वो आदमी पान सिंह तोमर का पहला वर्जन था. चंबल का बागी. जिसे कभी दद्दा, कभी रॉबिन हुड तो कभी जेंटलमेन डाकू कहा गया. एक और विशेषण भी उसके नाम से जुड़ा था- ‘इंडिया का सबसे महंगा डाकू’. 3 लाख का इनाम था उसके सिर पे. और ये बात है 1960 के दशक की. 3 लाख तो फिर भी कम है, उस दौर में उसने सिर्फ एक किडनैपिंग से 26 लाख रूपये की फिरौती हासिल की थी. आतंक ऐसा था कि कहते हैं जब 1972 में JP ने चंबल के डाकुओं के सरेंडर की स्कीम बनाई, इंदिरा अड़ गई थी. उनका कहना था,
तारीख: चंबल का वो डाकू जिससे इंदिरा भी डर गई थी!
ये आदमी पान सिंह तोमर का पहला वर्जन था.
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“ये काम सिर्फ़ एक शर्त पर होगा. शर्त ये कि मोहर सिंह हथियार डालने को तैयार हो.”
कौन था मोहर सिंह. कैसे बना डाकू, क्या थी पूरी कहानी. जानेंगे आज के एपिसोड में.
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