क्या कहा था योगी आदित्यनाथ ने? सीएम योगी 31 मार्च, 2019 को गाजियाबाद में केंद्रीय विदेश राज्य मंत्री जनरल वीके सिंह का चुनाव प्रचार करने आए थे. इसी दौरान उन्होंने भारतीय सेना को 'मोदी जी की सेना' कहा. एक रैली में बोलते हुए योगी आदित्यनाथ ने कहा,
'कांग्रेस के लोग आतंकवादियों को बिरयानी खिलाते थे. और 'मोदी जी की सेना' उन्हें सिर्फ गोली और गोला देती है. ये अंतर है. कांग्रेस के लोग मसूद अजहर जैसे आतंकियों के लिए जी का इस्तेमाल करते हैं. मगर प्रधानमत्री मोदी के नेतृत्व में भाजपा सरकार आतंकियों के कैंप पर हमले कर उनकी कमर तोड़ती है.' उनके इस बयान पर विपक्षी दलों ने तो आपत्ति जताई है. साथ ही कई पूर्व सैन्य अधिकारियों ने भी नाराजगी जाहिर की. और कहा कि सेना देश की होती है, किसी नेता की नहीं होती है.अब जनरल वीके सिंह ने क्या कहा? योगी आदित्यनाथ के इसी बयान पर बीबीसी ने जनरल वीके सिंह का रुख जानने की कोशिश की. बीबीसी को दिए इंटरव्यू में जनरल वीके सिंह ने कहा, 'बीजेपी के प्रचार में सब लोग अपने आप को सेना भी बोलते हैं. लेकिन हम किस सेना की बात कर रहे हैं? क्या हम भारत की सेना की बात कर रहे हैं या पॉलिटकल वर्कर्स की बात कर रहे हैं? मुझे नहीं पता कि क्या संदर्भ है. अगर कोई कहता है कि भारत की सेना मोदी जी की सेना है तो वो ग़लत ही नहीं, वो देशद्रोही भी है. भारत की सेनाएं भारत की हैं, ये पॉलिटिकल पार्टी की नहीं हैं.'

योगी आदित्यनाथ ने गाजियाबाद में रैली को संबोधित किया था. फाइल फोटो. इंडिया टुडे.
जनरल सिंह ने कहा,
'भारत की सेनाएं तटस्थ हैं. अपने आप के अंदर. इस चीज में सक्षम हैं कि वो राजनीति से अलग रहें. पता नहीं कौन ऐसी बात कर रहा है. एक दो ही लोग हैं, जिनके मन में ऐसी बातें आती हैं. क्योंकि उनके पास तो कुछ और है ही नहीं.'वीके सिंह ने कहा,
'भारत की सेना की बात करते हैं तो भारत की सेना की बात करो. अगर आप पॉलिटिकल वर्कर्स की बात करते हैं, जिसको कई बार हम मोदी जी की सेना या बीजेपी की सेना बोल सकते हैं. लेकिन उसमें और भारत की सेना फर्क है.'क्या भारतीय सेना का राजनीतिकरण हो रहा है? सेना को लेकर इस तरह के बयानों की लोग जमकर आलोचना कर रहे हैं. भारतीय नौसेना के पूर्व प्रमुख एडमिरल रामदास और नॉर्दन कमांड के हेड रहे जनरल डीएस हुड्डा ने कहा है कि सेना का इस्तेमाल राजनीतिक हित साधने के लिए किया जा रहा है. चुनाव आयोग ने भी गाजियाबाद के डीएम से इस मामले में रिपोर्ट तलब की. इसके बाद योगी आदित्यनाथ को नोटिस जारी किए जाने की खबरें हैं. योगी से पूरे मामले में जवाब तलब किया गया है. आदित्यनाथ की हर तरफ आलोचना हो रही है.
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