चीन का नाम लेते ही जहन में ड्रैगन आग उगलता दिखता है. लेकिन एक और जानवर इस कम्युनिस्ट देश की पहचान है- पांडा. चीन ‘पांडा डिप्लोमेसी’ के तहत दुनियाभर में पांडा को एक्सपोर्ट करता रहा है. तो जाहिर है यहां के चिड़ियाघरों में तो पांडा मिलते ही हैं. लेकिन एक चिड़ियाघर के पास एक भी पांडा नहीं था. तो उन्होंने खुद ही पांडा बना लिया.
चिड़ियाघर में पांडा नहीं थे, मेकअप करके कुत्तों को बना डाला पांडा, लोगों को पता चला तो...
चिड़ियाघर वालों ने कुत्तों को पकड़ा और उनका ऐसा मेकअप किया कि देखने वाला कुछ वक्त के लिए उन्हें ही पांडा समझ बैठे. इसके लिए उनके बाल ट्रिम किए गए और चेहरे को बालों में लगने वाली डाई से रंग दिया.


बोले तो?
बोले तो चिड़ियाघर वालों ने कुत्तों को पकड़ा और उनका ऐसा मेकअप किया कि देखने वाला कुछ वक्त के लिए उन्हें ही पांडा समझ बैठे. इसके लिए उनके बाल ट्रिम किए गए और चेहरे को बालों में लगने वाली डाई से रंग दिया.
मामला चीन के जियांग्सु प्रांत में बने ताइजो जू का है. यहां बीती 1 मई को इन फर्जी पांडा को लोगों के सामने पेश किया गया था. लेकिन पांडा, पांडा है और कुत्ता, कुत्ता. मेकअप करने से रंग बदल सकता है, ढंग नहीं. लोग जल्दी ही समझ गए कि असल में ‘चाओ चाओ’ नाम की ब्रीड के कुत्तों को बैंबू ईटिंग पांडा बना कर दिखाया गया है.
पोल खुली तो जू के एक प्रवक्ता ने बड़ी मासूमियत से सफाई दी कि अगर हमारे पास पांडा नहीं हैं तो क्या करें, चिड़ियाघर देखने आ रहे लोगों के लिए कुछ तो करना ही था, तो कुत्तों को पांडा बना दिया. न्यूयॉर्क पोस्ट की रिपोर्ट के मुताबिक पांडा रूपी कुत्तों की तस्वीर वायरल हुई तो लोगों ने जू प्रशासन की इस हरकत पर सख्त नाराजगी जताई और इसे जानवरों के साथ क्रूरता बताया. इस पर Zoo के पदाधिकारियों का कहना था कि ये क्रूरता कैसे हो सकती है, हम इंसान भी तो डाई करते हैं. हम खुद के लिए क्रूर नहीं तो उनके लिए कैसे हो सकते हैं.
वहीं कुछ लोगों का कहना था कि कुत्तों को पांडा बनाने के बाद वो प्यारे ही लग रहे थे. कुछ लोगों की राय तो सबसे अलग थी, उन्होंने कहा ये एक अनोखा तरीका है आज के समय में अपने कुत्तों का ख्याल रखने का. बोले कि जब हम ऑफिस में होते हैं तो इस तरीके से उनका कुत्ता सुरक्षित रह सकता है.
यह स्टोरी हमारे साथ इंटर्नशिप कर रहे रोहित ने लिखी है.
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