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सफाई के मकसद से स्टेशन की दीवार पर बनाई हिंदू भगवानों की तस्वीरें, 'मूत्रवीरों' ने उन पर भी पेशाब कर दिया

कुछ 'महानुभाव' स्टेशन के पास की एक दीवार पर मूत्र विसर्जन करते दिखे. और जिस दीवार पर ये काम किया जा रहा था, वहां हिंदू देवी-देवताओं की पेंटिंग्स बनी हुई थीं. इस बेहद शर्मनाक कृत्य को किसी ने कैमरे में कैद कर लिया और सोशल मीडिया पर अपलोड कर दिया.

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ये घटना न सिर्फ धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाती है, बल्कि सार्वजनिक संपत्ति और स्वच्छता के प्रति हमारी घोर लापरवाही को भी दिखाती है. (फोटो- स्क्रीनग्रैब)

एक रेलवे स्टेशन के वीडियो ने इंटरनेट को हिलाकर रख दिया है. इसे देखकर व्यवस्था से लेकर आस्था तक पर यकीन करने वाले किसी भी शख्स का खून खौल सकता है. कुछ लोग हंसते-हंसते लोटपोट भी हो सकते हैं! ये सब आपकी धार्मिक भावनाओं और हास्यबोध पर निर्भर करता है.

बात ऐसी है कि कुछ 'महानुभाव' स्टेशन के पास की एक दीवार पर मूत्र विसर्जन करते दिखे. और जिस दीवार पर ये काम किया जा रहा था, वहां हिंदू देवी-देवताओं की पेंटिंग्स बनी हुई थीं. इस बेहद शर्मनाक कृत्य को किसी ने कैमरे में कैद कर लिया और सोशल मीडिया पर अपलोड कर दिया.

वायरल पोस्ट में वीडियो को एक राज्य से जोड़ा गया है. लेकिन चूंकि इस पुष्टि नहीं हो सकी, इसलिए हम नहीं बता सकते कि वीडियो असल में कहां का है. इसके सामने आते ही सोशल मीडिया पर तूफान आ गया. इसे देखने के बाद आस्थावान लोग गुस्से में हैं क्योंकि दीवार पर भगवान शिव, हनुमान और मां दुर्गा की तस्वीरें थीं. कहा जा रहा है कि इन भगवानों को इसीलिए दीवार पर तस्वीर के रूप में स्थापित किया गया था ताकि लोग वहां पेशाब न करें या अन्य प्रकार की गंदगी न फैलााएं. लेकिन लगता है हमारा समाज असभ्यता के रसातल में जी रहा है. 

वीडियो देखकर एक इंस्टाग्राम यूजर ने लिखा,

“रेस्ट रूम ना होने का नतीजा.”

hai
इंस्टा कमेंट.

पॉली घोष नाम की यूजर ने लिखा,

“सिविक सेंस 0.”

akl
इंस्टा कमेंट.

इंदरप्रीत सिंह ने लिखा,

“ऐसे लोगों पर शर्म आती है.”

kol
इंस्टा कमेंट.

ये घटना न सिर्फ धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाती है, बल्कि सार्वजनिक संपत्ति और स्वच्छता के प्रति हमारी घोर लापरवाही को भी दिखाती है.

अब आते हैं असली सवाल पर, ये लोग थे कौन? कुछ लोगों का कहना है कि ये शराब के नशे में थे, तो कुछ का मानना है कि ये जानबूझकर धार्मिक भावनाएं भड़काने की कोशिश थी. पुलिस ने मामले को संज्ञान में लिया है और CCTV फुटेज की जांच शुरू कर दी है. लेकिन सवाल ये है कि क्या सिर्फ जांच से काम चलेगा? अगर इन्हें सजा भी मिल गई, तो भी क्या ये सबक लेंगे? 

इसका जवाब ‘हां’ में देना मुश्किल है. क्योंकि ऐसे ‘मूत्रवीरों’ को लगता है कि दीवार पर पेशाब करना उनका 'मौलिक अधिकार' है और इसकी मनाही के खिलाफ जाकर वे ‘क्रांतिकारी’ काम कर रहे हैं.

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