उत्तर प्रदेश के संभल जिले में बकरीद से पहले प्रशासन अलर्ट मोड में है. संभल के जिलाधिकारी (DM) राजेंद्र पेंसिया ने निर्देश दिया है कि सार्वजनिक स्थानों पर जानवरों की कुर्बानी की अनुमति नहीं होगी. कुर्बानी के लिए केवल 19 स्थानों को चिह्नित किया गया है. इस दौरान उन्होंने कहा कि अगर किसी ने प्रतिबंधित पशु की कुर्बानी दी तो उसके खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी.
यूपी के संभल में बकरीद पर कहीं नहीं होगी सार्वजनिक कुर्बानी, DM ने और क्या-क्या कहा?
Sambhal News: संभल के जिलाधिकारी (DM) राजेंद्र पेंसिया ने कहा कि आने वाली बकरीद पर सार्वजनिक स्थानों पर जानवरों की कुर्बानी की अनुमति नहीं होगी.
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सोमवार, 2 जून को मीडिया से बात करते हुए DM राजेंद्र पेंसिया ने कहा,
"जनपद में जितने भी ऐसे स्थान हैं, जहां नमाज होनी है, वहां के प्रतिनिधि भी उपस्थित रहे. सभी को स्पष्ट रूप से कहा गया कि किसी भी प्रकार की कुर्बानी सार्वजनिक स्थान पर नहीं दी जाएगी. केवल वे ही स्थान डेजिग्नेटेड होंगे जहां पहले से ऐसी अनुमति है. वहीं कुर्बानी की जाएगी. इसके अलावा बिजली, पानी और स्वच्छता का भी विशेष ध्यान रखा जाएगा."
उन्होंने आगे कहा,
"प्रतिबंधित जीवों के कटान पर पूर्णतः रोक है. इसे शांति समिति की बैठक में भी स्पष्ट किया गया. सबसे अच्छी बात यह है कि पिछले पांच सालों में यहां इस प्रकार की कोई घटना घटित नहीं हुई है. मौलवी, मुतवल्ली और सभी प्रतिनिधियों ने इस बात पर सहमति जताई है. इस बार भी ईद की नमाज़ शांतिपूर्ण तरीके से संपन्न होगी. ईद धूमधाम से मनाई जाएगी."
DM ने बताया कि धारा 163 पहले से लागू है. इसके तहत यदि किसी व्यक्ति द्वारा शांति भंग करने का प्रयास किया गया तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी. राजेंद्र पेंसिया ने यह भी कहा कि कुछ लोग वीडियो बनाकर वायरल करते हैं, उन्हें इस तरह की गतिविधियों से बचने के निर्देश दिए गए हैं. जनपद में कुल 19 ऐसे डेजिग्नेटेड कुर्बानी स्थल हैं, जहां कुर्बानी की अनुमति है.
डीएम का ये निर्देश संभल की सांप्रदायिक संवेदनशीलता से भी जुड़ा है. पिछले साल 24 नवंबर को यहां की जामा मस्जिद के सर्वे के विरोध में हिंसा भड़क गई थी. इसमें 4 लोगों की मौत हो गई थी. बीती 21 फरवरी को पुलिस की चार्जशीट में भी इसका जिक्र था. घटना में 29 पुलिसकर्मियों के घायल होने की बात कही गई थी.
चार्जशीट के मुताबिक हिंसा में एक करोड़ रुपये से ज्यादा की संपत्ति का नुकसान हुआ था. पुलिस ने कुल 79 नामजद लोगों को आरोपी बनाया था. इसमें दंगा, आगजनी, पथराव और फायरिंग जैसी गंभीर धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज है. पुलिस ने कहा था कि नुकसान हुई संपत्तियों की भरपाई उपद्रवियों से की जाएगी.
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