशटैग्स