'माहौल बनाने वाले' Exit Polls करवाता कौन है? एक-एक की असली कहानी
Axis My India, C Voter, Chanakya.. एग्ज़िट पोल चलाने वालों के बारे में जान लीजिए.

मतदान के बाद और नतीजों के बीच आता है एग्जिट पोल्स. बोर्ड इग्ज़ाम के पहले सेमी-बोर्ड्स जैसे. कौन कितने पानी में है, उसका पता चलता है. आशंकाओं और संभावनाओं की गुंजाइश भी खुली रहती है. हाल ही में पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव (Assembly Elections) के वोट पड़े. 3 दिसंबर को चार राज्यों के नतीजे भी घोषित हो जाएंगे. लेकिन तब तक, किस राज्य में किस पार्टी की सरकार बनेगी, किस सीट से किस नेता को जीत मिलेगी – ऐसे सवालों का एक मोटा-माटी आइडिया हमें एग्जिट पोल्स (Exit Polls) के अनुमान से मिलता है.
इसमें चर्चा इस बात पर भी होती है कि कौन-सा एग्जिट पोल सबसे सटीक साबित होता है. फिलहाल जिन एग्जिट पोल्स की सबसे अधिक चर्चा होती है, उनमें एक्सिस माय इंडिया, टुडे चाणक्य, सी-वोटर, P-MARQ जैसे नाम हैं. लेकिन ‘माहौल बनाने वाले’ इन एग्जिट पोल्स को चलाने के पीछे कौन लोग हैं?
Axis My India
एक्सिस माय इंडिया, मीडिया संस्थान इंडिया टुडे के साथ मिलकर चुनावी अनुमान जारी करता है. 2019 के आम चुनावों में इनकी भविष्यवाणी एकदम सटीक रही थी. इन्होंने जीतने वाली पार्टी के नाम के साथ वोटों की संख्या के बारे में भी अनुमान बताए थे. उनके मुताबिक़, केंद्र में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाले NDA गठबंधन को 339-365 लोकसभा सीटें मिलने का अनुमान था. और, UPA को सिर्फ 77-108 सीटें. हुआ भी कुछ ऐसा ही.
ये भी पढ़ें - Poll of Polls: पांच राज्यों के विधानसभा चुनावों में कौन सी पार्टी कितनी सीटें पाएगी?
इस संस्था के डायरेक्टर हैं, प्रदीप गुप्ता. उन्होंने हार्वर्ड यूनिवर्सिटी से पढ़ाई की है. प्रिंटिंग टेक्नोलॉजी में डिप्लोमा और MBA के बाद उन्होंने इंडिया टुडे ग्रुप के साथ अपने करियर की शुरूआत की. 2014 और 2019 के आम चुनावों में सीट-दर-सीट सटीक अनुमान लगाए. इसके लिए प्रदीप चर्चा में भी रहे. इन्होंने ‘ब्लूप्रिंट फॉर एन इकोनॉमिक मिरेकल’, ‘मोदी@20’, ‘हाऊ इंडिया वोट्स एंड वाट इट मीन्स’ और ‘Who Gets Elected - How and Why?’ जैसी किताबें भी लिखी हैं.

टुडे चाणक्य
2014 के लोकसभा चुनाव के समय टुडे चाणक्य (Today's Chanakya) की एक्जिट पोल की खूब चर्चा रही. उन्होंने अनुमान लगाए थे कि भाजपा 291 सीटें जीतेगी और NDA गठबंधन को 340 सीटें मिलेंगी. चुनाव में भाजपा को 282 सीटें मिलीं. इस कंपनी के मुख्य कार्यकारी अधिकारी वी के बजाज ने तब कहा था कि टुडे चाणक्य 99% बार सही होता है.
वी के बजाज के संगठन ने न सिर्फ 2014 के लोकसभा चुनाव के सटीक अनुमान दिए, बल्कि दिसंबर 2013 में हुए दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी (AAP) की बढ़त का सटीक अनुमान लगाया था. इसके अलावा उन्होंने 2004, 2008 और 2012 के अमेरिकी राष्ट्रपति चुनावों और 2005 और 2010 में इंग्लैण्ड के संसदीय चुनावों पर भी सटीक अंदाज़ा लगाया था.
सी-वोटर
सेंटर फॉर वोटिंग ओपिनियन एंड ट्रेंड्स इन इलेक्शन रिसर्च (C-Voter) की शुरुआत 1993 में हुई थी. इसके फाउंडर डायरेक्टर हैं, यशवंत देशमुख. एक अनुभवी पत्रकार के रूप में यशवंत देशमुख ने टीवी में एंकरिंग की है. वो WAPOR (World Association for Public Opinion Research) एशिया के निर्वाचित अध्यक्ष भी हैं. भारतीय और दक्षिण एशियाई सामाजिक रुझानों पर उनकी विशेषज्ञ टिप्पणियों की अक्सर चर्चा होती है.
पी-मार्क
P-MARQ बोले तो पॉलिटीक मार्कर. इसके फाउंडर हैं, अनिमेष पांडेय. IIM (Indian Institutes of Management) के पूर्व छात्र रहे हैं. इन्होंने एचसीएल टेक, एचपी इंक और जेपी मॉर्गन जैसी संस्थानों में काम किया है.
इसी साल के मई महीने में कर्नाटक में हुए विधानसभा चुनाव में P-MARQ ने काफी हद तक सही अनुमान लगाया था. इन्होंने भविष्यवाणी की थी, कि यहां कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरेगी. तब कांग्रेस के लिए राज्य में 94 से 108 सीटों का अंदाजा लगाया गया था. जब इस चुनाव के नतीजे आएं तो पता चला कि कांग्रेस को 135 सीटें मिली हैं.
ये भी पढ़ें - मध्यप्रदेश, राजस्थान, छत्तीसगढ़, तेलंगाना और मिजोरम किसकी सरकार बनेगी?
पांच राज्यों में हुए विधानसभा चुनाव के एग्जिट पोल्स के आंकड़े भी आ चुके हैं (Exit Poll assembly elections 2023). इन आंकड़ों के मुताबिक मध्य प्रदेश में बीजेपी बड़े अंतर से सरकार बनाती दिख रही है. वहीं राजस्थान, छत्तीसगढ़, मिजोरम और तेलंगाना में पार्टियों के बीच टक्कर का मुकाबला देखने को मिल सकता है.
वीडियो: क्या छत्तीसगढ़ में एग्जिट पोल्स पलट सकता है? भूपेश बघेल या रमन सिंह?