The Lallantop
Advertisement

अगले 15 दिनों में लागू कर दिया जाएगा CAA! गृह मंत्रालय के सूत्रों ने क्या-क्या बताया?

तारीख कंफर्म नहीं है लेकिन आदर्श आचार संहिता MCC लागू होने से पहले नियमों के बारे में सूचित कर दिया जाएगा- सूत्र

Advertisement
caa implementation rules to be notified soon mcc loksabha elections home ministry source
जल्द लागू हो सकता है CAA! (फाइल फोटो)
28 फ़रवरी 2024 (Updated: 28 फ़रवरी 2024, 07:56 IST)
Updated: 28 फ़रवरी 2024 07:56 IST
font-size
Small
Medium
Large
whatsapp share

खबर मिली है कि लोकसभा चुनावों की घोषणा से पहले केंद्र सरकार CAA (Citizenship Amendment Act) लागू कर सकती है. गृह मंत्रालय के सूत्रों ने इंडिया टुडे को बताया कि लोकसभा चुनावों को लेकर आदर्श आचार संहिता लागू होने से पहले किसी भी समय नागरिकता संशोधन अधिनियम CAA के नियमों को अधिसूचित किया जा सकता है.

बता दें, चार साल पहले दिसंबर 2019 में ये कानून संसद में पारित हुआ था. हालांकि अब तक भी इसे लागू नहीं किया गया क्योंकि नियमों और उससे जुड़ी प्रक्रिया को अंतिम रूप दिया जाना बाकी था. इंडियन एक्सप्रेस ने गृह मंत्रालय के सूत्रों के हवाले से लिखा कि तारीख नहीं कंफर्म नहीं है लेकिन आदर्श आचार संहिता MCC लागू होने से पहले नियमों के बारे में सूचित कर दिया जाएगा.

जान लें कि चुनाव आयोग जैसे ही चुनावों की घोषणा करता है तभी MCC लागू हो जाता है. पिछले दिनों खबर आई थी कि 13 मार्च को लोकसभा चुनावों की घोषणा की जा सकती है.

क्या है CAA?

CAA अफगानिस्तान, बांग्लादेश और पाकिस्तान के हिंदू, सिख, जैन, पारसी, बौद्ध और ईसाई समुदायों से आने वाले प्रवासियों के लिए है. वो लोग जो 31 दिसंबर 2014 या उससे पहले अपने देशों में धार्मिक उत्पीड़न का सामना करने के चलते भारत आए थे. ये कानून उन्हें भारतीय नागरिकता के लिए आवेदन करने की अनुमति देता है. कानून के पारित होने पर देशभर में इस फैसले का जमकर विरोध हुआ था. दिल्ली के शाहीन बाग में धरना और असम के गुवाहाटी में विरोध सभाएं हुईं. इसके बाद कोविड के चलते लगे बैन और लॉकडाउन के दौरान सभी विरोध प्रदर्शन विफल हो गए.

सूत्रों ने बताया कि नियमों के तहत आवेदकों को दस्तावेज से ये साबित करना होगा कि वो 31 दिसंबर 2014 से पहले पाकिस्तान या अफगानिस्तान या बांग्लादेश से आए थे और अधिनियम में उल्लिखित धर्मों में से एक से संबंधित है. ये किसी भी सरकारी दस्तावेज के जरिए किया जा सकता है. जैसे- स्कूल सर्टिफिकेट या आधार कार्ड या जिस पर भी धर्म की घोषणा की गई हो.

ये भी पढ़ें- खुद अमित शाह ने बता दिया, कब लागू होगा CAA

नियमों में धार्मिक उत्पीड़न का सबूत मांगने की संभावना नहीं है लेकिन ये माना जाएगा कि जो लोग भारत आए वो या तो उत्पीड़न का सामना कर रहे थे या उन्हें सताए जाने का डर था. 

वीडियो: CAA को लेकर कोई कंफ्यूजन नहीं रखना है...अमित शाह ने कानून लागू होने के बारे में सब बता दिया!

thumbnail

Advertisement

Advertisement