इजरायल और ईरान के बीच सीजफायर हो गया है. इसका एलान भले ही अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप ने किया हो. लेकिन ईरान और इजरायल के बीच चल रहे संघर्ष को रोकने में अहम भूमिका कतर ने निभाई. अमेरिका की तरफ से प्रस्तावित युद्धविराम के लिए कतर ने ही ईरान को मनाया.
ईरान-इजरायल सीजफायर का एलान तो ट्रंप ने किया, मगर असल काम इस देश ने किया
Iran-Israel Ceasefire: राष्ट्रपति Donald Trump ने ट्रुथ सोशल पर एलान किया था कि दोनों देशों के बीच सीजफायर को लेकर सहमति बन गई है. लेकिन ईरान और इजरायल के बीच चल रहे युद्ध को रोकने में सबसे अहम भूमिका Qatar ने निभाई.
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रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक, राष्ट्रपति ट्रंप और उपराष्ट्रपति जेडी वेंस ने कतर के अमीर से संपर्क किया. बातचीत में शामिल एक अधिकारी ने बताया कि ट्रंप ने सबसे पहले अमीर को इजरायल के सीजफायर पर सहमत होने की जानकारी दी. फिर ईरान को सहमत करने के लिए मदद मांगी. इसके बाद कतर एक्शन में आया. देश के प्रधानमंत्री शेख मोहम्मद बिन अब्दुल रहमान अल थानी ने ईरानी अधिकारियों से बात की और उन्हें सीजफायर के लिए राजी कर लिया.
रिपोर्ट के मुताबिक, एक सीनियर ईरानी अधिकारी ने ये स्वीकार किया है कि ईरान ने कतर की मध्यस्थता से सीजफायर को स्वीकार किया है. इस काम के लिए ट्रंप ने कतर के अमीर को धन्यवाद भी कहा. उन्होंने ट्रुथ सोशल पर लिखा,
मैं कतर के अमीर को धन्यवाद देना चाहता हूं. जिन्होंने क्षेत्र में शांति की दिशा में काम किया. कतर में अमेरिकी बेस पर हुए हमले के बारे में, मुझे यह बताते हुए खुशी हो रही है कि, किसी भी अमेरिकी के मारे जाने या घायल होने की सूचना नहीं मिली है. सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि कतर का कोई भी नागरिक मारा नहीं गया न ही कोई घायल हुआ. इस मामले पर आपका ध्यान देने के लिए धन्यवाद!

इससे पहले, राष्ट्रपति ट्रंप ने ट्रुथ सोशल पर एलान किया था कि दोनों देशों के बीच सीजफायर को लेकर सहमति बन गई है. उन्होंने अपनी पोस्ट में लिखा,
इजरायल और ईरान के बीच सीजफायर को लेकर पूरी तरह से सहमति बन गई है. आधिकारिक तौर पर, ईरान सीजफायर की शुरुआत करेगा और 12वें घंटे में, इजरायल सीजफायर की शुरुआत करेगा. 24वें घंटे में, 12 दिन से चल रहा युद्ध आधिकारिक तौर पर खत्म हो जाएगा.

इजरायल की तरफ से अभी तक कोई टिप्पणी नहीं की गई है. जबकि एक ईरानी अधिकारी ने पहले पुष्टि की थी कि तेहरान युद्ध विराम के लिए सहमत हो गया है. ईरान के विदेश मंत्री अब्बास अराक्ची ने कहा कि जब तक इजरायल अपने हमले बंद नहीं करता, तब तक दुश्मनी खत्म नहीं होगी. उन्होंने कहा कि अगर इजरायल मंगलवार, 24 जून की सुबह 4 बजे तक (ईरानी समयानुसार) ईरानी लोगों के खिलाफ अपना हमला बंद कर देता है. तो ईरान का भी जवाब देने का कोई इरादा नहीं है. तब से लेकर खबर लिखे जाने तक ईरान पर इजरायली हमले की कोई सूचना नहीं मिली है.
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एयरबेस पर किया था हमलाईरान ने अमेरिका पर पलटवार करते हुए उसके कतर में मौजूद एयरबेस पर मिसाइल हमला कर दिया था. सोमवार, 23 जून की रात ईरान ने कतर में अमेरिका के अल-उदीद एयरबेस पर 6 मिसाइलें दागीं. इससेे पहले 22 जून को अमेरिका ने ईरान के तीन परमाणु ठिकानों- फोर्डो, नतांज और इस्फहान में एयर स्ट्राइक की थी.
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