The Lallantop
Advertisement

सिसोदिया को 4 मार्च तक CBI रिमांड, किस दलील पर कोर्ट ने सुनाया ये फैसला?

जांच एजेंसी ने सिसोदिया की 5 दिन की कस्टडी मांगी थी, कोर्ट ने हां बोल दिया

Advertisement
Manish Sisodia Delhi Court CBI Seeks 5-Day Custody
CBI के मुताबिक मनीष सिसोदिया से पूछताछ करना जरूरी है | फोटो: PTI
27 फ़रवरी 2023 (Updated: 28 फ़रवरी 2023, 17:49 IST)
Updated: 28 फ़रवरी 2023 17:49 IST
font-size
Small
Medium
Large
whatsapp share

Delhi के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया को 5 दिन की रिमांड पर भेज दिया गया है. अब उन्हें 4 मार्च तक CBI की कस्टडी में रहना होगा. सोमवार, 27 फरवरी को CBI ने मनीष सिसोदिया को दिल्ली के राउज एवेन्यू कोर्ट में पेश किया. करीब 30 मिनट की सुनवाई के दौरान जांच एजेंसी ने 5 दिन की रिमांड की मांग की. कोर्ट ने करीब एक घंटे तक फैसला सुरक्षित रखा. फिर सिसोदिया को रिमांड पर भेजने की मांग स्वीकार कर ली.

आजतक के मुताबिक सीबीआई ने सिसोदिया की पेशी के दौरान कोर्ट से जब कस्टडी की मांग की तो जज ने पूछा कि आपको कस्टडी क्यों चाहिए?

इसपर CBI के वकील ने कोर्ट में कहा,

ये पूरा केस प्रॉफिट का है. इसी पर हमारी आगे की इन्वेस्टिगेशन होनी है. सिसोदिया एक्साइज मिनिस्टर हैं और वो मंत्रियों के एक ग्रुप को लीड कर रहे थे. लेकिन, इसके बाद भी शराब नीति के मॉडल को लेकर कोई चर्चा नहीं की गई. सिसोदिया सवालों के सही जवाब नहीं दे रहे हैं, इसलिए उनकी रिमांड जरूरी है.

इस पर दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के वकील दयान कृष्णन ने कहा,

LG ने मई 2021 में पॉलिसी को मंजूरी दी थी. प्रॉफिट मार्जिन के बारे में सारी बहस हो रही है, उसकी LG ने मंजूरी दी थी. उन्होंने ही बदलावों को रजामंदी दी. पहले ही दिन CBI ने फोन के बारे में बात की थी. कहा कि सिसोदिया ने 4 फोन इस्तेमाल किए, 3 को नष्ट कर दिया. क्या सिसोदिया अपना फोन सेकेंड हैंड शॉप पर नहीं दे सकते हैं. वो क्या अपने फोन रखे रहते, क्या उन्हें पता था कि CBI आएगी और उन्हें गिरफ्तार करेगी इसलिए वो फोन रखे रहते?

सिसोदिया के वकील ने आगे दलील दी,

CBI कह रही है कि जिस तरह वो चाहती है, सिसोदिया उस तरह जवाब नहीं दे रहे हैं. जहां तक जांच में सहयोग की बात है तो सिसोदिया ने सहयोग किया है. उनके घर पर छापा मारा गया. उनके फोन एजेंसी के पास हैं. अब एजेंसी कह रही है कि सिसोदिया गोलमोल जवाब दे रहे हैं. उनके पास यह अधिकार है. एक व्यक्ति के संवैधानिक अधिकार होते हैं.

बता दें कि जुलाई 2022 में दिल्ली के उप-राज्यपाल वीके सक्सेना ने मनीष सिसोदिया के खिलाफ CBI जांच की सिफारिश की थी. सक्सेना ने सिसोदिया पर नियमों को नजरअंदाज कर भ्रष्टाचार करने के आरोप लगाए थे.

रविवार, 26 फरवरी को दिल्ली शराब नीति केस में CBI ने मनीष सिसोदिया को पूछताछ के लिए बुलाया था. 9 घंटे की पूछताछ के बाद जांच एजेंसी ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया. सीबीआई का आरोप है कि मनीष सिसोदिया ने शराब घोटाले में आपराधिक साजिश रची और उन्होंने सबूतों को मिटाने की कोशिश की.

वीडियो: मनीष सिसोदिया की गिरफ्तारी के वक़्त क्या-क्या हुआ?

thumbnail

Advertisement

election-iconचुनाव यात्रा
और देखे

Advertisement

Advertisement

Advertisement