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जेल में बैठा गैंगस्टर चला रहा था तस्करी का धंधा, घर में नोट गिनते-गिनते थक गई पुलिस! 22 घंटे लगे

रविवार की सुबह UP Police की टीम ने Gangster Rajesh Mishra के घर पर छापा मारा. घर के अंदर जो नजारा दिखा, उसे देखकर पुलिस के भी होश उड़ गए. वहां काले पन्नियों में लिपटे नोटों के बंडल, गत्तों में पैक गांजा और लोहे के ट्रंक में रखी हुई स्मैक मिली.

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गैंगस्टर राजेश मिश्रा के घर पर मिली नोटों की गड्डियां गिनती पुलिस. (Photo: ITG)

उत्तर प्रदेश पुलिस ने रविवार, 9 नवंबर को कुख्यात गैंगस्टर राजेश मिश्रा के घर में छापा मारा था. यहां से पुलिस को इतनी मात्रा में नकदी मिली कि उसे गिनते-गिनते पुलिसकर्मियों के हाथ थक गए. पुलिस 22 घंटे तक उसके घर पर नोट गिनती रही. वहीं बड़ी मात्रा में ड्रग्स और नशे के अन्य सामान भी बरामद किए गए, जिनकी कीमत करोड़ों में है. हैरानी की बात यह है कि राजेश अभी जेल में है. वहीं से तस्करी का नेटवर्क चला रहा था. जेल के बाहर उसका परिवार डिलीवरी और वसूली का कामकाज संभालता था.

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कौन है राजेश मिश्रा?

मालूम हो कि राजेश मिश्रा एक कुख्यात गैंगस्टर है, जो पहले शराब, फिर जमीन और अब नशे से जुड़ा अवैध कारोबार चला रहा है. आजतक की रिपोर्ट के मुताबिक यूपी पुलिस को जानकारी मिली थी कि राजेश प्रतापगढ़ के मानिकपुर थाना क्षेत्र के मुन्दीपुर गांव स्थित अपने घर से तस्करी का पूरा नेटवर्क चला रहा था. इसके बाद रविवार की सुबह करीब साढ़े आठ बजे पुलिस की टीम ने उसके घर पर दबिश दी. घर के अंदर जो नजारा दिखा, उसे देखकर पुलिस के भी होश उड़ गए.

घर पर रखी थीं कैश गिनने की मशीन

पुलिस को वहां काले पन्नियों में लिपटे नोटों के बंडल, गत्तों में पैक गांजा और लोहे के ट्रंक में रखी हुई स्मैक मिली. इसके अलावा घर में नोट गिनने की इलेक्ट्रॉनिक मशीन भी रखी हुई थी. इसी से अंदाजा लगाया जा सकता है कि कितने बड़े स्तर पर तस्करी का खेल चल रहा था. छापेमारी के समय घर पर राजेश की पत्नी रीना मिश्रा, बेटा विनायक, बेटी कोमल, रिश्तेदार यश और अजीत मिश्रा मौजूद थे. पुलिस ने घर पर रखे कैश और ड्रग्स को जब्त कर लिया. गिनती की गई तो कुल कैश 2 करोड़ 1 लाख 55 हजार 345 रुपये निकला. वहीं 6.075 किलो गांजा और 577 ग्राम हेरोइन भी बरामद हुई, जिसकी कीमत 3 करोड़ रुपये से अधिक आंकी गई. रिपोर्ट के मुताबिक पुलिस को नोटों की गिनती पूरी करने में 22 घंटे लग गए.

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पत्नी का पूरे गांव में खौफ था

जांच में यह भी पता चला कि रीना मिश्रा और विनायक मिश्रा ने राजेश को जेल से छुड़ाने के लिए फर्जी दस्तावेज भी कोर्ट में जमा करवाए थे. उन पर धोखाधड़ी, जालसाजी और गैंगस्टर एक्ट समेत कई धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है. पुलिस रिकॉर्ड के मुताबिक पहले भी परिवार की 3 करोड़ से अधिक की संपत्ति कुर्क की जा चुकी है. फिर भी गिरोह ने अपना तस्करी का काम जारी रखा. पुलिस ने बताया कि राजेश मिश्रा के जेल जाने के बाद उसकी पत्नी रीना मिश्रा ने ही पूरा सिंडिकेट संभाल रखा था. पूरे गांव में उसका खौफ था और कोई उसके घर की तरफ नजर उठाकर भी नहीं देखता था.

पुलिस के मुताबिक स्थानीय लोगों का कहना है कि मकान में अक्सर ट्रक आकर रुकते थे. फिर कुछ लोग आते-जाते दिखते थे. सब को पता था कि यहां क्या चल रहा है, लेकिन कोई कुछ नहीं बोलता था. पुलिस ने बताया कि रीना पूरे नेटवर्क का हिसाब-किताब संभालती थी. वही तय करती थी कि किस इलाके में कितना माल जाएगा और कितनी रकम वापस आएगी. जेल में बैठे राजेश से वह रोज बात करती और उसी के कहने पर डील फाइनल करती थी. वहीं उसके बच्चे भी गैंग का कामकाज संभालते थे. पुलिस का कहना है कि प्रतापगढ़, प्रयागराज और कौशांबी से लेकर बिहार, मध्य प्रदेश तक गिरोह के तार फैले हुए थे.

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पत्नी-बेटे समेत पांच लोग गिरफ्तार

पुलिस ने फिलहाल राजेश की पत्नी, बेटे और बेटी समेत दो रिश्तेदार, यश और अजीत को गिरफ्तार कर लिया है. पुलिस का कहना है कि वह नेटवर्क से जुड़े अन्य लोगों का पता लगा रही है और इसे जड़ से खत्म करने की कोशिश कर रही है. पुलिस का मानना है कि यह नेटवर्क नशे तक सीमित नहीं है. कई जगह पर जमीन खरीद के नाम पर और लॉजिस्टिक कंपनी के नाम पर अवैध रकम निवेश किए गए हैं. पुलिस अब बैंक खाते, प्रॉपर्टी रिकॉर्ड और डिजिटल ट्रांजैक्शन खंगाल रही है. साथ ही पुलिस ड्रग तस्करी से जुड़ी गैंग्स की फाइलें डिजिटल रूप से ट्रैक कर रही है.

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