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LAC पर वो इलाके कौन-कौन से हैं, जहां चीन बार-बार घुसपैठ की कोशिश करता है?

भारत और चीन की सीमा पर बार-बार इन जगहों पर झड़प, गतिरोध या घुसपैठ की खबर आती रहती हैं.

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India and china border stand off clash
भारत और चीनी सेना. (फाइल फोटो: PTI)
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धीरज मिश्रा
14 दिसंबर 2022 (Updated: 14 दिसंबर 2022, 08:37 PM IST) कॉमेंट्स
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अरुणाचल प्रदेश (Arunachal Pradesh) के तवांग सेक्टर (Tawang Sector) के यांगत्से में भारत और चीनी सैनिकों के बीच झड़प के बाद एक बार फिर से दोनों देशों के संबंधों में खटास आ गई है. भारत का कहना है कि चीन कभी भी सीमा विवाद का समाधान नहीं करना चाहता है, इसलिए उसकी सेना बार-बार भारतीय क्षेत्र में आने की कोशिश करती है. वहीं चीनी सेना ने दावा किया है कि भारतीय सेना अवैध तरीके से सीमा पार करने की कोशिश कर रही थी, जिसके कारण ये झड़प हुई.

इससे पहले साल 2020 के जून महीने में लद्दाख की गलवान घाटी में भी दोनों तरफ की सेनाओं के बीच झड़प हुई थी और 45 सालों बाद भारत-चीन सीमा पर खून बहा था. इस घटना में 20 भारतीय जवान शहीद हुए थे. चीन के भी कई सैनिक मारे गए थे. यांग्त्से और गलवान ऐसे क्षेत्र हैं, जहां सीमा को लेकर दोनों देशों के अपने-अपने दावे हैं और इसी के अनुसार दोनों तरफ की सेनाएं गश्त करती हैं.

25 हॉटस्पॉट इलाके

इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, भारत और चीन के बीच की 3488 किलोमीटर लंबी सीमा पर इस तरह के कुल 25 क्षेत्र हैं, जिन्हें हॉस्टस्पॉट कहा जा सकता है. यहां भारत और चीन के बीच बार-बार झड़प और गतिरोध होने या अवैध तरीके से सीमा पार करने यानी कि घुसपैठ की घटनाएं होती रही हैं.

1990 के दशक में चीन और भारत के बीच हुई विभिन्न बैठकों और दोनों तरफ के मानचित्रों की तुलना करके इन 25 क्षेत्रों की पहचान की गई थी. पहले ऐसे क्षेत्रों की संख्या 23 हुआ करती थी. लेकिन साल 2020 में लद्दाख के गलवान और हॉट स्प्रिंग्स में चीनी घुसपैठ के चलते विवादित क्षेत्रों की संख्या बढ़ाकर 25 की गई.

इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक इन क्षेत्रों के नाम हैं:

1. ट्रिग हाइट्स (Trig Heights)
2. डेमचोक (Demchok)
3. बाराहोटी (Barahoti)
4. नामका चु (Namka Chu)
5. सुमदोरोंग चु (Sumdorong Chu)
6. यांगत्से (Yangtse)
7. एसाफिला (Asaphila)
8. लोंगजु-बिसा (Longju-Bisa)
9. कौरिक (Kaurik)
10. मुमरी डोगरी (Mumri Dogri)
11. शिपकी ला (Shipki La)
12. नॉर्थ समर लुंग्पा (North Samar Lungpa)
13. ईस्ट ऑफ प्वाइंट 6556 (East of Point 6556)
14. कुगरांग नदी का उत्तरी क्षेत्र (North of Kugrang river)
15. कोंगका ला (Area of Kongka La)
16. स्पंग्गुर गैप (Spanggur Gap)
17. डुमचेले गांव के उलट माउंट सजुम का पूर्वी क्षेत्र (East of Mount Sajum opposite Dumchele)
18. पैंगोंग सो का उत्तरी किनारा (North bank of Pangong Tso)
19. पैंगोंग सो की दक्षिणी किनारा (South bank of Pangong Tso)
20. चुमार (Chumar)
21. गलवान (Galwan)
22. हॉट स्प्रिंग (Hot Spring)
23. दिचु क्षेत्र (Dichu Area)
24. दिबांग घाटी (Dibang Valley)
25. लमांग (Lamang)

बीते 9 दिसंबर को यांगत्से में जो झड़प हुई थी, ये इस क्षेत्र की कोई पहली घटना नहीं है. पिछले साल अक्टूबर महीने में करीब 100 चीनी सैनिक यांगत्से में भारतीय सीमा को पार कर गए थे, जिसके चलते झड़प हुई थी. हालांकि, भारतीय सैनिकों ने उन्हें सफलतापूर्वक पीछे धकेल दिया था. ये घटना ऐसे वक्त पर हुई थी, जब भारत और चीन लद्दाख में हुई झड़प को लेकर 13वें राउंड की बातचीत की तैयारी कर रहे थे.

इससे पहले साल 2016 में भी इसी क्षेत्र में करीब 250 चीनी सैनिक भारतीय क्षेत्र को पार कर गए थे. भारत ने इस पर गहरी नाराजगी जाहिर करते हुए कहा था चीन वास्तविक नियंत्रण रेखा का उल्लंघन कर रहा है.

इससे पहले साल 2017 में डोकलाम में भारत और चीन के बीच गतिरोध हुआ था. चीनी सेना इस क्षेत्र में सड़क बना रही थी, जिसका भारत ने पुरजोर तरीके से विरोध किया था. चीन द्वारा किए गए निर्माण कार्यों को तोड़ने के लिए भारतीय सैनिक बुल्डोजर लेकर पहुंच गए थे. करीब दो महीने लंबे चला ये विवाद तब शांत हुआ, जब 28 अगस्त 2017 को भारत और चीन ने विवादित स्थान से पीछे हटने का ऐलान किया.

दी लल्लनटॉप शो: तवांग सेक्टर में भारत ने गलवान वाली कहानी को कैसे पलटा?

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