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पड़ताल: "राशिद अल्वी ने जय श्री राम कहने वालों को राक्षस कहा", अमित मालवीय के इस दावे का सच

राशिद अल्वी ने बयान दिया था, "आज भी बहुत लोग जय श्री राम का नारा लगाते हैं वो सब मुनि नहीं वो निशिचरघोरा हैं."

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बीजेता नेता अमित मालवीय का दावा है कि राशिद अल्वी ने जय श्री राम कहने वालों को राक्षस कहा है.
दावा बीजेपी IT विभाग के इंचार्ज अमित मालवीय ने 12 नवंबर, 2021 को एक ट्वीट किया. ट्वीट कांग्रेस नेता राशिद अल्वी के बारे में था. ट्वीट का कैप्शन है ( आर्काइव ), ट्वीट में कांग्रेस नेता राशिद अल्वी का 10 सेकेंड का एक वीडियो है. इस वीडियो में राशिद अल्वी कहते हैं,
"जय श्री राम का नारा लगाते हैं, वो सब मुनि नहीं, वो निशिचर हैं. होशियार रहने की जरूरत है"
दिल्ली बीजेपी की प्रवक्ता अनुजा कपूर ने राशिद अल्वी को राहुल गांधी का करीबी बताते हुए ट्वीट किया.  ( आर्काइव ) मेजर सुरेंद्र पूनिया ने भी राशिद अल्वी का वायरल वीडियो ट्वीट किया. ( आर्काइव ) पत्रकार दीपक चौरसिया ने वायरल वीडियो लगाए बिना ट्वीट किया (आर्काइव)- इन सबके अलावा कई और बीजेपी नेताओं ने इसी दावे के साथ राशिद अल्वी का वायरल वीडियो ट्वीट किया. पड़ताल 'दी लल्लनटॉप' ने वायरल दावे की पड़ताल की. दरअसल, कांग्रेस नेता राशिद अल्वी के पूरे भाषण का एक हिस्सा निकालकर 10 सेकेंड की क्लिप वायरल की जा रही है. अल्वी ने अपने भाषण में भारतीय जनता पार्टी पर निशाना साधा था. वायरल वीडियो की सच्चाई जानने के लिए हमने इंटरनेट पर कीवर्ड्स की मदद से खोजा. हमें द न्यू इंडियन एक्सप्रेस की 12 नवंबर, 2021 को प्रकाशित एक रिपोर्ट मिली. रिपोर्ट में बताया गया था कि राशिद अल्वी ने संभल के कल्कि महोत्सव 2021 में 11 नवंबर, 2021 को वायरल बयान दिया था. Kalki Mahotsav 2021 कीवर्ड्स सर्च करने पर हमें एक यूट्यूब वीडियो मिला. Acharya Pramod Krishnam नाम के यूट्यूब चैनल अपलोड किए गए इस वीडियो में राशिद अल्वी का पूरा बयान था. वीडियो में 8 मिनट 50 सेकेंड के बाद राशिद अल्वी रामायण का एक प्रसंग सुनाते हैं. यहीं पर वो 'निशाचर' वाली बात कहते हैं.
रामायण प्रसंग में राशिद अल्वी एक मगरमच्छ और हिंदू देवता हनुमान के बीच हुए संवाद का जिक्र करते हुए कहते हैं,
एक मगरमच्छ पांव पकड़ लेता है हनुमान जी का. उसे किसी ने श्राप दिया था, वो एक अप्सरा थी. वो अप्सरा बन जाती है और हनुमान जी से कहती है, 'हनुमान क्यों वक्त खराब कर रहे हो. तुम्हें तो सूरज निकलने से पहले जाना है, संजीवनी बूटी लेकर. और ये जो सामने बैठा है, जय श्री राम कह रहा है, मुनि नहीं ये निशिचरघोरा. ये मुनि नहीं है ये तो घोर राक्षस है.'
इसके बाद राशिद अल्वी अपनी स्पीच को समाप्त करते हुए कहते हैं,
"मैं आपसे बस इतनी बात कहके आपसे विदा लूंगा कि आज भी बहुत लोग जय श्री राम का नारा लगाते हैं वो सब मुनि नहीं वो निशिचरघोरा हैं. होशियार रहने की जरूरत है और देश के अंदर हमें ऐसा माहौल पैदा करना है जो रामराज्य के अंदर आया है. आपका बहुत-बहुत धन्यवाद."
वीडियो की शुरुआत में अल्वी ने रामराज्य शब्द की व्यख्या भी की थी. कहा,
मैं भी चाहता हूं कि भारत में रामराज्य आना चाहिए. लेकिन रामराज्य कैसा होगा? रामराज्य में नफ़रत की कोई जगह नहीं होगी. लेकिन आजकल कुछ लोग देश के लोगों के जय श्री राम का नारा लगाकर गुमराह भी करते हैं."
पूरा बयान सुनिए-
बयान वायरल होने के बाद कांग्रेस नेता राशिद अल्वी ने स्पष्टीकरण दिया,
"कल्कि धाम में मेरा भाषण है, वहां सैकड़ों संत बैठे हुए थे. उन्होंने मुझे आशीर्वाद दिया मेरे भाषण के बाद और मैंने हरग़िज ये नहीं कहा कि जय श्री राम बोलने वाला हर आदमी राक्षस होता है . मैंने कहा है जय श्री राम बोलने वाला हर आदमी मुनि नहीं होता है. श्रीराम एक आस्था का नाम है उनके नाम पर राजनीति नहीं की जा सकती है. मैंने ये भी कहा है कि देश के अंदर सही मायनों में भी रामराज्य आना चाहिए जहां पर नफ़रत का नामो-निशान नहीं होना चाहिए."
नतीजा BJP IT विभाग के इंचार्ज अमित मालवीय समेत कई BJP नेताओं ने राशिद अल्वी का अधूरा वीडियो पोस्ट कर भ्रामक दावा किया है. कांग्रेस नेता राशिद अल्वी ने अपनी  स्पीच में नफ़रत की राजनीति के खिलाफ बोला था और निशाचर शब्द का इस्तेमाल रामायण के एक प्रसंग के संदर्भ में किया था.
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