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'मुस्लिम फेरीवालों से सामान लिया तो 5100 रुपये जुर्माना', गुजरात में पंचायत का फरमान वायरल

गुजरात के बनासकाठा की एक पंचायत का फरमान जारी कर कहा है कि मुस्लिम फेरीवालों से सामान खरीदने पर 5100 रुपये जुर्माना लगाया जाएगा. इस मामले में पुलिस ने पत्र को निराधार बताया है और कहा है कि किसी को भी इसका पालन करने की जरुरत नहीं है. पुलिस ने कहा है कि अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी.

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Indian hawker representational Image
सांकेतिक तस्वीर. फोटो- Pixabay
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श्वेता सिंह
3 जुलाई 2022 (Updated: 4 जुलाई 2022, 11:48 AM IST) कॉमेंट्स
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गुजरात के बनासकाठा की एक पंचायत का फरमान वायरल हो रहा है. इस फरमान में कहा गया है कि मुस्लिम फेरीवालों से सामान नहीं खरीदना है. जो ऐसा नहीं करेगा उस पर 5100 रुपये जुर्माना लगाया जाएगा. हालांकि अब इस मामले में पुलिस कार्रवाई करने की बात कह रही है.

बनासकांठा का लेटर पैड वायरल

आज तक की रिपोर्ट के मुताबिक, मामला गुजरात के बनासकांठा के वाघासन समूह की ग्राम पंचायत का है. पंचायत के लेटरपैड पर जारी इस फरमान में मुस्लिम फेरीवालों से सामान खरीदने पर जुर्माने की बात कही गई. इसमें कहा गया था कि वाघासन गांव के दुकानदारों को उदयपुर में टेलर की हत्या को देखते हुए मुस्लिम समुदाय के फेरीवालों से सामान नहीं खरीदना चाहिए. इसे पंचायत के लेटरपैड पर जारी किया गया है और इस पर पूर्व सरपंच माफीबेन पटेल के हस्ताक्षर और मोहर है. इस लेटर में कहा गया है- 

'अगर किसी दुकानदार को मुस्लिम व्यापारियों से सामान लेते हुए देखा गया तो उस पर 5100 रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा. और वो पैसा गोशाला को दिया जाएगा'.

ये लेटर जब सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हुआ तो प्रशासन ने इस पर संज्ञान लिया. बनासकांठा प्रशासन की ओर से कहा गया है कि वाघासन समूह की ग्राम पंचायत का वायरल हो रहा लेटर पैड आधिकारिक नहीं है.

सोशल मीडिया पर वायरल लेटर पैड. फोटो- सोशल मीडिया

रिपोर्ट के मुताबिक, बनासकांठा जिला विकास अधिकारी स्वप्निल खरे ने कहा कि लेटर पैड पर जिस व्यक्ति ने हस्ताक्षर हैं, उसके पास ऐसा करने का अधिकार नहीं है. ऐसा इसलिए क्योंकि सरपंच पद अभी खाली है. इसके लिए चुनाव होना है और फिलहाल, पंचायत वर्तमान में एक प्रशासक के अधीन है. खरे ने कहा,

प्रशासक ने एक स्पष्टीकरण जारी किया है. इसमें कहा गया है कि (पहले) जारी किया गया पत्र निराधार है और किसी को भी इसका पालन करने की जरुरत नहीं है. अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी.

बता दें कि 28 जून को उदयपुर में नूपुर शर्मा का समर्थन करने पर टेलर कन्हैया लाल की दो व्यक्तियों ने हत्या कर दी थी. इसके बाद दोनों ने ऑनलाइन एक वीडियो भी जारी किया, जिसमें कहा कि उन्होंने इस्लाम के अपमान का बदला लिया है. इस हत्याकांड में अब तक चार लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है.

वीडियो- उदयपुर मर्डर केस: राहुल गांधी ने आरोपियों को 'बच्चा' बता उन्हें छोड़ देने की बात कह दी?

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