अमेरिका के बिहेवरल साइंटिस्ट जॉन बी. कालहौन ने चूहों के कुल 4 जोड़े चुने. उन्हें सुख-सुविधाओं से लैस एक जगह पर लम्बे समय तक रखा. नतीजतन उनकी तादाद हज़ारों में पहुंच गई. उनके सोशल से लेकर सेक्शुअल ओरिएंटेशन तक सब बदल गए. ऐसा विनाश शुरु हुआ कि चूहों ने अपने ही बच्चे खा डाले. आखिर इस परीक्षण में ऐसा क्या पता चला, जो इंसानों के लिए सबक बन गया. और ह्यूमन सोशियोलॉजी को मिली एक नई दिशा. क्या कहानी है चूहों पर हुए इस एक्सपीरिमेंट की, जिसे कहा गया ‘यूनिवर्स 25’ या ‘बिहेवरल सिंक’. जानने के लिए देखें तारीख का ये एपिसोड.
तारीख: कहानी 'यूनिवर्स 25' की जब चूहे अपने ही बच्चों को खाने लगे
सेकेंड वर्ल्ड वॉर के दौरान जॉन मेरीलैंड के बाल्टिमोर शहर में जोह्न्स हॉपकिंस यूनिवर्सिटी से जुड़े। यहीं वो ‘रोडेंट इकोलॉजी प्रोजेक्ट’ का हिस्सा बने.
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