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गलवान में जहां चीन से भिड़े थे भारतीय जवान, वहां की तैयारियां देख दुश्मन अब हिम्मत नहीं करेगा!

ठीक तीन साल पहले आज ही के दिन पूर्वी लद्दाख की गलवान घाटी में भारत और चीन के सैनिक भिड़े थे. इस खूनी भिड़ंत में 20 भारतीय जवान शहीद हुए थे.

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गलवान में हुए खूनी संघर्ष को तीन साल हो गए. (फोटो- AFP/भारतीय सेना)
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ज्योति जोशी
15 जून 2023 (Updated: 15 जून 2023, 03:11 PM IST) कॉमेंट्स
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ठीक तीन साल पहले आज ही के दिन पूर्वी लद्दाख की गलवान घाटी (Galwan Valley) में भारत और चीन के सैनिक भिड़े थे. इस खूनी भिड़ंत में 20 भारतीय जवान शहीद हुए थे. इसके बाद से लगातार दोनों देशों के बीच विवाद को सुलझाने के लिए बैठकें हो रही हैं. इन तीन सालों के अंदर इलाके में सैन्य मजबूती के लिए कई जरूरी कदम उठाए गए हैं. सैन्य ताकत के इजाफे के साथ इंफ्रास्ट्रक्चर पर भी काम हुआ है.

इंडियन एक्सप्रेस से जुड़ीं अमृता नायक दत्ता की रिपोर्ट के मुताबिक, घटना के बाद से लेह में 50 हजार अतिरिक्त सैनिकों की तैनाती की गई है. इस तरह वहां सैनिकों की संख्या लेह की आबादी से भी ज्यादा हो गई है. बता दें, झड़प से पहले लेह में 15 हजार सैनिकों के साथ XIV कोर की दो डिवीजन तैनात थीं. अब कुछ अन्य डिवीजन के साथ साथ जम्मू-कश्मीर से राष्ट्रीय राइफल्स फोर्स को भी वहां शिफ्ट किया गया.

ये भी पढ़ें- LAC पर वो इलाके कौन-कौन से हैं, जहां चीन बार-बार घुसपैठ की कोशिश करता है?

पिछले तीन सालों में पूर्वी लद्दाख में इंटेलिजेंस और निगरानी मजबूत करने के लिए ढेर सारे आधुनिक उपकरणों की तैनाती की गई है. पहले पहाड़ी इलाकों में सेना की मैकेनाइज्ड और आर्मर्ड रेजिमेंट्स की तैनाती कम होती थी. पिछले सालों में बेहतर इन्फ्रास्ट्रक्चर की मदद से इस तरह की 10-12 रेजिमेंट्स की तैनाती हुई है.

बुनियादी ढांचे में मजबूती

रिपोर्ट के मुताबिक, वहां खाली पड़े क्षेत्रों में सैनिकों के लिए अतिरिक्त सड़कें, नई मिलिट्री पोस्ट, सुरंगें, हेलीपैड, ट्रैक, पुल, परमानेंट डिफेंस, आवास और शेल्टर बनाए गए. कम्युनिकेशन नेटवर्क, लॉजिस्टिक बेस, अंडरग्राउंड शेल्टर और सामान स्टॉक करने की सुविधा भी डेवलप की गई है. 

बता दें, भारत और चीन के बीच तब से अब तक सीमा मामलों को लेकर 18 दौर की सैन्य वार्ता और 27 बैठकें हो चुकी हैं. 

आंकड़ों के मुताबिक, BRO (Border Roads Organisation) ने अकेले लद्दाख में 2021 में 19 और 2022 में 26 इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट पूरे किए हैं. इस साल 54 परियोजनाओं को पूरा करने का टारगेट है. सीमावर्ती इनफ्रास्ट्रक्चर को बढ़ावा देने के लिए खासतौर पर पूर्वी लद्दाख में इस वित्तीय वर्ष में 5,000 करोड़ रुपये का आवंटन किया गया, जो 2022-23 में 3,500 करोड़ रुपये था.

वीडियो: गलवान घाटी के जिस इलाके में लड़ाई हुई थी वहां नया क्या हो रहा है?

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