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रील्स और शॉर्ट्स बनाकर क्या सच में कमाई होती है? सच्चाई जान लीजिए

आजकल बहुत सारे लोग शॉर्ट्स और रील बना रहे हैं.
Can you earn from reels and shorts? The truth is shocking
आजकल रील्स और शॉर्ट्स बनाने का क्रेज है. (फोटो: यूट्यूब)
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शॉर्ट वीडियो मतलब रील्स और शॉर्ट्स (Shorts Reel Earning) से वाकई कुछ कमाई होती है या नहीं? ये तो हम आपको बताएंगे, वो भी आंकड़ों के साथ, लेकिन पहले जरा इसके जुनून पर नजर डालते हैं. हालांकि, कई जगहों पर रील बनाना मना कर दिया गया है. दरअसल, रील बनाने वालों की एक पसंदीदा जगह है दिल्ली मेट्रो. इसके भीतर बनाए कितने ही वीडियो वायरल हैं. अगर याद नहीं आया तो उस आदमी को याद कीजिए जो उल्टी करने की एक्टिंग करता है. ये तो सिर्फ एक उदाहरण है. वायरल होने का जुनून ऐसा है कि लोग मेट्रो के फ्लोर पर लेट जाते हैं. वहीं कुछ अचानक से ऐरोबिक्स करते नजर आते हैं. 

ये सब देखते हुए दिल्ली मेट्रो को चेतावनी जारी करनी पड़ी. DMRC ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से एक पोस्टर शेयर किया. पोस्टर में लिखा है, 

“मेट्रो में पैसेंजर बने, परेशानी नहीं.”  

दिल्ली मेट्रो ने इसके बाद भी अपने फनी अंदाज में लेकिन चेतावनी के साथ कई और पोस्ट किए. ये तो बात हुई दिल्ली मेट्रो की. लेकिन और भी ऐसी कई जगह हैं, जहां ऐसे वीडियो बनाने पर पाबंदी है. अगर लोग फिर भी नहीं माने तो 'कानून के हाथ लंबे हैं' वाला डायलॉग उनके लिए है ही! 

रील्स बनाने पर कहां-कहां रोक है?

हम आपको रील बनाने से रोक नहीं रहे हैं, बस कुछ जरूरी जानकारी आपको दे हैं. भारतीय रेलवे ने तो काफी समय पहले ही रेलवे ट्रैक पर सेल्फी लेने से रोक लगा दी थी. अगर ऐसा करते हैं तो आपके ऊपर कानूनी कार्रवाई हो सकती है और साथ ही साथ जुर्माना भी भरना पड़ सकता है. रेलवे ट्रैक पर वीडियो बनाने के चक्कर में कितने ही लोग अपनी जान से हाथ धो बैठे हैं. इतना ही नहीं कुंभ मेला और पोलिंग बूथ जैसी जगहों पर भी सेल्फी लेना प्रतिबंधित है. आजकल कई सारे धर्मस्थलों पर भी मोबाइल ले जाना एकदम मना है. अगर आप यहां पकड़े गए, तो आगे क्या होगा वो आपको पता ही है. 

वैसे भी रील्स बनाते समय अगर सावधानी रखी जाए तो सबसे बढ़िया. आपका जुनून किसी और के लिए परेशानी नहीं बनना चाहिए. 

कमाई का असली सच 

पहले जरा कुछ आंकड़ों से रूबरू होते हैं. सिर्फ अपने देश में लगभग 8 करोड़ लोग रील्स बनाते हैं. हर दिन मोटा-माटी 60 लाख रील्स ऐप पर अपलोड होती हैं. पढ़ने में सब बहुत बड़ा-बड़ा लग रहा लेकिन बात जब पैसे मिलने की आती है तो आंकड़ा सिमट जाता है. कुल जमा केवल डेढ़ लाख लोग ही ऐसे हैं, जिन्हें इनसे पैसे मिलते हैं. अभी इंस्टा सीधे-सीधे कोई पैसा देता नहीं तो कमाई भी सिर्फ ब्रांड डील से ही होती है. इन डेढ़ लाख लोगों में भी जो ढंग की कमाई कर रहे हैं, उनकी गिनती उंगलियों पर है. बोले तो असली के ‘सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर’ 

यूट्यूब शॉर्ट्स की तहकीकात में तो कमाई का एक मजेदार उदाहरण मिला. यूट्यूब पर ऐसे चैनल्स भी हैं, जिनके शॉर्ट्स पर मिलियंस व्यूज होने के बावजूद उन्हें केवल 11-12 रुपये मिल रहे हैं. इतने पैसों से क्या किया जा सकता है, वो तो आप जानते ही होंगे.

देश-दुनिया का एक ही हाल 

भारत में रील्स और यूट्यूब शॉर्ट्स के जुनून के बारे में तो बता दिया हमने, अब बात दूसरे देशों की. टिकटॉक को भारत में काफी पहले ही बैन किया जा चुका है. सुरक्षा कारणों की वजह से इसे कनाडा और ब्रिटेन सहित कई देशों के सरकारी ऑफिस में बैन किया गया है. 

टिकटॉक को दूसरे देशों में भी बैन करने की बात हो रही है. अमेरिका की कुल आबादी 33 करोड़ है, जिसमें से करीब 10 करोड़ लोग टिक टॉक का इस्तेमाल करते हैं. इसको देखते हुए अमेरिका ने टिकटॉक को साफ-साफ कह दिया है कि या तो अपनी कंपनी हमें बेच दो या फिर अपना बोरिया-बिस्तर समेट लो.  

कथा सार ये है कि रील्स बनाना अच्छी बात है लेकिन इससे कमाई होना बहुत मुश्किल है. इसलिए अगर आप इसमें अपना करियर बनाने की सोच रहे हैं, तो दिमाग को जरा ठंडा करके सोचिए, फिर आगे बढ़िए.

(ये स्टोरी हमारे साथ इंटर्नशिप कर रहे शशांक के सहयोग से लिखी गई है) 


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