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शक्ल-अक्ल, हाव-भाव तो ठीक, इन जुड़वां बहनों के 10वीं में नंबर तक 'जुड़वां' हैं!

रिपोर्ट कार्ड से साफ हो जाता है कि दोनों के स्कोर में .001 का अंतर भी नही है. दोनों ने ही परीक्षा में इग्जैक्ट 97.17% अंक हासिल किए हैं. हालांकि सभी विषयों में नंबर एक समान नहीं है. लेकिन संयोग से सबको मिलाकर जो प्रतिशत बन रहा है वो 97.17 ही है.

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जुड़वा बहनें कनिष्का और कार्तिका (तस्वीर : इंडिया टुडे)

कहतें है जुड़वां बच्चों की सिर्फ शक्लें नहीं हाव-भाव और सोच भी अक्सर बिल्कुल एक जैसी होती है. दुनियाभर में इसकी मिसालें मिल जाती हैं. लेकिन राजस्थान के नागौर की दो जुड़वा बहनों ने जो कारनामा किया है, उसकी मिसाल किसी और जुड़वां बच्चों में मिलना मुश्किल है. क्योंकि इसके लिए तेज दिमाग के साथ-साथ महान संयोग की भी जरूरत पड़ेगी. इन दोनों बहनों ने 10वीं की परीक्षा में 90 प्रतिशत से भी ज्यादा अंक हासिल किए हैं. ताज्जुब की बात ये कि दोनों की पर्सेंटेज बिल्कुल बराबर है.

इन लड़कियों के नाम कनिष्का और कार्तिका हैं. उनकी रिपोर्ट कार्ड से साफ हो जाता है कि दोनों के स्कोर में .001 का अंतर भी नही है. दोनों ने ही परीक्षा में इग्जैक्ट 97.17% अंक हासिल किए हैं. हालांकि सभी विषयों में नंबर एक समान नहीं है. लेकिन संयोग से सबको मिलाकर जो प्रतिशत बन रहा है वो 97.17 ही है. अब दोनों लड़कियों का रिजल्ट गांव से लेकर सोशल मीडिया तक पर चर्चा का विषय बन गया है.

इंडिया टुडे से जुड़े केशाराम गढ़वार की रिपोर्ट के मुताबिक, कनिष्का और कार्तिका नागौर जिले के छापरी खुर्द गांव की रहने वाली हैं. उनके पिता शिवनारायण चौधरी, राजस्थान रोडवेज में कंडक्टर का काम करते हैं. मां सुमन चौधरी हाउस वाइफ हैं. दोनों बहनों ने मेड़ता रोड पर स्थित कल्पना चावला इंटरनेशनल स्कूल से पढ़ाई की है. इसी साल छह मार्च से चार अप्रैल के बीच उन्होंने बोर्ड एग्जाम दिए थे.

इसके बाद राजस्थान बोर्ड ने बुधवार 28 मई को दसवीं क्लास का रिजल्ट जारी किया तो बच्चियों और उनके परिवार समेत पूरा गांव हैरान रह गया. लोग उनकी मेधा की तो तारीफ कर ही रहे हैं, लेकिन साथ ही एक बराबर पर्सेंटेज पर हैरानी भी जता रहे हैं. 

ये है कनिष्का का स्कोरकार्ड.

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कनिष्का चौधरी का स्कोरकार्ड

कनिष्का और कार्तिकी ने कुल 600 में से 583 अंक प्राप्त किए हैं. दोनों के हिंदी और सोशल साइंस में एक जैसे नंबर आए हैं. बाकी विषयों में नंबर अलग-अलग हैं. लेकिन प्रतिशत एक बराबर. देखिए कार्तिका का स्कोरकार्ड.

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कार्तिका चौधरी का स्कोरकार्ड

शिवनारायण चौधरी ने इंडिया टुडे/आजतक से बातचीत में बताया कि उनकी बेटियां बचपन से ही एक साथ पढ़ती रही हैं. उन्होंने कहा, “दोनों हमेशा एक-दूसरे की मदद करती थीं. अगर एक किसी विषय में कमजोर होती, तो दूसरी उसे पढ़ाती." वहीं मां सुमन चौधरी ने बताया कि दोनों बच्चियां अपने भविष्य को लेकर कड़ी मेहनत करती हैं और दोनों की साझा मेहनत रंग लाई.

उन्होंने बताया कि एग्जाम देने के बाद ही कनिष्का और कार्तिका आग की तैयारी करने के लिए सीकर चली गईं. कनिष्का अभी से IIT के एग्जाम की तैयारी में लगी हैं. वहीं कार्तिका NEET के एग्जाम की तैयारी कर रही हैं. अब रिजल्ट के आने के बाद से पूरा गांव उनके वापस आने का इंतजार कर रहा है.

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