‘हिंदू’ परिधान ट्रेंड कर रहा है फैब इंडिया के जश्न-ए-रिवाज वाले विज्ञापन के बाद से ही. फैब इंडिया ने दीवाली को ‘जश्न-ए-रिवाज़’ बता दिया. वैसे होता रिवाज है, रिवाज़ नहीं. ये एक उर्दू टर्म है, हिंदी में इसका मतलब होगा परंपराओं का त्योहार. ऐड आया और आहत होने के मौके तलाशने वाली जनता का जैकपॉट लग गया. हिंदू-मुस्लिम वाला प्रौपागैंडा चलाने वालों की चांदी हो गई. हिंदुत्व के खतरे में होने की बात सामने आई और ऐसा होते ही कथित हिंदुओं की सामूहिक चेतना जागृत हो गई. ऐसी जागृत हुई कि फैब इंडिया को बैन तक करने की मांग होने लगी. देखें वीडियो.
धर्म के नाम पर बिंदी लगाने का इतना प्रेशर क्यों डाल रहे हैं लोग?
फैब इंडिया के जश्न-ए-रिवाज वाले विज्ञापन के बाद से विवाद शुरू हुआ है.
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