क्या एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स इस्तेमाल करने से झुर्रियां नहीं पड़तीं?
एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स उम्र के साथ होने वाले बदलावों को स्लो डाउन करते हैं.
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(यहां बताई गई बातें, इलाज के तरीके और खुराक की जो सलाह दी जाती है, वो विशेषज्ञों के अनुभव पर आधारित है. किसी भी सलाह को अमल में लाने से पहले अपने डॉक्टर से ज़रूर पूछें. दी लल्लनटॉप आपको अपने आप दवाइयां लेने की सलाह नहीं देता.)
रिया 35 साल की हैं. दिल्ली में रहती हैं. वो बताती हैं कि 30 साल की उम्र के बाद ब्यूटी पार्लर जाना एक मुसीबत बन गई है. उन्हें ऐसा लगता है जैसे वो हर महीने अपनी बेइज्ज़ती करवाने के लिए पैसा खर्च करती हैं. अब उनकी इस फीलिंग से हममें से ज़्यादातर लोग इत्तफ़ाक रखते हैं. जब भी पार्लर जाओ, कुछ भी करवाने चाहें, फ़ेशियल या हेयर कट, वहां उन्हें अपनी स्किन को लेकर तानें पड़ते हैं. रिया इस चीज़ से परेशान हो चुकी हैं. उनकी चिंता है कि कहीं वाकई में उनकी स्किन उम्र से पहले तो बूढ़ी नहीं हो गई? ऐसे में उन्हें कई लोग एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स इस्तेमाल करने की सलाह दे रहे हैं.
वैसे आपने भी टीवी पर, सोशल मीडिया पर, अखबारों में एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स का नाम सुना होगा. ये प्रोडक्ट्स बनाने वाले दावा करते हैं कि इनसे स्किन पर उम्र के साथ होने वाले बदलाव जैसे झाइयां, झुर्रियां, स्किन लटकना जैसी समस्याएं स्लो डाउन करती हैं. इसलिए एक उम्र के बाद आपको वो स्किनकेयर प्रोडक्ट्स इस्तेमाल करने चाहिए, जो एंटी-एजिंग में मदद करें. एंटी-एजिंग को लेकर रिया के कई सारे जवाज़ सवाल हैं. जैसे ये काम कैसे करते हैं, क्या इस्तेमाल करना चाहिए, कैसे इस्तेमाल करना चाहिए. वो चाहती हैं कि हम अपने शो पर ये सारे सवाल एक्सपर्ट्स से पूछकर लोगों को बताएं. ताकि उन्हें भी मदद मिल सके. तो सबसे पहले जानते हैं एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स क्या होते हैं. एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स क्या होते हैं, कैसे काम करते हैं? ये हमें बताया डॉक्टर अप्रितम ने.
डॉक्टर अप्रतिम गोयल, डर्मेटोलॉजिस्ट, क्यूटिस स्किन स्टूडियो, मुंबई
-एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स सुबह और रात में स्किन पर लगाने वाले कुछ ऐसे प्रोडक्ट्स हैं, जो उम्र के साथ होने वाले बदलावों को स्लो डाउन करते हैं.
-उम्र के साथ आने वाले बदलावों को हमेशा के लिए नहीं रोका जा सकता लेकिन काफ़ी हद तक बेहतर किया जा सकता है.
-जैसे धूप से होने वाला डैमेज जिससे झाइयां होती हैं, स्किन रूखी हो जाती है, पोर्स खुल जाते हैं.
-हॉर्मोनल बदलाव जिससे मेलास्मा होता है यानी स्किन पर भूरे-भूरे धब्बे हो जाते हैं.
-हॉर्मोनल बदलाव और धूप की वजह से स्किन लूज़ हो जाती है, लाइन्स पड़ जाती हैं, गले पर झुर्रियां पड़ जाती हैं.
-जो भी प्रोडक्ट्स स्किन पर लगाने के बाद इन बदलावों को स्लो डाउन करें या कम करें, उन्हें एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स कहते हैं. एंटी एजिंग प्रोडक्ट्स इस्तेमाल करना क्या ज़रूरी हैं? -उम्र के साथ स्किन पर आने वाले बदलाव केवल बाहर से नहीं होते हैं.
-एजिंग स्किन के अंदर भी होती है.
-स्किन की बाहर के इन्फेक्शन से लड़ने की ताकत कम हो जाती है.
-स्किन सेंसिटिव हो जाती है.
-जो प्रोडक्ट्स आपने पहले इस्तेमाल किए हैं, वो अब नहीं इस्तेमाल कर पाते.
-स्किन बहुत रूखी हो जाती है.
उम्र के साथ स्किन पर आने वाले बदलाव केवल बाहर से नहीं होते हैं
-इसलिए अगर आप एंटी-एजिंग स्किनकेयर शुरू करते हैं तो बहुत सारी इन प्रॉब्लम्स से निजात पा लेते हैं.
-स्किन ग्लो करती है और हेल्दी रहती है.
-एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स ज़रूर इस्तेमाल करने चाहिए. एंटी एजिंग प्रोडक्ट्स इस्तेमाल करने की सही उम्र क्या है? -शरीर और चेहरे पर होने वाली एजिंग के पीछे कई चीज़ें ज़िम्मेदार होती हैं. जैसे जेनेटिक.
-अगर माता-पिता की एजिंग स्लो हुई है तो आपकी भी एजिंग स्लो होगी.
-जो लोग बहुत स्ट्रेस में रहते हैं, शरीर में बहुत हॉर्मोनल बदलाव होते हैं, लाइफस्टाइल में बदलाव बहुत ज़्यादा है, ऐसे लोगों में एजिंग थोड़ी जल्दी होती है.
-इसलिए कोई कट-ऑफ़ ऐज नहीं है ऐसे प्रोडक्ट्स इस्मेताल करने की.
-लेकिन जब आपको आपकी स्किन में कुछ बदलाव दिखने लगें जैसे झाइयां, पोर्स बिल्कुल खुल जाएं, स्किन लटकने लगे या बहुत ज़्यादा सेंसिटिव हो जाए, कोई भी नॉर्मल प्रोडक्ट या घरेलू नुस्ख़े स्किन न झेल पाए, इसका मतलब है स्किन का खुद को बचाने का डिफेंस लो हो गया है.
-इस समय आपको एंटी-एजिंग केयर शुरू कर देनी चाहिए.
-आमतौर पर एंटी-एजिंग केयर लेट 30s या 40 साल में शुरू होती है.
-औरतों में मेनोपॉज़ के आसपास केयर करना बहुत ज़रूरी है क्योंकि हॉर्मोन्स के साथ-साथ स्किन में भी बहुत बदलाव आते हैं.
-लेकिन जब आपको आपकी स्किन में बदलाव दिखने लगें तो ये सही समय है एंटी-एजिंग केयर शुरू करने का. कौन-कौन से एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स इस्तेमाल करने चाहिए और कैसे? -एजिंग के साथ स्किन में जो एक बहुत आम बदलाव आता है वो है उम्र के साथ स्किन में मौजूद कॉलाजेन (स्किन में पाया जाने वाला प्रोटीन जो स्किन तो टाइट रखता है) का टूटना. इसकी वजह से स्किन लटकने लगती है.
आमतौर पर एंटी-एजिंग केयर लेट 30s या 40 साल में शुरू होती है
-एंटी-एजिंग के प्रोडक्ट्स स्किन के कॉलाजेन को बढ़ाते हैं.
-पेपटॉइड क्रीम्स और रेटिनोल स्किन में बनने वाले कॉलाजेन को बनाते हैं, जिससे स्किन टाइट हो जाती है.
-एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स में आते हैं रेटिनोल.
-रेटिनोल बहुत तरह के होते हैं.
-सारे रेटिनोल आमतौर पर रात में इस्तेमाल किए जाते हैं.
-इन्हें इस्तेमाल करने का तरीका है कि आप इन क्रीम्स को बहुत लो कॉन्सट्रेशन में इस्तेमाल करें, फिर धीरे-धीरे बढ़ाएं.
-इसके साथ एक मॉइस्चराइज़र रात में और एक सनस्क्रीन दिन में इस्तेमाल करें.
-रेटिनोल स्किन को थोड़ा सेंसिटिव बनाते हैं, पर केवल कुछ समय के लिए.
-अब मार्किट में कई नए रेटिनोल भी उपलब्ध हैं, रेटिनोइड के नए प्रकार उपलब्ध हैं जैसे बाकूची ऑयल. अगर आपकी स्किन रेटिनोल नहीं झेल पा रही है तो ये अच्छा विकल्प है.
-रेटिनोल अकेले एंटी-एजिंग का काम नहीं कर सकता.
-रेटिनोल के साथ विटामिन सी, विटामिन ई, विटामिन ए, फ़ेरोलिक एसिड और ह्यलुरोनिक एसिड की भी ज़रूरत पड़ती है.
-इन सबका सही मिश्रण एंटी-एजिंग के लिए ज़रूरी है. एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स को लेकर क्या गलतियां आपको अवॉयड करनी चाहिए? -सबसे पहली गलती, आप सारे प्रोडक्ट्स चेहरे पर नहीं लगा सकते.
रेटिनोल स्किन को थोड़ा सेंसिटिव बनाते हैं, पर केवल कुछ समय के लिए
-क्योंकि ये प्रोडक्ट्स स्किन पर जाने के बाद आपस में मिलते हैं और स्किन पर अलग तरह से काम करते हैं, लिहाजा एक एक्सपर्ट की सलाह लेकर ही अपने लिए स्किनकेयर चुनें.
-प्रोडक्ट्स लगाने का एक सही क्रम है. जैसे फ़ेसवॉश के बाद सिरम लगाएं, फिर एक एक्टिव इंग्रीडिएंट, मॉइस्चराइज़र फिर उसके ऊपर एक नाईट क्रीम लगाते हैं.
-दूसरी गलती होती है कि आपने कोई भी प्रोडक्ट सोशल मीडिया पर देखा, उसे इस्तेमाल करना शुरू कर दिया. ऐसा न करें. डॉक्टर की सलाह लेने के बाद ही इस्तेमाल करें.
-जब भी कोई एंटी-एजिंग प्रोडक्ट इस्तेमाल करें तो उसे लो कॉन्सट्रेशन के साथ शुरू करें. जैसे अगर रेटिनोल इस्तेमाल कर रहे हैं तो .05 से शुरू करें.
-ये भी स्ट्रॉन्ग होता है, इसलिए इसे भी मॉइस्चराइज़र में मिलाकर इस्तेमाल करें.
-इन क्रीम्स का कॉन्सट्रेशन हर हफ़्ते आप बढ़ा सकते हैं.
-जब रात में एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स इस्तेमाल करें तो सुबह हमेशा आपको अपनी स्किन की सुरक्षा करनी है.
-ये देखना है कि स्किन से नमी न गायब हो, स्किन पर कोई यूवी लाइट का डैमेज न हो.
-दिन में स्किन पर मॉइस्चराइज़र, सिरम, सनस्क्रीन इस्तेमाल करना बहुत ज़रूरी है.
-जब आप दिन भर काम करते हैं तब स्किन से नमी आसानी से गायब हो जाती है.
-एक उम्र के बाद ये लॉस बहुत जल्दी-जल्दी होता है.
-इससे हमारी स्किन भी सेंसिटिव हो जाती है.
-इसलिए दिन के बीच में फ़ेस मिस्ट इस्तेमाल कर सकते हैं, जिसमें गुलाबजल, ग्रीन टी एक्सट्रैक्ट यूज़ कर सकते हैं.
-ये हमारी स्किन को नमी देते हैं.
-ये स्प्रे हर घंटे या हर 2 घंटे में करें.
एंटी-एजिंग स्किनकेयर आपकी स्किन के लिए कितना ज़रूरी है, ये तो आपको समझ में आ ही गया होगा. तो एक बात का ध्यान रखिए, अगर आप अपनी स्किन में बदलाव नोटिस कर रहे हैं, आपकी स्किन सेंसिटिव हो रही है तो एक डॉक्टर की सलाह लेकर एंटी-एजिंग प्रोडक्ट्स इस्तेमाल करना शुरू कर दीजिए. फ़ायदे में रहेंगे.