एक कविता रोज़: फैज़ अहमद फैज़ की नज़्म 'गुल हुई जाती है'
फैज़ जाने माने शायर थे और व्यवस्था के खिलाफ आवाज़ उठाते रहते थे.
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एक कविता रोज़ में आज सुनिए फैज़ अहमद फैज़ की मशहूर नज़्म गुल हुई जाती है.
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