The Lallantop
Advertisement

पति ने बेटी से रेप के बाद हत्या कर दी, पत्नी को 3 साल बाद मुआवज़ा मिला

पति के जेल जाने के बाद पांच बच्चों को पालने में परेशानी हो रही थी .

Advertisement
Img The Lallantop
सांकेतिक तस्वीर
font-size
Small
Medium
Large
24 अगस्त 2019 (Updated: 2 सितंबर 2019, 10:50 IST)
Updated: 2 सितंबर 2019 10:50 IST
font-size
Small
Medium
Large
whatsapp share
दिल्ली स्टेट लीगल सर्विसेज अथॉरिटी ने एक महिला को अंतरिम मुआवज़ा दिया है. मुआवज़े की रकम 75 हज़ार रुपए है. महिला के पति ने अपनी ही बेटी का तीन साल पहले यानी 2016 में रेप किया और उसकी हत्या कर दी थी. इस मामले में बाल अधिकार संरक्षण आयोग, दिल्ली ने महिला को केस हैंडल करने के लिए एक वकील दिया है. हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, महिला ने 7 अगस्त को एक एप्लीकेशन दिया था. इस एप्लीकेशन में महिला ने बताया था कि उसे अपने पांच बच्चों की परवरिश करने में दिक्कत हो रही है, क्योंकि उसके पास पैसे नहीं हैं. उसके बाद अंतरिम मुआवज़ा देने के लिए 75 हजार रुपए देने पर विचार किया गया. और महिला को सोमवार यानी 19 अगस्त को मुआवज़े की तय रकम मिली. दरअसल, 21 अप्रैल, 2016 को महिला की एक बेटी की लाश घर की छत पर मिली थी. महिला ने पुलिस को सूचना दी. जांच में सामने आया कि लड़की के पिता ने ही रेप के बाद उसकी हत्या कर दी थी. इसके बाद उसे गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया. महिला के पांच बच्चे और हैं. पैसे नहीं होने की वजह से उनकी परवरिश में उसे खासी दिक्कत आ रही है. एचटी की रिपोर्ट के मुताबिक, महिला तीन साल से मुआवज़े के लिए लड़ रही थी. दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने भी वित्त विभाग को लेटर लिखा था और महिला को मुआवजा देने पर विचार करने के लिए भी कहा था. पर हालत ये है कि सरकार की तरफ से महिला को अभी तक मदद नहीं मिली है. sisodia_082419013925.jpgदिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया. महिला और उनके बच्चे रिसेटेलमेंट कॉलोनी यानी पुनर्वास कॉलोनी में एक किराए के कमरे में रहते हैं. और गुजारा करने के लिए सब्जियों का ठेला लगाते हैं. उसने 24 हजार रुपये उधार लेकर ठेला और अन्य ज़रूरी सामान खरीदे थे. मुआवज़े में मिली रकम से वह उधार चुकाने का सोच रही है. साथ ही वह उन पैसों का इस्तेमाल अपने बच्चों की पढ़ाई में करना चाहती है. महिला के मुताबिक, उसे लगा था कि तीन साल में कुछ नहीं हुआ तो अब कुछ नहीं होगा. लेकिन 19 अगस्त को उसके पास एक अधिकारी का फोन आया. और अकाउंट चेक करने के लिए कहा. महिला का कहना है कि मुआवज़े के पूरे पैसे मिलने के बाद वह एक घर खरीदना चाहती है. वहीं, दिल्ली के बाल अधिकार संरक्षण आयोग के मुताबिक, माइनर रेप विक्टिम के 70 परिवार ऐसे हैं, जिन्हें अभी तक POCSO के तहत कोई मुआवज़ा नहीं मिला है.
वीडियो: क्या है थर्ड डिग्री टॉर्चर जिसे अमित शाह बंद करवाने की बात कह रहे हैं

thumbnail

Advertisement

election-iconचुनाव यात्रा
और देखे

Advertisement

Advertisement

Advertisement