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शनि शिंगणापुर मंदिर के ट्रस्ट ने 167 कर्मचारियों को नौकरी से निकाला, 114 मुस्लिम हैं

NCP (अजित पवार) के नेता Sangram Jagtap ने ट्रस्ट में मुस्लिम कर्मचारियों की नियुक्ति के खिलाफ मार्च निकालने की चेतावनी दी थी. Shani Shingnapur Temple Trust ने विरोध मार्च के एक दिन पहले ही 114 मुस्लिमों सहित 167 कर्मचारियों को नौकरी से निकाल दिया.

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167 कर्मचारियों को नौकरी से निकाल दिया गया है. (फाइल फोटो: शनेश्वर ट्रस्ट)

महाराष्ट्र (Maharashtra) के अहिल्यानगर जिले में एक मंदिर है, शनि शिंगणापुर मंदिर. इसका प्रबंधन श्री शनेश्वर देवस्थान ट्रस्ट करती है. पिछले दिनों दक्षिणपंथी संगठनों और अहमदनगर टाउन के विधायक संग्राम जगताप ने इस ट्रस्ट को चेतावनी दी थी. संग्राम अजित पवार वाली NCP के नेता हैं. उन्होंने कहा था कि वो ट्रस्ट में मुस्लिम कर्मचारियों की नियुक्ति के विरोध में आंदोलन शुरू करेंगे.

अब रिपोर्ट है कि इस ट्रस्ट ने 114 मुस्लिमों सहित 167 कर्मचारियों को नौकरी से निकाल दिया है. संस्था ने इसके लिए अनुशासन के मुद्दों का हवाला दिया है, जैसे लंबे समय तक अनुपस्थित रहना या काम न करना.

इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, श्री शनेश्वर देवस्थान ट्रस्ट के सेक्रेटरी अप्पासाहेब शेटे ने कहा है कि ट्रस्ट के नियमों के अनुसार, ट्रस्टियों के पास सदस्यों को नियुक्त करने और हटाने का अधिकार है. उन्होंने कहा कि ट्रस्ट की एक बैठक हुई, जिसमें अनुपस्थिति, कदाचार और इसी तरह के अन्य उल्लंघनों जैसे कारणों से 167 व्यक्तियों को हटा दिया गया.

1963 में स्थापित इस ट्रस्ट के सेक्रेटरी ने कहा,

भारत एक लोकतंत्र है, और हम धर्मनिरपेक्ष मूल्यों को बनाए रखते हैं. जिन कर्मचारियों को हटाया गया है, उनमें से कुछ मुस्लिम हैं.

बर्खास्त किए गए एक कर्मचारी ने कहा कि नौकरी से निकाले गए अधिकतर लोग गरीब हैं. वो मुख्य मंदिर के अंदर काम नहीं करते थे. वो ट्रस्ट के दूसरे कामों में लगे थे, जैसे गौशाला.

ये ट्रस्ट दैनिक कार्यों, रखरखाव, उद्यानों, गौशालाओं और कृषि सहित मंदिर की अन्य संपत्तियों के रखरखाव के लिए 2,400 से अधिक कर्मचारियों को नियुक्त करता है. 

विवाद शुरू कैसे हुआ?

पिछले महीने दक्षिणपंथी समूहों ने दावा किया कि उन्होंने मुस्लिम कर्माचारियों को मंदिर के चबूतरे पर ग्रिल लगाते देखा. इसके बाद, 21 मई को इन समूहों ने ट्रस्ट के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया. इसी के बाद मुस्लिम कर्माचारियों को लेकर विवाद शुरू हुआ और उनको बर्खास्त करने की मांग की गई.

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विधायक की चेतावनी

इसके बाद, संग्राम जगताप और दक्षिणपंथी हिंदू समूहों ने मुस्लिम कर्मचारियों की नियुक्ति के खिलाफ विरोध मार्च की घोषणा की. इस सप्ताह की शुरुआत में जगताप ने कहा कि इस मंदिर में 118 मुस्लिम कर्मचारियों की भर्ती हुई है. उन्होंने इसे अनुचित बताते हुए कहा कि वो इसके विरोध में 14 जून को ‘हिंदू धर्म रक्षा मार्च’ का आयोजन करेंगे. 

विधायक के विरोध मार्च के एक दिन पहले, 13 जून को ही ट्रस्ट ने 114 मुस्लिमों सहित 167 कर्मचारियों को बर्खास्त कर दिया. ट्रस्ट का कहना है कि 8 जून को बर्खास्तगी के लिए 99 कर्मचारियों की पहचान की गई थी, फिर 13 जून की मीटिंग में 68 और लोगों के नाम सामने आए.

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