कविताओं से जुड़ा हमारा लल्लनटॉप कार्यक्रम 'एक कविता रोज़'. एक कविता रोज़ में आज अनुराग अनंत की एक कविता आपको सुनाएंगे जिसका शीर्षक है अनुवाद. अनुवाद लल्लनटॉप कहानी कॉम्पीटीशन के विजेता रह चुके हैं. इसके अलावा वो बाबासाहेब भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय से पत्रकारिता में पीएचडी कर रहे हैं. मूलतः इलाहाबाद के हैं और फ़िलहाल लखनऊ में रहते हैं. हिंदी की पत्र-पत्रिकाओं में छपते रहते हैं. आइए सुनते हैं अनुराग अनंत की कविता - अनुवाद. देखें वीडियो
एक कविता रोज़ में सुनिए अनुराग अनंत की कविता - अनुवाद
'मैं बचा लेना चाहता हूं एक जरुरी स्वप्न/जिसके सहारे मृत्यु के मौसम में भी मल्हार गाया जा सके'
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