The Lallantop
Advertisement
  • Home
  • Sports
  • Watch repeat telecast of Indian cricket team's memorable matches between 2000 to 2005

दूरदर्शन 2000 से 2005 के बीच के वो मैच दिखा रहा है, जिन्होंने बहुत से बच्चों को बड़ा वाला फैन बना दिया!

ईडन गार्डेन्स का मैच भी आने वाला है, तैयार हो जाइये.

Advertisement
Img The Lallantop
ईडन गार्डन्स में ऐतिहासिक पारी के बाद राहुल द्रविड़ और वीवीएस लक्ष्मण. फोटो: Getty Images
pic
विपिन
9 अप्रैल 2020 (Updated: 9 अप्रैल 2020, 04:21 PM IST) कॉमेंट्स
font-size
Small
Medium
Large
font-size
Small
Medium
Large
whatsapp share
कोरोना वायरस संक्रमण और लॉकडाउन की वजह से पूरी दुनिया ठहर सी गई है. लोग पुरानी चीज़ों को याद कर लॉकडाउन को काटने की कोशिश में लगे है. इंडिया में लॉकडाउन के दौरान दूरदर्शन पर फिर से रामायण, महाभारत जैसे कार्यक्रम दिखाए जा रहे हैं. वहीं अब दूरदर्शन स्पोर्ट्स और BCCI मिलकर इंडियन क्रिकेट लवर्स के लिए भी एक खास पेशकश कर रहे हैं.
दरअसल, 7 अप्रैल से ही डीडी स्पोर्ट्स चैनल हर रोज़ टीम इंडिया के 2000 से 2005 के बीच के कुछ यादगार मैचों की हाइलाइट्स दिखा रहा है. यह फैसला भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) ने भारत सरकार के साथ मिलकर लिया है. 7 अप्रैल से 14 अप्रैल के बीच डीडी स्पोर्ट्स पर कुल 20 मैच दिखाएं जाएंगे. हम यहां उन तीन मैचों पर बात करेंगे जो आपको नॉस्टैल्जिया से भर देंगे. # इन तीन मैचों में पहला मैच है ईडन गार्डेन्स में 2001 में खेला गया इंडिया-ऑस्ट्रेलिया टेस्ट. ये मैच 13 अप्रैल को सुबह 10 बजे से शाम के 5 बजे तक दिखाया जाएगा. # दूसरा मैच है इंडिया और वेस्टइंडीज़ के बीच 2002 में खेला गया पहला वनडे. ये मैच 12 अप्रैल को सुबह 10 से 12 बजे के बीच दिखाया जाएगा. # तीसरा मैच जो हमने चुना है, वो है 2001 में इंडिया और ऑस्ट्रेलिया के बीच खेला गया ऐतिहासिक वनडे मैच. ये मैच 11 अप्रैल को 4 से 6 बजे के बीच दिखाया जाएगा.
आइये आपको बताते हैं कि आखिर इनमें क्या खास है:
1. INDvsAUS ईडन गार्डेन्स, कोलकाता टेस्ट:
क्रिकेट इतिहास के सर्वश्रेष्ठ मैचों में से एक ईडन गार्डेन्स मैच. ऑस्ट्रेलियाई टीम भारत आई थी. स्टीव वॉ की टीम मुंबई टेस्ट जीत चुकी थी, सीरीज़ में 1-0 से आगे थी. इंडियन कैप्टन सौरव गांगुली घर यानी कोलकाता में जीत हर हाल में ज़रूरी थी. ऑस्ट्रेलिया ने मैच में टॉस जीता और पहले बैटिंग चुन ली.
कप्तान वॉ की पारी की मदद से ऑस्ट्रेलिया ने 445 रन बना दिए. कुंबले वो मैच नहीं खेल रहे थे और जवागल श्रीनाथ के चोटिल होकर बाहर हो चुके थे. ऐसे में बोलिंग का सारा दबाव युवा हरभजन सिंह पर था. भज्जी ने पहली इनिंग में हैट्रिक भी ले ली थी.
लेकिन गेंदबाज़ों के बाद भारतीय बल्लेबाज़ फ्लॉप रहे और टीम सिर्फ 171 रन बनाकर ऑल-आउट हो गई. टीम इंडिया को फॉलो-ऑन मिला और सभी जानकार ये मान बैठे थे कि अब भारतीय टीम मैच ही नहीं सीरीज़ भी गंवा बैठेगी. टीम इंडिया दोबारा खेलने उतरी और फिर ऑस्ट्रेलिया ही नहीं पूरी दुनिया ने भारतीय बल्लेबाज़ी का वो रूप देखा जो आज भी याद किया जाता है. वीवीएस लक्ष्मण और राहुल द्रविड़ ने 376 रनों की ऐतिहासिक साझेदारी करके पूरे दिन बल्लेबाज़ी की. लक्ष्मण के 281 और द्रविड़ के 180 रनों की मदद से इंडिया ने 657 रन बनाए और ऑस्ट्रेलिया के सामने आखिरी दिन 384 रनों का लक्ष्य रखा.
Laxman Dravid
ईडन गार्डेन्स में पारी का इंतज़ार करते द्रविड़-सचिन.

ऑस्ट्रेलियाई टीम आराम से आखिरी दिन के पहले दोनों सेशन खेलकर 166 रन बनाकर चुकी थी. तीन विकेट ही गिरे थे. लेकिन आखिरी सेशन में भज्जी की गेंदों के आगे ऑस्ट्रेलिया ने 56 रनों के अंदर ही सात विकेट गंवा दिए और टीम इंडिया मैच जीत गई. इंडिया ने ऑस्ट्रेलिया का लगातार 16 मैचों में जीत का सिलसिला खत्म किया. साथ ही टेस्ट क्रिकेट इतिहास में तीसरी ऐसी टीम बनी जिसने फॉलोऑन के बाद मैच जीता.
2. INDvsWI पहला वनडे 2002: साल 2002 था. वेस्टइंडीज़ की टीम भारत आई हुई थी. गांगुली की टीम के 2-0 से टेस्ट सीरीज़ जीतने के बाद सात मैचों की वनडे सीरीज़ होनी थी. तब तक टी20 नहीं आया था तो बड़ी-बड़ी वनडे सीरीज़ खेली जाती थीं. वनडे सीरीज़ का पहला मैच जमशेदपुर के कीनान स्टेडियम में खेला गया. सौरव गांगुली ने कार्ल हूपर की टीम के खिलाफ टॉस जीतकर पहले बैटिंग चुनी.
ओपनिंग करने खुद दादा, वीरू के साथ उतरे. नौवें ओवर में 43 के स्कोर पर पहला विकेट गिर गया. वीरेंद्र सहवाग आउट हो गए. लेकिन यहां पर कप्तान ने एक ऐसी रणनीति बनाई थी जो उस वक्त किसी को समझ में नहीं आई. यानि टीम इंडिया के तेज़ गेंदबाज़ अजीत अगरकर वन-डाउन तीसरे नंबर पर खेलने गए.
Ajit
अजीत अगरकर की फाइल फोटो.

ऐसा नहीं है कि अगरकर बल्लेबाज़ी नहीं कर सकते थे. इससे पहले वो इंडिया के लिए वनडे में फास्टेस्ट हाफ सेंचुरी लगा चुके थे. बॉल को मारकर पार भेजने में उन्हें बड़ा मज़ा आता था. लेकिन कभी भी उन्हें इतना ऊपर नहीं भेजा गया था. उस दिन अगरकर नंबर तीन पर आए और अपने 10 साल के वनडे इतिहास की सबसे बड़ी पारी खेल गए.
उस मैच में अगरकर ने 102 गेंदों पर 95 रन बनाए. जिसकी मदद से टीम इंडिया ने 50 ओवरों में 283 रन खड़े कर दिए.
जवाब में वेस्टइंडीज़ की टीम खेलने उतरी. उन्होंने हिन्ड्स, सैमुएल्स और रामनरेश सरवन की मदद से इस स्कोर को आखिरी गेंद पर हासिल कर लिया. लेकिन फिर भी उस मैच के लिए अगरकर को जमकर तारीफें मिलीं. उन्होंने बल्ले से ही नहीं गेंद से भी ठीकठाक प्रदर्शन किया था. अगरकर ने उस मैच में नौ ओवरों में 42 रन देकर एक विकेट अपने नाम किया था.
3. INDvsAUS तीसरे वनडे 2001: साल 2001 में टेस्ट सीरीज़ में शानदार जीत के बाद इंडिया-ऑस्ट्रेलिया के बीच वनडे सीरीज़ खेली गई. टीम इंडिया सीरीज़ तो हार गई लेकिन इस सीरीज़ का तीसरा मैच इंडिया ने जीता भी और वो क्रिकेट इतिहास का बड़ा मैच भी बन गया. इस मैच में सचिन तेंडुलकर ने शानदार 139 रनों की पारी खेली. साथ ही वो वनडे क्रिकेट के इतिहास में 10,000 वनडे रन पूरे करने वाले पहले बल्लेबाज़ भी बन गए.
इंदौर में खेले गए इस मुकाबले में इंडिया ने पहले बल्लेबाज़ी की. राहुल द्रविड़ 15 रन बनाकर आउट हो गए. उनके बाद सचिन और लक्ष्मण ने टीम को बड़े स्कोर की तरफ पहुंचा दिया. दोनों ने 199 रनों की ऐतिहासिक पार्टनरशिप की और टीम इंडिया ने 50 ओवरों में 299 रन बनाए.
Sachin Sourav
सचिन तेंडुलकर की फाइल फोटो: Getty Images

जवाब में ऑस्ट्रेलिया की टीम हरभजन सिंह और अजीत अगरकर की गेंदबाज़ी के आगे ढेर हो गई. दोनों ने तीन-तीन विकेट लिए और ऑस्ट्रेलियाई टीम 181 रन बनाकर ऑल-आउट हो गई.
लेकिन इस मैच को सचिन तेंडुलकर के 10,000 रनों के लिए ही याद किया जाता है.


सचिन तेंडुलकर ने सुनाया अपने ओपनर बनने का मज़ेदार किस्सा 

Advertisement