रिया मावी. यूट्यूबर हैं, मॉडलिंग भी करती हैं. दिल्ली में रहती हैं. कुछ दिन पहले अपने यूट्यूब चैनल पर एक वीडियो डाला. केदारनाथ यात्रा का एक्सपीरियंस शेयर किया. बताया कि किस तरह भगवान के नाम पर लोगों ने पैसे की लूट मचा रखी है. 14 मिनट के वीडियो का आखिरी हिस्सा कुछ ही दिनों में सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो गया. फिर क्या था? कुछ लोगों ने रिया को 'हिंदू धर्म विरोधी' कह दिया, किसी ने कत्ल करने की धमकी दे दी. इतनी बुरी तरह ट्रोल किया कि उनका सोना, खाना, जीना सब दुशवार हो गया. वो दो-तीन हफ्तों तक मानसिक तौर पर प्रताड़ित रहीं.
केदारनाथ मंदिर पर 'भगवान को बेचने' के आरोप लगाने वाली लड़की को हत्या की धमकी
बातचीत में रिया मावी ने बताया कि मानसिक प्रताड़ना झेल रही हैं.

क्या है पूरा मामला?
रिया को घूमना पसंद है, यूट्यूब चैनल पर घुमक्कड़ी के वीडियो डालती हैं, लेकिन दो महीनों से लॉकडाउन है, इसलिए कहीं जा नहीं पाईं. फिर उन्होंने पिछले साल की
डाल दिया, जहां वो अपनी दो सहेलियों के साथ जुलाई में गई थीं. 13 मई 2020 को ये वीडियो अपलोड किया. चढ़ाई कैसी है, कहां रुके, क्या खाया वगैरह-वगैरह बताया. आखिरी के कुछ मिनट, जो उन्होंने मंदिर के दर्शन करने के बाद रिकॉर्ड किए थे, उसमें उन्होंने कहा,
'एक्सपीरियंस अच्छा नहीं रहा. पैसे (दक्षिणा) देने पर ही पंडित तिलक लगाते हैं. जिन्होंने पंडित को पूजा के लिए पे किया हुआ है, वही लोग शिवलिंग के पास जा सकते हैं. नहीं दिया तो पूजा करने की जगह ही नहीं मिलेगी. पंडित जी अंदर बैठकर यूट्यूब पर वीडियो देखते हैं. पता नहीं क्या देख रहे थे. उनसे मैंने बोला कि टीका लगा दीजिए, तब उन्होंने तिलक लगाया. वो भी ऐसी टेढ़ी नज़रों से देखकर.'
केदारनाथ मंदिर में पूजा के समय और तरीके के हिसाब से रेट तय किए गए हैं. इस पर भी रिया और उनके दोस्तों ने सवाल उठाए. वीडियो में उन्होंने रेट पढ़कर सुनाए, जो आगे की तस्वीर में देखिए-

केदारनाथ मंदिर के बाहर लगा बोर्ड. (फोटो- रिया के वीडियो का स्क्रीनशॉट.)
रिया की दोस्त ने कहा,
'मैंने ऐसा मंदिर कहीं नहीं दखा. 16 किलोमीटर का ट्रेक करके आ रहे हैं और यहां देखा तो इन लोगों ने भगवान को कमर्शियलाइ़ज़ कर दिया है.'
ये भी बताया कि पूजा की थाली की कीमत 1100 रुपए थी, जिसमें कि मुश्किल से 50 रुपए का सामान होगा. फिर आखिर में रिया ने कहा,
'भगवान को बेच रखा है. अंधविश्वास इतना है कि लोग भी उनका साथ दे रहे हैं. खैर, भगवान दिल में होते हैं, मन में होते हैं. पैसों से हम उन्हें नहीं खरीद सकते. भगवान सब देख रहे हैं, जो सही है उसके साथ सही होगा, जो गलत है आखिर में उसके साथ गलत होगा'
बस यही वाला हिस्सा जमकर वायरल हो गया. रिया पर मीम्स बनने लगे. किसी ने लिखा,
'अगर लॉकडाउन न होता, तो रिया मावी के घर पर पथराव हो जाता. क्योंकि तुम्हारी औकात नहीं कि तुम देव भूमि के बारे में ऐसा बोलो.'

घर पर पथराव करने की धमकी दी गई.
किसी ने उन्हें पाकिस्तान जाने का सुझाव दे दिया, तो किसी ने कहा कि अबकी बार अगर वो उत्तराखंड गईं, तो काट दिया जाएगा. ये भी कहा गया कि रिया ने भगवान शिव को पाखंडी बोला. ऐसे भतेरे कमेंट्स हुए.
लीगल नोटिस भी भेजा गया
उत्तराखंड के एक वकील हैं सीपी शुक्ला. उन्होंने रिया को लीगल नोटिस भी भेज डाला. 'दी लल्लनटॉप' ने सीपी शुक्ला से बात की. उन्होंने बताया कि केदारनाथ के पंडितों की शिकायत पर कारण बताओ नोटिस भेजा गया, जिसमें लिखा था,
'रिया और उनकी दो साथियों ने जो बातें कहीं हैं, उससे केदारनाथ के पंडितों की धार्मिक भावनाएं आहत हुई हैं. उन्हें बदनाम किया गया है. जिससे देश-विदेश में रहने वाले पंडितों के यजमानों को गलत संदेश जा रहा है. जबकि आपकी टिप्पणी राज्य सरकार पर होनी चाहिए थी, क्योंकि जो पूजा शुल्क सूची लगी है, वो राज्य सरकार द्वारा निर्धारित है. वीडियो हटा लें और माफी मांगें. नहीं तो कार्रवाई होगी.'

इस तरह के मीम्स बनाकर उन्हें ट्रोल किया गया.
विधायक क्या कहते हैं?
केदारनाथ से विधायक हैं मनोज रावत. कांग्रेस से जुड़े हैं. 'नेटवर्क 18' को दिए इंटरव्यू में उन्होंने कहा,
'मुझे लगता है कि उनकी (रिया) कोशिश ये थी कि भवगान केदारनाथ को विवाद में ला दिया जाए और अपने फॉसोअर्स बढ़ा दिए जाएं. ये नेक नियती से किया हुआ काम नहीं है. ये खुद को प्रचारित करने के लिए किया गया है.'
रिया क्या कहती हैं?
'दी लल्लनटॉप' ने रिया से बात की. उन्होंने बताया कि उन्होंने ऐसा कुछ नहीं बोला था, जिससे भगवान का अपमान हो. वो कहती हैं,
'मेरे वीडियो को गलत तरीके से लिया गया. मैंने तो वही दिखाया जो एक्सपीरियंस किया. लोगों ने वीडियो के आखिरी हिस्से को काटकर वायरल कर दिया. कहीं पर भी भगवान केदारनाथ, उत्तराखंड, केदारनाथ मंदिर के खिलाफ कुछ नहीं बोला गया. लोगों ने मुझे बहुत परेशान किया. यूट्यूब के कमेंट्स तो इतने खराब हैं, कि मैं पढ़ भी नहीं रही हूं. मुझे इंस्टाग्राम पर भी कुछ लोग डायरेक्ट मैसेज भेज रहे हैं. कह रहे हैं कि मैं अपना वीडियो हटा लूं. हत्या की, पथराव की धमकी दे रहे हैं. दो-तीन हफ्ते तक मैं बहुत ज्यादा परेशान रही. सिर दर्द रहता था हमेशा. समझ नहीं आता था क्या करूं. फिर मैंने लोगों के सवालों के जवाब देने के लिए एक और वीडियो बनाया.
. इसमें भी मैंने यही कहा कि मुझे जो गलत लगा, वो मैंने कहा. मैंने किसी धर्म को बदनाम करने की कोशिश नहीं की. मैं खुद एक हिंदू हूं, मेरी दोनों फ्रेंड्स भी हिंदू हैं, दोनों उत्तराखंड से हैं. हमने हिंदू धर्म को बदनाम नहीं किया.'

रिया को पाकिस्तान जाने का सुझाव दिया गया.
रिया बताती हैं कि उन्हें उत्तराखंड के कई लोगों के मैसेज आए. किसी ने कहा कि उत्तराखंड को बदनाम करने की कोशिश हुई, तो कुछ ऐसे भी लोग थे, जिन्होंने इस बात का सपोर्ट किया कि केदारनाथ में भगवान के नाम पर बहुत पैसे वसूल किए जाते हैं. रिया कहती हैं,
'लोगों ने बहुत धमकाया, लेकिन मैंने अपना वीडियो नहीं हटाया. नहीं हटाऊंगी. क्योंकि कुछ गलत कहा ही नहीं है. लोग मेरा वीडियो पूरा देखे बिना ही बोले जा रहे हैं. मुझे मैसेज करके कह रहे हैं कि मीम्स बनाए जाएंगे. मैंने केवल इंसानों और सिस्टम पर बात कही थी, ये कि हमारे लिए अब हर चीज़ पैसा बन चुकी है. हम हर चीज़ को पैसे से खरीदना चाहते हैं, भगवानों को भी कमर्शियलाइ़ज़ कर दिया.'

रिया के सपोर्ट में आ रहे कमेंट्स.
रिया ने बताया कि 27 मई के वीडियो के बाद उन्हें धमकी भरे मैसेज आने थोड़े कम हो गए हैं, लेकिन बंद नहीं हुए. हालांकि रिया ने अभी तक इन मैसेज और कमेंट को लेकर पुलिस में शिकायत नहीं की है, क्योंकि उनके मुताबिक, बहुत से अकाउंट फेक हैं, जो कुछ-कुछ दिन बाद डिलीट हो जाएंगे.
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