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BJP की 'तिरंगा यात्रा' के जवाब में कांग्रेस लाई 'जय हिंद यात्रा', टारगेट- पीएम मोदी

कांग्रेस भाजपा पर ऑपरेशन सिंदूर के राजनीतिकरण का आरोप लगा रही है. उसने भाजपा की तिरंगा यात्रा के जवाब में जय हिंद सभा करने का एलान किया है. जयराम रमेश ने बताया कि इसमें कांग्रेस के तमाम वरिष्ठ नेता शामिल होंगे.

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कांग्रेस देश भर में जय हिंद यात्रा निकालेगी (India Today)

ऑपरेशन सिंदूर के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच सैन्य संघर्ष फिलहाल खत्म हो चुका है. अब इस पर देश में सियासत तेज हो गई है. ऑपरेशन सिंदूर की सफलता पर भाजपा ने देश भर में ‘तिरंगा यात्रा’ निकालने का एलान किया तो इसके जवाब में कांग्रेस अपनी ‘जय हिंद यात्रा’ लेकर आई है. 14 मई को कांग्रेस ने घोषणा की है कि वह भाजपा का मुकाबला करने के लिए देश भर में ‘जय हिंद’ रैलियां निकालेगी और सीजफायर को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से सीधे सवाल करेगी.

इस पर विस्तार से जानकारी देते हुए बुधवार को कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने कहा,

हमने तय किया है कि 10-15 शहरों में जय हिंद रैलियां होंगी. इसकी जानकारी कल या परसों में आपको मिल जाएगी. कांग्रेस से वरिष्ठ नेता उसमें शामिल होंगे. हम प्रधानमंत्री से सीधे सवाल करेंगे. जनता की ओर से जो सवाल होंगे, हम उन्हें उठाएंगे.

कांग्रेस ने भाजपा पर आरोप लगाते हुए कहा,

भाजपा ऑपरेशन सिंदूर के मुद्दे का राजनीतिकरण कर रही है. यह किसी एक पार्टी की जागीर नहीं है. यह देश का ब्रांड है. यह किसी एक ऐसे व्यक्ति का ब्रांड नहीं है, जिसकी वैधता समाप्त हो गई है.

जयराम रमेश ने कहा, “अमेरिका की ओर से जो बयान सामने आ रहे हैं, पीएम मोदी उन पर चुप क्यों हैं? अंतरराष्ट्रीय मीडिया में सिर्फ कश्मीर-कश्मीर चल रहा है. आतंकवाद का कोई जिक्र भी नहीं कर रहा है. अमेरिका या उसके राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप ने भी आतंकवाद का जिक्र नहीं किया.” कांग्रेस नेता ने कहा कि कश्मीर के बारे में चर्चा सिर्फ भारतीय संसद कर सकती है, ये बात साफ होनी चाहिए. उन्होंने स्पष्ट किया कि ‘जय हिंद’ सभाओं में वह प्रधानमंत्री को कहेंगे कि इन सवालों के जवाब दीजिए. इस सरकार में तो एक व्यक्ति ही फैसला लेता है.

सीजफायर पर दावे

बता दें कि आतंकवाद के खिलाफ ऑपरेशन सिंदूर में भारत ने पाकिस्तान में आतंकी ठिकाने तबाह किए थे. इसके बाद पाकिस्तान ने भारत पर सैन्य कार्रवाई की थी, जिसका भारतीय सेना ने मुंहतोड़ जवाब दिया था. पाकिस्तान के आग्रह के बाद 10 मई की शाम को दोनों देश सीजफायर पर सहमत हुए. अमेरिका ने दावा किया कि उसने भारतीय और पाकिस्तानी अधिकारियों के बीच लगातार मध्यस्थता की. सीजफायर उसी का नतीजा है. हालांकि, भारतीय सेना ने इन दावों को खारिज कर दिया था.

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