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'होटल से निकलना असंभव', तीर्थ पर गए यूपी के 12 लोग ईरान में फंसे, अब भारत सरकार के भरोसे

शमां अफरोज सिविल लाइन थाना क्षेत्र के अमीर निशा की रहने वाली हैं. उनके भाई असलम मेंहदी ने बताया कि उनकी बहन ने उन्हें फोन पर बताया कि हालात बिगड़ने के कारण होटल से निकलना भी असंभव हो गया है. स्थिति इतनी खराब है कि बार-बार इंटरनेट और संचार व्यवस्था बाधित हो रही है.

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महिला के भाई ने भारत सरकार से गुहार लगाई है कि उनकी बहन को सुरक्षित वापस लाया जाए. (तस्वीर: इंडिया टुडे)
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अकरम खान

उत्तर प्रदेश (UP) के अलीगढ़ की शमां अफरोज सहित 12 लोग धार्मिक यात्रा के लिए ईरान गए थे. इस बीच ईरान-इजरायल के बीच युद्ध शुरू हो गया. नतीजा ये कि धार्मिक यात्रा पर गया एक पूरा समूह ईरान में ही फंस गया. ‘कारवां-ए-हैदरी’ नाम का ये समूह 30 मई को दिल्ली से रवाना हुआ था. जंग शुरू होने के कारण ईरान के कुम जिले के एक होटल में फंसा हुआ है.

शमां अफरोज सिविल लाइन थाना क्षेत्र के अमीर निशा की रहने वाली हैं. उनके भाई असलम मेंहदी ने बताया कि उनकी बहन ने उन्हें फोन पर बताया कि हालात बिगड़ने के कारण होटल से निकलना भी असंभव हो गया है. स्थिति इतनी खराब है कि बार-बार इंटरनेट और संचार व्यवस्था बाधित हो रही है. उनसे संपर्क बनाकर रखना भी मुश्किल हो रहा है.

असलम ने भारत सरकार से अपील की है कि उनकी बहन समेत सभी धार्मिकयात्रियों को सुरक्षित वापस लाया जाए. उन्होंने मांग की कि अन्य देशों के संघर्ष के दौरान जिस तरह केंद्र सरकार ने भारतीयों को सुरक्षित वापस लाने के लिए काम किया, उसी तरह के प्रयास इस बार भी किए जाएं. असलम का कहना है कि उनकी बहन सहित उनके समूह के सभी लोग वहां डरे हुए हैं. उनके परिजनों ने विदेश मंत्रालय और स्थानीय प्रशासन से भी मदद की मांग की है.

इंडिया टुडे इनपुट्स के मुताबिक, ईरान स्थित भारतीय दूतावास इन लोगों के संपर्क में है और उन्हें सुरक्षित निकालने की कोशिश की जा रही है. फिलहाल कूटनीतिक माध्यमों से स्थिति को संभालने की कोशिश की जा रही है. 

हजारों भारतीय छात्र अब भी ईरान में फंसे हैं

इनके अलावा 4 हजार से ज्यादा भारतीय छात्र भी ईरान में फंसे हुए हैं. इनमें आधे से ज्यादा इस्लामिक आजाद यूनिवर्सिटी, ईरान यूनिवर्सिटी ऑफ मेडिकल साइंसेज और शाहिद बेहेश्ती यूनिवर्सिटी जैसे संस्थानों में पढ़ाई करते हैं.

इन छात्रों को ईरान से निकालने के लिए भारत सरकार ने ‘ऑपरेशन सिंधु’ शुरू किया है. इसके तहत 110 छात्रों के एक समूह को ईरान से निकालकर आर्मेनिया और दोहा होते हुए गुरुवार 19 जून को दिल्ली लाया गया.

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ईरान के परमाणु ठिकानों पर इजरायल का हमला

इजरायल और ईरान के बीच संघर्ष लगातार गहराता जा रहा है. 19 जून को इजरायल ने ईरान के परमाणु ठिकानों पर हवाई हमला किया, जिसके जवाब में ईरान ने दक्षिणी इजरायल के सोरोका मेडिकल सेंटर को निशाना बनाया. ईरान के इस हमले को लेकर इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने ईरान को इसकी बड़ी कीमत चुकाने की चेतावनी दी है. 

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