PM मोदी ने हैदराबाद को "भाग्यनगर" कहकर बुलाया, KTR ने कहा - "पहले अहमदाबाद का नाम बदलें"
भाजपा के वरिष्ठ नेता हैदराबाद का नाम क्यों बदल रहे हैं?
क्या हैदराबाद का नाम बदलकर 'भाग्यनगर' हो जाएगा? लंबे समय से भारतीय जनता पार्टी की चल रही यह मांग एक बार फिर तेज हो गई है. इस बार सीधे पीएम मोदी ने कहकर बुलाया. हैदराबाद में 2-3 जुलाई को बीजेपी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक हुई. इसी बैठक के दौरान 3 जुलाई को पीएम ने हैदराबाद को 'भाग्यनगर' कहकर बुलाया.
'भाग्यनगर सभी के लिए महत्वपूर्ण'बीजेपी सांसद रविशंकर प्रसाद ने राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस की. इसमें उन्होंने प्रधानमंत्री के संबोधन के बारे में मीडिया को बताया. रविशंकर प्रसाद ने कहा,
"पीएम ने कहा कि हैदराबाद भाग्यनगर है जो हम सभी के लिए काफी महत्वपूर्ण है. हैदराबाद में ही सरदार वल्लभभाई पटेल ने 'एक भारत' की नींव रखी थी जिसको तोड़ने का बहुत प्रयास होता था. अब बीजेपी के कंधों पर एक भारत से श्रेष्ठ भारत की यात्रा को पूरा करने का दायित्व है."
राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक खत्म होने के बाद पीएम मोदी ने एक जनसभा को भी संबोधित किया. इसमें उन्होंने कहा कि तेलंगाना के लोग पूरी दुनिया में कड़ी मेहनत और देश के विकास के प्रति समर्पण के लिए जाने जाते हैं. उन्होंने कहा कि तेलंगाना प्राचीनता और पराक्रम की पुण्यस्थली है.
कई नेताओं ने लिया भाग्यनगर का नामपीएम मोदी के अलावा जनसभा के दौरान गृह मंत्री अमित शाह और बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने भी अपने भाषण में हैदराबाद को भाग्यनगर बुलाया. इससे पहले 2020 में, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी ग्रेटर हैदराबाद नगर निगम चुनाव प्रचार के दौरान इस नाम की चर्चा की थी. उन्होंने वोटरों से बीजेपी को वोट देने की अपील की थी ताकि "हैदराबाद को भाग्यनगर में बदला जा सके."
अमित शाह ने 3 जुलाई को बीजेपी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा,
"आज मैं भाग्यनगर हैदराबाद में खड़ा हूं. पूरा देश जानता है कि सरदार पटेल ना होते तो आज हैदराबाद भारत का हिस्सा ना होता. जब तेलंगाना राज्य का आंदोलन चलता था, केसीआर कहते थे कि हम हैदराबाद विमोचन दिन मनाएंगे. बताइए भाग्यनगर वालो, केसीआर ने हैदराबाद विमोचन दिन मनाया है क्या? नहीं. क्योंकि केसीआर को ओवैसी से डर लगता है."
तेलंगाना और दूसरे राज्य के बीजेपी नेता लंबे समय से शहर का नाम बदलकर भाग्यनगर करने की मांग कर रहे हैं. कई बीजेपी नेता शहर का नाम हैदराबाद के बदले भाग्यनगर ही लिखते हैं. बीजेपी विधायक राजा सिंह ने 2 जुलाई को एक ट्वीट किया, जिसमें उन्होंने लिखा कि प्रधानमंत्री मोदी का भाग्यनगर की धरती पर आज स्वागत किया.
उधर तेलंगाना के मंत्री और टीआरएस नेता केटी रमा राव ने नाम बदलने को लेकर बीजेपी नेताओं के बयान पर तंज कसा. 3 जुलाई को राव ने बीजेपी नेता रघुवर दास के बयान पर कमेंट करते हुए ट्विटर पर लिखा,
राज्य में मजबूती बढ़ाने की लगातार कोशिश"आप पहले अहमदाबाद का नाम बदलकर अडानीबाद क्यों नहीं कर देते? वैसे ये जुमला जीवी कौन है?"
2014 में केंद्र की सत्ता आने के बाद यह चौथी बार है जब बीजेपी ने राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक दिल्ली से बाहर आयोजित की. इससे पहले 2017 में ओडिशा, 2016 में केरल और 2015 में बेंगलुरु में राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक हुई थी. बीजेपी की इस बैठक को तेलंगाना चुनाव के लिए प्रचार अभियान की शुरूआत के तौर पर देखा जा रहा है. अगले साल तेलंगाना में विधानसभा चुनाव होने हैं. इसलिए पार्टी इस क्षेत्र में अपनी मजबूती बढ़ाने की कोशिश में लगी है.
राज्य में सत्तारूढ़ टीआरएस बीजेपी पर लगातार हमला कर रही है. इसकी वजह पिछले चुनावों में तेलंगाना में बीजेपी की बढ़त मानी जाती है. पिछले साल हुजूराबाद सीट पर हुए उपचुनाव में बीजेपी को जीत मिली थी. 2020 के ग्रेटर हैदराबाद नगर निगम के चुनाव में भी बीजेपी ने 48 वॉर्ड में जीत हासिल की थी. ये राज्य में बीजेपी के लिए बड़ी उपलब्धि थी. क्योंकि इससे पहले बीजेपी के पास सिर्फ 4 वॉर्ड थे. टीआरएस की सीटें 99 से खिसककर 55 हो गई थीं. 2019 के लोकसभा चुनाव में भी बीजेपी 4 सीटें जीतने में कामयाब रही थी.
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