मध्यप्रदेश के इंदौर में एक कॉलेज में परीक्षा का डर इतना भारी हो गया कि दो छात्रों ने कॉलेज की प्रिंसिपल के बारे में ही झूठी खबर फैला दी. खबर भी ऐसी वैसी नहीं. छात्रों ने प्रिंसिपल का सीधे ‘निधन’ ही करा दिया और ये फर्जी खबर सोशल मीडिया पर फैला भी दी. कॉलेज में हड़कंप मचा तो सच्चाई खुली. पुलिस ने छात्रों के खिलाफ FIR दर्ज कर ली है. अब उनके फोन चेक हो रहे हैं.
पेपर ना देना पड़े इसलिए छात्रों ने प्रिंसिपल का 'निधन' करा दिया, लेटरहेड ने खोली पोल
कॉलेज में पढ़ने वाले मयंक कछवाल और हिमांशु जायसवाल ने अपनी परीक्षा को रद्द कराने के लिए ये खबर फैलाई थी.


ये मामला इंदौर के होलकर कॉलेज का है. आजतक की रिपोर्ट के मुताबिक कॉलेज में पढ़ने वाले मयंक कछवाल और हिमांशु जायसवाल ने अपनी ऑनलाइन परीक्षा को रद्द कराने के लिए साजिश रची. दोनों ने कॉलेज की प्रिंसिपल डॉक्टर अनामिका जैन के आकस्मिक निधन की झूठी खबर फैला दी.
मयंक और हिमांशु कॉलेज से BCA की पढ़ाई कर रहे थे. इन्होंने एक फर्जी लेटरहेड का इस्तेमाल किया. जिसमें प्रिंसिपल को मृत दिखा दिया. कॉलेज प्रशासन को जब ये सूचना मिली तो मामले की जांच शुरू हुई. पता चला कि ये एक शरारत नहीं, बल्कि एक सोची-समझी साजिश थी. ताकि परीक्षा स्थगित हो सके. कॉलेज की प्रिंसिपल ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए भंवरकुआं थाने में शिकायत दर्ज कराई.
शिकायत में कहा गया है कि छात्रों ने कॉलेज के आधिकारिक लेटरहेड पर फर्जीवाड़ा करते हुए प्रिंसिपल के आकस्मिक देहांत का कारण लिखा. इस फर्जी सूचना में ये भी बताया गया कि 15 और 16 तारीख की सभी परीक्षाएं स्थगित कर दी गई हैं. इस फर्जी लेटर को होलकर कॉलेज के स्टूडेंट्स के ग्रुपों और अन्य छात्रों के बीच तेजी से वायरल कर दिया गया.

NDTV की रिपोर्ट के मुताबिक झूठी अफवाह जैसे ही सोशल मीडिया पर फैली, कॉलेज मैनेजमेंट, टीचर्स और कर्मचारी भी चौंक गए. आनन-फानन में स्टाफ के कई सदस्य प्रिंसिपल अनामिका जैन के घर पहुंचे. जब जांच हुई तो पता चला कि प्रिंसिपल बिल्कुल ठीक हैं. और ये सब परीक्षा निरस्त करवाने के लिए किया गया था.
मामले को लेकर एडिशनल DCP राजेश दंडोतिया ने बताया,
"ये घटना सोशल मीडिया के जरिए अफवाह फैलाकर शैक्षणिक संस्थान के माहौल को बिगाड़ने का प्रयास है. आगे की जांच जारी है और छात्रों के मोबाइल, चैट हिस्ट्री और अकाउंट्स की फॉरेंसिक जांच चल रही."
भंवरकुआं पुलिस अधिकारियों ने बताया कि दोनों छात्रों के खिलाफ IT एक्ट और धोखाधड़ी से जुड़ी धाराओं में मामला दर्ज किया जा सकता है. पुलिस ने चेतावनी दी है कि किसी भी तरह की अफवाह फैलाने या गलत सूचना शेयर करने वालों के खिलाफ सख्त कदम उठाया जाएगा.
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