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'मैंने दहेज नहीं लिया तो तलाक होने पर पत्नी को गुज़ारा भत्ता क्यों दूं?'

क्या दहेज और एलिमनी को एक तराजू पर रखकर देखा जा सकता है?

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ये मीम दो दिन से सोशल मीडिया पर खूब चल रहा है. इसमें दहेज और एलिमनी की तुलना की गई है. क्रेडिट- Remics comics/Twitter
ये मीम दो दिन से सोशल मीडिया पर खूब चल रहा है. इसमें दहेज और एलिमनी की तुलना की गई है. क्रेडिट- Remics comics/Twitter
20 जनवरी 2022 (Updated: 26 जून 2023, 23:49 IST)
Updated: 26 जून 2023 23:49 IST
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इस पूरे हफ्ते शादी से जुड़े मसलों पर बात होती रही. मैरिटल रेप पर दिल्ली हाईकोर्ट में चल रही सुनवाई, उस सुनवाई से सामने आई कंसेंट की बहस.फिर लोग लिखने लगे कि मैरिटल रेप कानून बन गया तो औरतों को पतियों को फंसाने का एक और तरीका मिल जाएगा. इन लोगों के कहने का मतलब था कि पहले दहेज और घरेलू हिंसा के मामले बनते थे, कानून बन गया तो मैरिटल रेप का भी मामला बनने लगे. इस बीच आई एक्टर धनुष और ऐश्वर्या के सेपरेशन की खबर और फिर लोगों ने तलाक की एलिमनी को लेकर भी सवाल उठाने शुरू कर दिए. और इसी के चलते ट्विटर पर ट्रेंड होने लगा #marriagestrike.
इन दोनों शब्दों के अलग – अलग मतलबों को जोड़ दें तो ‘विवाह हड़ताल’ जैसा कोई अर्थ निकलेगा. इस ट्रेंड की शुरुआत हुई फिल्ममेकर रामगोपाल वर्मा के एक ट्वीट से. जिसमें उन्होंने लिखा था,

“विवाह हमारे दुष्ट पूर्वजों द्वारा दुख और दुख के निरंतर चक्र को बढ़ावा देने के लिए समाज पर थोपा गया सबसे बुरा रिवाज है.”

Marriage is the most evil custom thrust upon society by our nasty ancestors in promulgating a continuous cycle of unhappiness and sadness

— Ram Gopal Varma (@RGVzoomin) January 18, 2022
 

राम गोपाल वर्मा ने कई और ट्वीट किए. जैसे  “ समझदार प्यार करते हैं और बेवकूफ़ शादी" और “स्टार्स के तलाक एक अच्छे ट्रेंड सेटर हैं युवाओं को शादी के खतरों से सावधान करने के लिए”

Star divorces are good trend setters to warn young people about the dangers of marriages — Ram Gopal Varma (@RGVzoomin) January 18, 2022
 

इसके बाद शुरू हुआ एंटी शादी ट्वीट्स का सिलसिला. जहां तक पर्सनल चॉइस के तर्कों से शादी नहीं करने बात लिखी जा रही थी, वहां तक तो ठीक था. लेकिन ज्यादातर ट्वीट्स हद दर्ज के महिला विरोधी थे. जिनमें शादी में आ रही दिक्कतों या शादी से जुड़े अपराधों की रिपोर्ट करने का दोष औरतों कि सिर ही मढ़ा गया था.
एक शख्स ने एक मीम पोस्ट किया. मीम में एक शख्स दूसरे को गोली मारता दिख रहा था. उस मीम का मतलब ये निकल रहा था कि आपसी सहमति से सेक्स के बाद पति को मारकर पत्नी कहेगी कि वो उसका रेप कर रहा था. ट्विटर यूज़र ने लिखा था कि मैरिटल रेप को अपराध की श्रेणी में डालने के बाद ऐसा होगा. इसलिए वो मैरिज स्ट्राइक का समर्थन करता है.

How #MaritalRape
law will be used by women. #MarriageStrike
#विवाह_बहिष्कार
pic.twitter.com/AjLcc4gZCv
 

— Veer Bhadra MRA (@SilverCavill) January 18, 2022
 

अशरफ अंसारी नाम के यूज़र ने लिखा,

'अपनी बीवी के साथ सेक्स करना क्राइम है, लेकिन आपकी बीवी किसी और के साथ सेक्स करे तो वो क्राइम नहीं है.'

Having Sex with your wife is crime but your wife having sex with someone else is not crime. #MarriageStrike
pic.twitter.com/Qbhy90i5DF

— Ashraf Ansari (@ashrafnansari) January 18, 2022
 

इन महोदय को पता ही नहीं है कि एडल्ट्री कानून खत्म हो चुका है. जिस तरह आपकी पत्नी का किसी और के साथ सेक्स करना क्राइम नहीं है, उस तरह आपका भी किसी और वयस्क महिला के साथ, उसकी मर्ज़ी से किया गया सेक्स क्राइम नहीं माना जाएगा. हां, एडल्ट्री के आधार पर आप या आपकी पत्नी, तलाक ज़रूरी ले सकते हैं. ऑल्सो, बीवी के साथ सेक्स करना क्राइम नहीं है, न ही कोई इसे क्राइम बनाना चाहता है. लेकिन बीवी के जबरदस्ती किए गए सेक्स को रेप और अपराध माना जाना चाहिए.
कुछ ट्वीट्स ऐसे भी हुए कि पहले पत्नियां दहेज और घरेलू हिंसा के आरोप में पतियों को फंसाती थीं. अब वो रेप के आरोप में भी उन्हें फंसाने लगेंगी. हालांकि, मैरिज स्ट्राइक को लेकर जो सबसे ज्यादा ट्वीट हुए वो दहेज बनाम एलिमनी से जुड़े थे. ऐसे ट्वीट्स में कहा जा रहा था कि जब दहेज मांगना और लेना अपराध है तो तलाक के बाद एलिमनी देने का सिस्टम क्यों है?
रोड रनर नाम के अकाउंट से एक फोटो पोस्ट की गई. साथ में लिखा गया,
"मैरिज स्ट्राइक रिवर्स डाउरी (यानी एलिमनी) की समस्या का समाधान कर देगा."

#MarriageStrike
will resolve the problem of reverse dowry! pic.twitter.com/kpuHwY2Qa0

— Road Runner 🇮🇳 (@iwinfairly) January 19, 2022
 

इस अकाउंट से एक और फोटो पोस्ट की गई. उस फोटो में एक महिला और एक पुरुष थे. महिला कह रही थी, "तलाक के बाद तुम्हारी आधी प्रॉपर्टी मेरी हो जाएगी" और पुरुष कह रहा था- "मेरी 30 साल की मेहनत का हिस्सा तुम तीन महीने की शादी के लिए ले लोगी."

Just woke up and I’m seeing #MarriageStrike
all over my timeline. I believe it’ll help innocent men. pic.twitter.com/01yf7KyzqV

— Road Runner 🇮🇳 (@iwinfairly) January 19, 2022
 

क्या दहेज और गुज़ारा भत्ते की तुलना की जा सकती है?

हम सभी को पता है कि IPC के सेक्शन 498A के तहत दहेज मांगना और लेना अपराध है. दहेज के लिए पत्नी या बहू को प्रताड़ित करना, उनके साथ मारपीट करना भी अपराध के दायरे में आते हैं. हां, अगर लड़की का परिवार अपनी इच्छा से लड़की या उसके ससुराल वालों को कुछ दे तो दहेज की श्रेणी में नहीं आएगा.
अगर किसी वजह से पति-पत्नी के बीच तालमेल नहीं बैठ पाता है और वो तलाक लेने का फैसला करते हैं तब एलिमनी का सवाल आता है. एलिमनी को समझने के लिए मेरी साथी सोनल ने बात की एडवोकेट वसुधा त्रिवेदी से. उन्होंने क्या बताया, चलिए जानते हैं.
एलिमनी क्या होती है?
एलिमनी  एक वन टाइम पेमेंट है जो तलाक के वक्त पति-पत्नी दोनों एक दूसरे को दे सकते हैं. हां, कुछ ऐक्ट्स ऐसे हैं जिनके तहत हसबेंड भी एलिमनी क्लेम कर सकते हैं. मेंटेनेंस मंथली पेमेंट होती है और एलिमनी वन टाइम सेटलमेंट होता है. जेनेरली म्यूचुअल डाइवोर्स में एलिमनी होती है.
प्रतीकात्मक तस्वीर. एलिमनी एक वन टाइम पेमेंट है जो तलाक के वक्त पति या पत्नी दूसरे को देते हैं. प्रतीकात्मक तस्वीर.

क्या तलाक लेने वाली हर महिला को एलिमनी मिलती है?
ज्यादातर केस में मिलता है. क्योंकि सामाजिक व्यवस्था ऐसी है कि औरतें आर्थिक रूप से निर्भर होती हैं. ये कोर्ट डिसाइड करता है कि कितनी एलिमनी मिलेगी. लेकिन कई केसेस में ऐसा भी होता है कि एलिमनी नहीं मिलती.
एलिमनी पति को भी मिलती है?
हिंदू मैरिज एक्ट के सेक्शन 24 और 25 मेंटेनेंस और एलिमनी की बात करते हैं. ये सेक्शन जेंडर न्यूट्रल है. यानी पति-पत्नी दोनों एक दूसरे से एलिमनी क्लेम कर सकते हैं. ऐसा ही एक केस, दिल्ली हाईकोर्ट का था. रानी सेठी v/s सुनील सेठी. जहां वाइफ की कमाई हसबेंड से ज्यादा थी. कोर्ट ने फैसला दिया कि उन्हें आपने पति को एलिमनी के साथ-साथ मंथली मेंटेनेंस भी देना होगा.
एलिमनी अमाउंट कैसे तय होता है?
2020 में रजनीश v/s नेहा का एक जजमेंट आया जिसमें एक डिटेल डायरेक्शन है कि किस क्वांटम में और किन फैक्ट्स के आधार पर एलिमनी या मेंटनेंस को ग्रांट किया जाएगा. कोई भी एलिमनी या मेंटनेंस बहुत सारे कागज़ातों के वेरीफिकेशन के बाद ही ग्रांट होती है.
Dhanush Aishwarya Dhanush Aishwarya के तलाक की खबर के बाद एलिमनी पर बहस शुरू हुई है. फाइल फोटो

लोग कहते हैं एलिमनी कानून का महिलाएं दुरुयोग करती है. पति बेचारा पिसता है . इस पर आपकी राय ?
इस कानून का दुरुपयोग करना इतना आसान नहीं है क्योंकि कोर्ट आपको एक फ्री ट्रायल देता है. महिलाओं के महज़ मांग लेने से कोर्ट उनके हक में फैसला नहीं सुनाता. आपकी हर सिचुएशन, डॉक्यूमेंट, सैलरी का कोर्ट निरीक्षण करती है. जब दोनों पक्ष कोर्ट के सामने होते है तो कोर्ट यह डिसाइड करती है कि किसे क्या मिलना चाहिए.
एडवोकेट वसुधा के जवाबों से ये क्लियर है कि एलिमनी केवल पति को देना पड़े ये ज़रूरी नहीं होता है. एलिमनी उस पार्टनर को देना होता है जो दूसरे से आर्थिक रूप से ज्यादा सक्षम है. और भारत की बात करें तो ज्यादातर औरतें यहां अब भी होम मेकर्स हैं, कई ऐसी हैं जिन्हें शादी के बाद अपना काम छोड़ना पड़ता है, ऐसे में वो अपने पतियों पर आर्थिक रूप से डिपेंडेंट होती हैं और तलाक की नौबत आने पर उनके पति को उन्हें एलिमनी देनी होती है. लेकिन एलिमनी कोई एलिजिबल है या नहीं और अगर एलिजिबल है तो कितना दिया जाए ये एक लंबी सुनवाई, दलीलों और दस्तावेजों की जांच के बाद कोर्ट तय करता है. पति और पत्नी दोनों को ही फेयर चांस मिलता है अपनी बात कोर्ट में रखने का, अपनी आय की जानकारी कोर्ट में देने का. अगर आप निचली अदालत के फैसले से संतुष्ट नहीं हैं तो आप हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट भी जा सकते हैं.
आपको ये भी समझ में आ गया होगा कि दहेज एक डिमांड है, जिसके पीछे कोई कानूनी प्रक्रिया नहीं है, कोई फेयरनेस नहीं है. जबकि एलिमनी एक डिटेल्ड कानूनी प्रक्रिया का हिस्सा है. ऐसे में दोनों एक तराज़ू पर रखना, पूरी तरह से गलत है.
 

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