The Lallantop
Advertisement
  • Home
  • News
  • MIG21 fighter aircraft fleet grounded till investigations into the last crash

MiG-21 पर बैन लगा, अभिनंदन ने इसी फाइटर प्लेन से पाकिस्तान के F-16 मार गिराया था

लगातार क्रैश होने की घटनाओं के बाद वायुसेना का फैसला.

Advertisement
 MIG-21 fighter aircraft grounded
8 मई को राजस्थान में क्रैश होने पर तीन लोगों की जान गई थी (फाइल फोटो- पीटीआई)
pic
साकेत आनंद
20 मई 2023 (Updated: 20 मई 2023, 08:03 PM IST)
font-size
Small
Medium
Large
font-size
Small
Medium
Large
whatsapp share

भारतीय वायुसेना ने फाइटर एयरक्राफ्ट मिग-21 के उड़ान पर रोक लगा दी है. वायुसेना ने यह बड़ा फैसला विमान के लगातार क्रैश होने की घटनाओं के बाद लिया है. हाल में राजस्थान के हनुमानगढ़ में मिग-21 क्रैश हुआ था. इसमें तीन लोगों की मौत हुई थी. इंडिया टुडे ने सरकार के सूत्रों के हवाले से बताया है कि जब तक इस मामले की जांच पूरी नहीं होती तब तक मिग-21 की पूरी फ्लीट पर बैन रहेगा.

बीती 8 मई को हनुमानगढ़ में मिग-21 क्रैश हुआ था. विमान उड़ा रहे पायलट ने खुद को समय रहते इजेक्ट कर लिया था. वायुसेना ने कहा था कि रूटीन ट्रेनिंग के दौरान यह हादसा हुआ था. इसकी जांच के लिए जांच कमिटी बनाई गई थी. इंडिया टुडे ने सूत्रों के हवाले से बताया कि अभी इस मामले की जांच जारी है. जब तक घटना के कारणों का पता नहीं लगता तब तक एयरक्राफ्ट पर बैन लगा रहेगा.

वायुसेना के पास फिलहाल मिग-21 के तीन स्क्वॉड्रन हैं, जिनमें करीब 50 विमान हैं. हादसों के कारण वायुसेना लगातार कई स्क्वॉड्रन को बाहर कर चुकी है. पिछले साल वायुसेना ने कहा था कि तीन साल में बाकी स्क्वॉड्रन को भी रिटायर कर दिया जाएगा. मिग-21 एक सुपरसोनिक जेट फाइटर और इंटरसेप्टर एयरक्राफ्ट है. सुपरसोनिक जेट वो होता है जिसकी स्पीड साउंड (ध्वनि) से ज्यादा होती है. और इंटरसेप्टर एयरक्राफ्ट वो होता है जो अटैकर को बीच में रोके, यानी खतरे को इंटरसेप्ट कर टारगेट तक पहुंचने से रोकता है.

भारतीय वायुसेना का ‘उड़ता ताबूत’ 

मिग-21 एयरक्राफ्ट का रिकॉर्ड सुरक्षा के मामले में बेहतर नहीं रहा है. सोवियत संघ (मौजूदा रूस) से सौदे के बाद साल 1963 में पहली बार वायुसेना में सिंगल इंजन मिग-21 विमान को शामिल किया गया था. बाद में विमान के कई और वेरिएंट शामिल किए गए. लेकिन करीब 60 सालों में 400 से ज्यादा मिग-21 विमान हादसों का शिकार हुए हैं. इंडियन एक्सप्रेस की मई 2021 की एक रिपोर्ट के मुताबिक, आधिकारिक डेटा बताती है कि मिग-21 विमान हादसों में 170 से ज्यादा पायलट की जानें गई हैं. इसके अलावा हादसों में 60 से ज्यादा लोगों की भी जानें गई हैं.

सोवियत संघ की वायुसेना ने इस फाइटर जेट को 1985 में ही सर्विस से हटा दिया था. लेकिन भारत अब तक इसका इस्तेमाल कर रहा है. साल 2006 में इसे अपग्रेड किया गया और बेहतर फीचर्स इसमें जोड़े गए. जैसे, बेहतर इलेक्ट्रॉनिक उपकरण, शक्तिशाली रडार, युद्ध सामग्री की एक विस्तृत श्रृंखला को ट्रांसपोर्ट करने की क्षमता. मिग-21 के इस अपग्रेडेड वर्जन को नाम दिया गया, मिग-21 बाइसन.

मिग-21 (फोटो- पीटीआई)

हर हादसे के बाद मिग-21 की चर्चा होती है कि इसे जल्द रिटायर किया जाना चाहिए. चार साल पहले इस एयरक्राफ्ट की खूब चर्चा हुई थी. जब विमान का संचालन कर रहे एयरफोर्स के तत्कालीन विंग कमांडर अभिनंदन वर्धमान ने पाकिस्तान के लड़ाकू विमान एफ-16 को मार गिराया था. ये कार्रवाई भारत द्वारा बालाकोट हवाई हमले के एक दिन बाद हुई थी.

पिछले साल सितंबर में अभिनंदन के मिग-21 स्क्वॉड्रन नंबर 51 को रिटायर किया गया था. ये स्क्वॉड्रन श्रीनगर एयरफोर्स स्टेशन पर तैनात था. यहीं से विमान अपनी ड्यूटी के लिए उड़ान भरते थे और यहीं पर इस दस्ते की ट्रेनिंग, विमानों का मेंटेनेंस वगैरह होता था. इनका इस्तेमाल मुख्यतः कॉम्बैट एयर पैट्रोलिंग के लिए होता था.

मिग-21 भारतीय वायुसेना का सबसे लम्बी सेवा देने वाला फाइटर एयरक्राफ्ट है. करीब 60 साल हो गए हैं. वायुसेना के बेड़े में अब रफाल जैसे अत्याधुनिक फाइटर प्लेन हैं. इसलिए भारत इस 'आउटडेटेड' एयरक्राफ्ट को रिटायर करने जा रहा है.

वीडियो: रखवाले: HAL के बनाए ALH ध्रुव के डिज़ाइन में ये दिक्कत, इसलिए लगातार क्रैश हो रहे हैं?

Advertisement