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वाराणसी में पूर्व ओलंपियन मोहम्मद शाहिद के घर चला बुलडोजर, सड़क चौड़ीकरण के लिए कार्रवाई

Olympian Mohammad Shahid House Demolition: 29 सितंबर को पुलिसबल के साथ प्रशासन के अधिकारी मौके पर पहुंचे और तोड़फोड़ शुरू की. मोहम्मद शाहिद के परिवारवालों ने प्रशासन पर कई आरोप लगाए. वहीं SDM ने पूरे मामले में सफाई दी है. उन्होंने साफ किया कि कितने मकान हटाए गए और क्यों.

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सड़क चौड़ा किए जाने के दौरान हुई झड़प. (फोटो- आजतक)

वाराणसी में पूर्व ओलंपियन और पद्मश्री हॉकी खिलाड़ी स्वर्गीय मोहम्मद शाहिद (Mohammad Shahid) के घर के कुछ हिस्से पर गलत तरीके से बुलडोजर चलाने का आरोप लगा है. बुलडोजर एक्शन के दौरान मौके पर शाहिद के परिवारवालों और अधिकारियों के बीच बहस भी हुई. बावजूद इसके प्रशासन ने अपनी कार्रवाई जारी रखी. प्रशासन का कहना है कि यह कार्रवाई पुलिसलाइन से कचहरी के बीच सड़क चौड़ी किए जाने की प्रक्रिया के तहत की गई. कई लोगों को मुआवजा दिया जा चुका है. लेकिन कुछ लोग फिर भी जगह खाली करने को तैयार नहीं हैं.

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क्यों तोड़ा गया घर?

आजतक से जुड़े रोशन कुमार के इनपुट के मुताबिक, राज्य के लोक निर्माण विभाग (PWD) द्वारा पुलिसलाइन से कचहरी तक सड़क चौड़ीकरण का काम किया जा रहा है. पुलिस लाइन चौराहे से कचहरी के बीच में कुल 59 मकान थे. इन्हें तीन चरणों में बांटकर तोड़ा जाना था. इनमें से एक चरण में 13 मकान गिराए जाने थे. इनमें से एक घर पूर्व ओलिंपियन मोहम्मद शाहिद का भी था.

सोमवार 29 सितंबर को पुलिसबल के साथ प्रशासन के अधिकारी मौके पर पहुंचे और तोड़फोड़ शुरू की. इसी बीच शाहिद के परिजनों ने अधिकारियों को रोकने की काफी कोशिश की. इस दौरान उनकी अधिकारियों से भिड़ंत भी हुई. बावजूद इसके अधिकारियों ने उनकी एक न सुनी और उनके मकान के कुछ हिस्से को प्लान के तहत हटा दिया.

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पूर्व ओलंपियन के परिवार का आरोप

मोहम्मद शाहिद की भाभी नाजनीन ने बताया कि उन्होंने अब तक प्रशासन की ओर से दिए जाने वाला मुआवजा नहीं लिया है. उनके पास कोई दूसरा मकान नहीं है. ऐसे में वे कहां जाएंगे, इसलिए वह मकान नहीं छोड़ पा रहे हैं. वहीं, शाहिद के मामा के लड़के मुश्ताक ने बताया कि उनके घर में लड़की की शादी है. शादी का कार्यक्रम 10 अक्टूबर से 17 अक्टूबर तक चलेगा. उनके पास इसके अलावा कोई जमीन नहीं है. प्रशासन की कार्रवाई से हम सड़क पर आ जाएंगे.

उनका आरोप है कि चौड़ीकरण के तहत 21 मीटर जमीन ली गई है. लेकिन यहां पर 25 मीटर सड़क को चौड़ा किया जा रहा है. साथ ही आरोप लगाया कि मुस्लिम आबादी वाले क्षेत्र के लोगों को परेशान किया जा रहा है. उन्होंने इसके लिए योगी आदित्यनाथ सरकार के मंत्री रविंद्र जायसवाल को जिम्मेदार ठहराया.

प्रशासन ने क्या बताया?

मोहम्मद शाहिद के परिवार से जुड़े घर के बारे में SDM सिटी आलोक वर्मा ने बताया, 

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“उनके मकान में कुल 9 हिस्से हैं. इनमें से 6 लोगों को मुआवजा दिया जा चुका है. 3 लोगों के पास पास स्टे है. इनके हिस्से को छोड़ दिया गया है. अन्य 6 लोगों के हिस्से को तोड़ा गया है. आज की कार्रवाई में कुल 13 मकान को तोड़ा गया है. मोहम्मद शाहिद के घरवालों ने शादी की बात कहकर कुछ समय मांगा था. प्रशासन समय देने के लिए तैयार था. उनसे इससे जुड़े कुछ डॉक्यूमेंट्स मांगे गए थे. लेकिन उन्होंने ये मुहैया नहीं कराए.”

SDM वर्मा ने बताया कि सड़क चौड़ीकरण में जिन-जिन लोगों को मुआवजा दिया जा चुका है और वे घर नहीं छोड़ रहे हैं, उन्हें हटाने के लिए एक्शन लिया जा रहा है. किसी भी घर को गलत तरीके से नहीं तोड़ा जा रहा है.

जानकारी के मुताबिक, PWD ने अब तक 71 लोगों को 3.52 करोड़ रुपये का मुआवजा दिया है. कई लोग प्रशासन का सहयोग कर रहे हैं, जबकि कुछ लोग मुआवजा लेने और नोटिस मिलने के बावजूद मकान नहीं छोड़ रहे. 

वीडियो: बुलडोजर एक्शन पर बीजेपी विधायक प्रकाश द्विवेदी ने SDM को फटकार लगा दी

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