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अमित शाह आप से परेशान रहते हैं? सवाल पर क्या बोले छोटू भाई वसावा

वसावा ने लल्लनटॉप को बताया कि सरदार पटेल की प्रतिमा लगने से 70 गांव के आदिवासियों को विस्थापित होना पड़ा

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छोटू भाई वसावा ने बीजेपी से अपने सबंधों पर लल्लनटॉप से खुलकर बात की | फोटो: आजतक/दी लल्लनटॉप

गुजरात चुनाव 2022 (Gujarat Election 2022) में मुख्य मुकाबला BJP, कांग्रेस और आम आदमी पार्टी के बीच नजर आ रहा है. इन पार्टियों के नेता लगातार पूरे राज्य में चुनावी रैलियां कर रहे हैं. लेकिन, इन सबके बीच भारतीय ट्राइबल पार्टी (BTP) भी गुजरात चुनाव में पूरे दमखम के साथ मैदान में है. इस पार्टी की गुजरात और राजस्थान के आदिवासी क्षेत्रों में अच्छी पकड़ मानी जाती है. इसके मुखिया हैं छोटू भाई वसावा (Chhotubhai Vasava). लल्लनटॉप के संपादक सौरभ द्विवेदी ने वसावा से उनकी राजनीति और वर्तमान चुनाव की तैयारियों को लेकर बातचीत की.

इस बातचीत में छोटू भाई वसावा से एक सवाल पूछा गया कि 2017 के गुजरात विधानसभा चुनाव में उनकी सीट से उनके ही नाम का एक और उम्मीदवार उतार दिया गया था. चुनाव में इस तरह का काम उनके साथ किसने किया था?

इस सवाल के जवाब में वसावा बोले, 'अमित शाह'

इसके बाद छोटू भाई वसावा से सवाल किया गया कि अमित शाह ऐसा क्यों करवाएंगे? वे आपसे क्यों परेशान हैं?

छोटू भाई वसावा ने इस सवाल के जवाब में कहा,

'अमित शाह मुझसे इसलिए परेशान रहते हैं क्योंकि हमारे इलाके में जंगल है और जमीन के नीचे काफी कुछ है. वो हम नहीं देना चाहते. हमारी तहसील में जमीन के नीचे जो चीजें हैं वो अमित शाह को खनन करके निकालनी हैं. इसलिए वो मेरे विरोधी हैं. उन्होंने कोशिश की थी कि हमारे क्षेत्र में उनका कोई आदमी चुन लिया जाए. इसीलिए मेरे नाम के आदमी को मैदान में उतार दिया और उसे वो चुनाव चिन्ह दिया, जिस चिन्ह पर मैं कभी जनता दल से चुनाव लड़ा था. वो 'तीर' चुनाव चिन्ह था.'

गुजरात में एसटी के लिए रिजर्व 27 सीटों पर बीजेपी परंपरागत रूप से कमजोर मानी गई है? ऐसा क्यों है?

वसावा ने कहा,

'बीजेपी ने गलती की है, उसने स्टेच्यू ऑफ यूनिटी (सरदार बल्ल्भभाई पटेल की प्रतिमा) को बनाया है. उसके चलते आदिवासियों के 70 गांव चले गए. वहां रहने वालों को विस्थापित होना पड़ा. उन्हें मुआवजा नहीं मिला. नौकरी नहीं मिली. उन्होंने (बीजेपी ने) ये प्रोजेक्ट बनाकर हमें (आदिवासियों को) परेशान किया.'

छोटू भाई वसावा के मुताबिक इस वजह से आदिवासी बीजेपी से नाराज रहते हैं और बीजेपी नेताओं की बात नहीं सुनते हैं.

पूरा इंटरव्यू: भारतीय ट्राइबल पार्टी के मुखिया छोटू भाई वसावा ने कहा गुजरात सरकार मुझे कभी भी मरवा सकती है