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चिप बनाने वाली Nvidia ने रचा इतिहास, 4 ट्रिलियन डॉलर पहुंची वैल्यूएशन, ऐसा कोई और न कर पाया

Microsoft, Meta, Amazon और Alphabet जैसी दिग्गज कंपनियां Artificial Intelligence में अरबों-अरबों इनवेस्ट कर रही हैं. इससे चिप बनाने वाली कंपनी Nvidia को काफी फायदा मिल रहा है. तगड़ी डिमांड की बदौलत Nvidia का मार्केट कैप ऐतिहासिक स्तर को पार कर गया है.

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Nvidia creayes history with market cap crosses 4 trillion dollar mark
Nvidia ने मार्केट कैप के मामले में एप्पल और माइक्रोसॉफ्ट जैसी कंपनियों को भी पीछे छोड़ दिया है.
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उपासना
10 जुलाई 2025 (Updated: 10 जुलाई 2025, 12:40 PM IST)
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चिप बनाने वाली कंपनी Nvidia (एनवीडिया) ने इतिहास रच दिया है. कंपनी 4 लाख करोड़ डॉलर(करीब 342 लाख करोड़ रुपये) का वैल्यूएशन पार करने वाली दुनिया की पहली कंपनी बन गई है. ट्रिलियन में कितने जीरो होंगे उसमें सिर खपाने से अच्छा इतना जान लीजिए कि इस फिगर तक अभी सिर्फ उंगलियों में गिनने लायक कंपनियां ही पहुंच सकी हैं.

9 जुलाई, बुधवार को कंपनी के शेयरों में 2.8% की तेजी आई और शेयर 164 डॉलर(14,022 रुपये) पर पहुंच गए. Nvidia आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस बनाने के लिए इस्तेमाल होने वाले हार्डवेयर्स बनाती है. माइक्रोसॉफ्ट, मेटा, एमेजॉन और एल्फाबेट जैसी दिग्गज कंपनियां आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस में जमकर निवेश कर रही हैं और Nvidia के चिप्स की लगातार डिमांड आ रही है.

आलम ये है कि Nvidia ने अब इन्हीं दिग्गज कंपनियों को पीछे छोड़ दिया है. अभी तक एप्पल और माइक्रोसॉफ्ट ही ऐसी कंपनियां हैं जिनका मार्केट कैप 3 लाख करोड़ डॉलर(करीब 256 लाख करोड़ रुपये) के पार है. Nvidia ने इसे भी पार कर लिया है. चिप्स के फील्ड में कंपनी की पकड़ कितनी मजबूत है इसका अंदाजा लगाने के लिए आप कुछ आंकड़े देखिए.

8 साल पहले कंपनी का एक शेयर इसके मौजूदा लेवल से 1 प्रतिशत से भी कम था. फिर जून 2023 में कंपनी ने 1 लाख करोड़ डॉलर(करीब 85 लाख करोड़ रुपये) के वैल्यूएशन को पार किया. टेक दुनिया के जानकारों ने इसे ऐतिहासिक उपलब्धि बताया था. एक साल भी नहीं बीते थे कि इसका वैल्यूशन तीन गुना पार कर गया. एप्पल और माइक्रोसॉफ्ट को ये मुकाम हासिल करने में कहीं ज्यादा समय लगा था.

ये दोनों कंपनियां अभी भी 4 लाख करोड़ डॉलर के मार्केट कैप से पीछे हैं. एप्पल का मार्केट कैप इस समय 3.01 लाख करोड़ डॉलर(करीबन 257 लाख करोड़ रुपये) है. और माइक्रोसॉफ्ट का वैल्यूएशन 3.75 लाख करोड़ डॉलर(करीबन 320 लाख करोड़), लेकिन Nvidia ने ये मुकाम बड़े कम समय में हासिल कर लिया है.

हालांकि, ऐसा नहीं है कि Nvidia के मत्थे मुश्किल दिन नहीं आए हैं. डॉनल्ड ट्रंप ने राष्ट्रपति बनते ही टैरिफ वॉर छेड़ दिया. उधर चीन की कंपनी डीपसीक का एआई मार्केट में हल्ला मचने लगा. लगा कि आर्टिफिशयल इंटेलिजेंस मार्केट से Nvidia की बादशाहत खत्म हो जाएगी.

डर के माहौल का असर कंपनी के शेयरों पर भी दिखा. लेकिन हाल के समय में ट्रंप ने देशों के साथ डील की है. इससे सेंटिमेंट कुछ पॉजिटिव हुआ है. शेयर बाजार और इनवेस्टर दोनों की उम्मीदें जागी हैं. इसी का फायदा कंपनी को मिलता दिख रहा है. इसके शेयर अप्रैल के निचले स्तरों 74 पर्सेंट ऊपर आ गए हैं. अमेरिकी इंडेक्स S&P 500 में Nvidia की सबसे ज्यादा 7.3 पर्सेंट हिस्सेदारी है. Nvidia की तेजी ने इंडेक्स को भी अब तक के सबसे ऊंचे स्तर पर पहुंचा दिया है.

Nvidia की सफलता ने कंपनी के सीईओ जेनसेन हुआंग को भी टेक दुनिया में काफी पॉपुलर बना दिया है. मार्क जुकरबर्ग तो उन्हें ‘The Taylor Swift of tech’ कह चुके हैं. ताइवान में तो जेनसेन रॉकस्टार की तरह फेमस हैं. कंपनी ने 2025 की पहली तिमाही (जनवरी-मार्च) में 44.1 अरब डॉलर रेवेन्यू कमाया था. एक साल पहले के मुकाबले ये 69% ज्यादा है.

वीडियो: एप्पल और माइक्रोसॉफ्ट को पछाड़ Nvidia बनी दुनिया की सबसे बड़ी कंपनी

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