अहमदाबाद (Ahmedabad) में एयर इंडिया विमान दुर्घटना (Air Plane Crash) के बाद नागरिक उड्डयन मंत्रालय (Civil Aviation Ministry) ने नए नियमों का ड्राफ्ट जारी किया गया है. इसमें एयरक्राफ्ट सेफ्टी के लिए खतरा पैदा करने वाले स्ट्रक्चर्स पर कड़ा एक्शन लेने का प्रावधान किया गया है. ‘डिमोलिशन ऑफ ऑब्सट्रक्शन रूल्स’, 2025 के नाम से ये ड्राफ्ट 18 जून का जारी किया गया है. आधिकारिक गजट में प्रकाशित होने के बाद यह लागू हो जाएगा.
नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने नए नियम बनाए, हवाई क्षेत्र के पास के निर्माण पर होगी कार्रवाई
Civil Aviation Ministry ने नए Draft Rules जारी किए हैं. इस नियम के लागू होने के बाद अधिकारियों के पास notified aerodrome zones में आने वाले वैसे इमारतों और पेड़ों को हटाने का अधिकार होगा. जिनकी हाइट तय स्टैंडर्ड से ज्यादा होगी.

इइस नियम के लागू होने के बाद अधिकारियों के पास नोटिफाइड हवाई क्षेत्र में आने वाले वैसे इमारतों और पेड़ों को हटाने का अधिकार होगा. जिनकी हाइट तय स्टैंडर्ड से ज्यादा होगी. इन उपायों से उड़ान में आई बाधाएं के चलते होने वाले दुर्घटनाओं को रोकने में मदद मिलेगी.
नए ड्राफ्ट के तहत एयरपोर्ट का प्रभारी अधिकारी निर्धारित हाइट लिमिट का उल्लंघन करने वाले किसी भी स्ट्रक्चर को नोटिस भेज सकता है. इसके ओनर्स को साठ दिनों के भीतर डिटेल्ड जानकारी देनी होगी. नोटिस का जवाब नहीं देने पर आगे की कार्रवाई की जा सकती है, जिसमें ऊंचाई कम करने के लिए तोड़फोड़ करना भी शामिल है.
यदि नागरिक उड्डयन महानिदेशक (DGCA) या कोई अधिकृत अधिकारी उल्लंघन की पुष्टि करता है, इसके बाद वो ओनर्स को स्ट्रक्चर्स को ध्वस्त करने या पेड़ काटने का आदेश जारी कर सकते हैं. इस आदेश का पालन 60 दिनों के भीतर किया जाना चाहिए. किसी वैध आधार पर इसमें 60 दिन का विस्तार भी दिया जा सकता है.
किसी भी स्ट्रक्चर के फिजिकल वेरीफिकेशन के लिए अधिकारी दिन के उजाले में उस परिसर में दाखिल हो सकते हैं. इसके लिए उन्हें ओनर को सूचना देनी होगी. अगर ओनर जांच में सहयोग नहीं करते हैं तो अधिकारी उपलब्ध जानकारी के आधार पर जांच आगे बढ़ा सकते हैं. और मामले को DGCA को भेज सकते हैं.
यदि आदेश का पालन नहीं किया जाता है तो प्रभारी अधिकारी को मामले की सूचना जिला कलेक्टर को देनी होगी. इसके बाद प्रक्रिया के तहत जिला कलेक्टर अनधिकृत निर्माण या फिर पेड़ों को हटाने की कार्रवाई करेंगे.
ओनर्स के पास इन आदेशों के खिलाफ प्रथम या द्वितीय अपीलीय अधिकारी के पास अपील करने का अधिकार रहेगा. अपील करने के लिए एक फॉर्म भी जारी किया गया है. इस फॉर्म में जरूरी डॉक्यूमेंट्स की जानकारी भरने के साथ 1 हजार रुपये फीस जमा करके अपील दायर की जा सकती है. केवल वही लोग अपील दायर कर सकते हैं जो अधिकारियों के आदेश का पालन करेंगे.
वे भारतीय वायुयान अधिनियम, 2024 की धारा 2 के तहत मुआवजे का दावा कर सकते हैं. अधिसूचना जारी करने के बाद बनाए गए किसी भी ढांचे के लिए मुआवजा नहीं मिलेगा. नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने अधिसूचना के पब्लिश होने के बीस दिनों के भीतर जनता से आपत्ति या सुझाव मांगे हैं. नागरिक उड्डयन महानिदेशक के पत्ते पर लोग अपना रिस्पॉन्स भेज सकते हैं.
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