WHO के आंकड़े बताते हैं कि भारत तम्बाकू सेवन के मामले में दुनिया में सबसे अग्रणी देशों में से एक है. जबकि सिगरेट पीना स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है.- ये वैधानिक चेतावनी आपको हर जगह चिपकी मिलेगी. जागरूकता बढ़ाने की इन कोशिशों के बीच मार्केट में पिछले सालों में एक नया प्रोडक्ट लॉन्च हुआ. E-cigarette जिसे वेप भी कहा जाता है. क्लेम किया गया कि ये सिगरेट के मुकबले कम नुकसानदायक है. भारत सरकार इसे कानूनी रूप से बैन कर चुकी है. लेकिन ये सच किसी से नहीं छुपा कि ई-सिगरेट आज भी बाजार में आसानी से उपलब्ध है. तो जानते हैं इस वीडियो में-
सिगरेट या ई-सिगरेट, किसके नुकसान ज्यादा हैं? क्या कहता है कानून?
26 जुलाई को कांग्रेस सांसद अमरिंदर सिंह राजा ने लोकसभा में ये मुद्दा उठाया. उन्होंने चिंता जताते हुए कहा कि पंजाब में स्कूल जाने वाले बच्चे भी बड़ी मात्रा में वेप का इस्तेमाल करने लगे हैं और प्रदेश की सरकार इसको रोकने में विफल है.
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-सिगरेट और ई-सिगरेट यानी वेप में कितना फर्क है?
-क्या ई-सिगरेट, सिगरेट के मुकाबले कम हानिकारक है?
-वेप के प्रभावों पर ताजा रिसर्च क्या कहती है?
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