1 फरवरी को साल 2020-21 के लिए सरकार ने बजट पेश किया. 11 फरवरी को संसद को ब्रेक दिया गया. दूसरा चरण शुरू हुआ 2 मार्च से. 10 मार्च के बाद दिल्ली हिंसा पर चर्चा कराने की बात कही. लेकिन विपक्ष अड़ा रहा. जिसकी वजह से संसद का कामकाज प्रभावित हुआ. मंत्रालयों के अनुदानों पर चर्चा नहीं हो पाई. बजट सत्र 3 अप्रैल को समाप्त होगा. सरकार के सामने इससे पहले लोकसभा और राज्यसभा दोनों जगह से बजट पास कराना आवश्यक है. ऐसे में सरकार ने एक ट्रिक अपनाई. ट्रिक जिसे संसदीय कामकाज की भाषा में ‘गिलोटिन’ कहा जाता है.