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'जो मर्द थे वो जंग में गए, जो संघ में गए वो...', कांग्रेस विधायक ने शब्दों की मर्यादा लांघी

MP के कांग्रेस विधायक Sahab Singh Gurjar ने आज़ादी की लड़ाई में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) की भूमिका पर सवाल उठाए. लेकिन ये सवाल उठाते हुए उन्होंने थर्ड जेंडर के लिए आपत्तिजनक भाषा का इस्तेमाल कर दिया. उनके बयान पर BJP ने क्या कहा?

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मध्य प्रदेश से कांग्रेस के विधायक साहब सिंह गुर्जर के बयान पर विवाद हो रहा है. (फ़ोटो- सोशल मीडिया)

मध्य प्रदेश में कांग्रेस के विधायक साहब सिंह गुर्जर के एक बयान पर विवाद हो गया है. उन्होंने आज़ादी की लड़ाई में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) की भूमिका पर सवाल उठाए. लेकिन आरोप है कि ये सवाल उठाते हुए साहब सिंह गुर्जर ने थर्ड जेंडर के ख़िलाफ़ आपत्तिजनक कॉमेंट कर दिया. उन्होंने कहा, 'जो मर्द थे, वो जंग में आए. जो हिजड़े थे, वो संघ में गए.' उनके इस बयान पर भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने भी पलटवार किया है.

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दरअसल, कांग्रेस नेताओं ने मंगलवार, 8 जुलाई को मध्य प्रदेश के अशोकनगर में एक विरोध प्रदर्शन 'न्याय सत्याग्रह' आयोजित किया. ये विरोध प्रदर्शन मध्य प्रदेश कांग्रेस के प्रमुख जीतू पटवारी के ख़िलाफ़ दर्ज एक FIR के विरोध में आयोजित की गई थी. इस प्रदर्शन में ख़ुद जीतू पटवारी, पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह, विपक्ष के नेता उमंग सिंघार जैसे बड़े नेता पहुंचे थे.

द प्रिंट में छपी ख़बर के मुताबिक़, इसी विरोध प्रदर्शन को संबोधित करते हुए साहब सिंह गुर्जर ने ये कॉमेंट किया. वो ग्वालियर ग्रामीण विधानसभा सीट का प्रतिनिधित्व करते हैं. सोशल मीडिया पर उनके इस बयान का वीडियो वायरल हो गया. ऐसे में BJP ने उन पर पलटवार किया. मध्य प्रदेश सरकार में मंत्री विश्वास सारंग ने कहा,

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कांग्रेस विधायक का ये बयान थर्ड जेंडर और महिलाओं का अपमान है. BJP सभ्य समाज में इस तरह के बयान की कड़ी निंदा करती है... ये विरोध प्रदर्शन कांग्रेस में गुटबाजी का एक मजबूत उदाहरण पेश करता है. 

मंत्री विश्वास सारंग ने सवाल किया कि क्या विधायक ने पूर्व सीएम कमलनाथ और पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण यादव के लिए भी इसी तरह के शब्द का इस्तेमाल किया. क्योंकि वो कांग्रेस के 'न्याय सत्याग्रह' में शामिल नहीं हुए थे. उन्होंने अशोकनगर में आयोजित कांग्रेस के इस विरोध प्रदर्शन को ‘असफल’ करार दिया. विश्वास सारंग ने आरोप लगाया कि विपक्षी दल ने 'अभद्र' आंदोलन करने की कोशिश की.

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बताते चलें, जीतू पटवारी के ख़िलाफ़ जो मामला दर्ज किया गया है, उसमें उन पर ‘झूठे दावे करने के लिए एक व्यक्ति को मजबूर करने’ का आरोप लगाया गया है. तब ख़बर आई थी कि लोधी समुदाय के एक युवक पर हमला किया गया और उसे मल खाने के लिए मजबूर किया गया. इसी संबंध में ये मामला दर्ज किया गया था.

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