ML-N के बाद पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ़ (PTI) की प्रेस कॉन्फ़्रेंस हुई. इसमें पार्टी के चेयरमैन और पूर्व प्रधानमंत्री इमरान ख़ान बैठे. फ़राह ख़ान पर आरोप का सीधा मतलब इमरान ख़ान पर दोष लगाना है. क्योंकि आरोपों के अनुसार, जिस समय फ़राह ख़ान ने घूस लिया, उस समय उनकी ही सरकार थी. इमरान ने फ़राह का बचाव किया. उन्होंने कहा कि फ़राह का एक ही कसूर है कि वो बुशरा की करीबी हैं. जब इन लोगों को मेरे ख़िलाफ़ कुछ नहीं मिलता, तब वे फ़राह को घसीट लेते हैं. आज हम जानेंगे, - इमरान ख़ान की नज़र में बेकसूर और PML-N की नज़र में सबसे मनी-लॉन्ड्रिंग केस की गुनहगार फ़राह ख़ान की पूरी कहानी क्या है? - लीक हुए ऑडियो टेप में क्या है? - और, पूरे मामले में इमरान ख़ान की क्या भूमिका है?